Edited By Vatika,Updated: 25 Mar, 2021 09:34 AM
पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह ने अध्यापकों की तबादला नीति 2019 के तहत डिजीटल तौर पर बड़े पैमाने पर 19905 स्कूल अध्यापकों के तबादलों के आदेश जारी किए।
जालन्धर/चंडीगढ़(धवन/ रमनजीत): पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह ने अध्यापकों की तबादला नीति 2019 के तहत डिजीटल तौर पर बड़े पैमाने पर 19905 स्कूल अध्यापकों के तबादलों के आदेश जारी किए। मुख्यमंत्री द्वारा बटन दबाते ही मैरिट के आधार पर सबसे पहले 10,099 अध्यापकों व वालंटियरों को उनकी इच्छानुसार स्टेशन मिल गए। इस अवसर पर पंजाब के शिक्षा मंत्री विजयइंद्र सिंगला भी मौजूद थे।
विभाग को 35386 ऑनलाइन आवेदन अध्यापकों व वालंटियरों से प्राप्त हुए थे जिनमें से 15481 को अयोग्य पाया गया।मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा जल्द ही अध्यापकों के लिए स्कूल शिक्षा विभाग की मौजूदा प्रणाली के स्थान पर अध्यापक तबादला अधिनियम बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि पंजाब ने स्कू ल शिक्षा में गुणकारी सुधार करके देश में विशिष्ट स्थान बनाया है। इस संबंध में अध्यापक तबादला नीति 2019 एक प्रमुख कदम था।ऑनलाइन प्रणाली के तहत 50 प्रतिशत तबादले पारदर्शी ढंग से हो रहे हैं। 10099 अध्यापकों जिनमें 4405 मास्टर कैडर, 3748 प्राइमरी अध्यापक तथा 718 लैक्चरार थे, के अलावा भारी संख्या में कम्प्यूटर अध्यापकों, शिक्षा वालंटियर्स व शिक्षा प्रोवाइडरों ने नई तबादला नीति का लाभ उठाया है।
सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि जो अध्यापक तबादला करवाने के इच्छुक होते हैं उन्हें विभाग के पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन करना होता है। कैंसर, हैपेटाइटिस-बी, हैपेटाइटिस-सी, खून की कमी वाले, डायलसिस करवाने वाले व विकलांगों तथा तलाकशुदा तथा मानसिक रूप से विक्षिप्त 60 प्रतिशत लोगों को ऑनलाइन आवेदन से छूट दी गई थी। इसी तरह से युद्ध विधवाओं, शहीदों की विधवाओं तथा जिन अध्यापकों के बच्चों की आयु 15 वर्ष से कम है, को भी ऑनलाइन आग्रह करने से छूट दी गई थी। इन सबके तबादलों के आदेश मुख्यमंत्री की अनुमति के बाद मैरिट के आधार पर अलग से जारी किए जाएंगे।