Edited By Vatika,Updated: 06 Oct, 2020 03:45 PM
लालडू के गांव सारंगपुर में नाबालिग लड़की-लड़के की शादी में उस समय अफरा-तफरी मच गई जब फेरों के समय चाइल्ड हैल्पलाइन 1098 की टीम मौके पर पहुंच गई।
लालडू(गुरप्रीत सिंह): लालडू के गांव सारंगपुर में नाबालिग लड़की-लड़के की शादी में उस समय अफरा-तफरी मच गई जब फेरों के समय चाइल्ड हैल्पलाइन 1098 की टीम मौके पर पहुंच गई। टीम को देखते ही फेरे करवा रहा पंडित सारा सामान छोड़कर मौके से फरार हो गया और दूल्हा-दुल्हन बने नाबालिगों के परिवार मौके पर मुंह छुपाते दिखाई दिए। टीम ने इसकी सूचना पुलिस को दी। इसके बाद देर शाम तक मामला सुलझाने की कोशिश चलती रही, जिसके बाद दोनों परिवारों द्वारा पुलिस को नाबालिग बच्चों की शादी न करवाने का लिखित आश्वासन दिया गया और इसके बाद मामला शांत हुआ। जानकारी के मुताबिक सारंगपुर की रहने वाली 2 नाबालिग लड़कियों की शादी साथ लगते गांव के 2 नाबालिग लड़कों से तय हुई थी, जिसमें से रविवार को लड़के वाले लड़की के घर बारात लेकर पहुंचे और सोमवार को दूसरी लड़की की बारात आनी थी। इस दौरान किसी ने इसकी शिकायत चाइल्ड हैल्पलाइन 1098 पर कर दी, जिसके बाद हैल्पलाइन की कोआर्डिनेटर शीतल संगोत्रा की अगुवाई में रविवार को टीम गांव सारंगपुर में पहुंची, जिसके बाद शादी रुकवाई गई। इसके बाद मामला हंडेसरा पुलिस तक पहुंचा।
पंचायत में हुआ था दोनों लड़कियों की शादी का फैसला
चाइल्ड हैल्पलाइन की डायरैक्टर संगीता ने बताया कि शिकायत मिलने पर टीम मौके पर भेज दी गई थी, जिन्होंने लड़कियों की उम्र वैरीफाई की तो पता लगा कि जिन लड़कियों की शादी थी, उनमें से एक की उम्र 16 साल और दूसरी की 17 साल थी और ये लड़कियां चाचा-ताया की लड़कियां हैं। लड़कियां उन दोनों लड़कों से प्यार करती थी और जो उन लड़कों से शादी करने की जिद पर अड़ी हुई थी और शादी न होने पर मरने की धमकियां दे रही थी। कुछ समय पहले मामला बढऩे पर दोनों गांव की पंचायत भी इकट्ठी हुई थी, जहां पर इनकी शादी करने का फैसला हुआ था, जिस मुताबिक ये शादी हो रही थी।
लड़कों से मिलने चली जाती थी
इतना ही नही गांव वासियों ने अपना नाम न छापने की शर्त पर बताया कि लड़कियां अपने परिवार को खाने में नशीली दवाई मिला देती थी, जिसके बाद सारा परिवार गहरी नींद में सो जाता था तो लडकियां घर से बाहर लड़कों को मिलने निकल जाती थी। यह भी पता लगा है कि लड़कियों को ये दवाई लड़के किसी कैमिस्ट से लाकर देते थे। गांववासियों ने बताया कि अगर चाइल्ड हैल्पलाइन वाली टीम रविवार को उनके गांव में पहुंचकर शादी न रुकवाते तो सोमवार को दूसरी लड़की की भी शादी हो जानी थी। लड़कियों की कम उम्र सूचना पर चाइल्ड लाइन मोहाली की डायरैक्टर संगीता जंड ने हंडेसरा पुलिस को मामले से अवगत करवाया।
माता-पिता बोले-बाल विवाह से अनजान थे
चाइल्ड लाइन की टीम पुलिस के साथ जब मौके पर पहुंची तो विवाह करवा रहा पंडित पुलिस को देखकर मौके से फरार हो गया। वहीं परिवार वाले भी इधर उधर छिपते नजर आए। इसके बाद चाइल्ड हैल्पलाइन ने दोनों लड़कियों की उम्र वैरीफाई की, जिसमें दोनों लड़कियां नाबालिग पाई गई। चाइल्ड हैल्पलाइन मोहाली की डायरैक्टर ने लड़की के परिवार वालों को बताया कि बाल विवाह करना न सिर्फ गैर-कानूनी है बल्कि इससे शारीरिक व मानसिक तौर पर लड़की की स्वास्थ्य पर भी बुरा प्रभाव पड़ेगा। इसलिए चाइल्ड लाइन की टीम लड़कियों को सुरक्षित स्थान पर ले जाएगी और अगले आदेशों तक उन सभी को सी.डब्ल्यू.सी. के सामने पेश किया जाएगा। लड़कियों को साथ ले जाने पर लड़कियों के माता-पिता ने पुलिस को बताया कि वह बाल विवाह संबंधी कानून से अनजान हैं और वह अपनी बेटियों की शादी 18 साल के बाद ही करेंगे परन्तु उनकी लड़कियों को उनसे दूर न किया जाए। वहीं नाबालिग लड़कियों ने कहा कि वह आगे पढ़ाई करेंगी और सभी समय आने पर ही विवाह करेंगी।