Edited By Tania pathak,Updated: 26 Feb, 2021 04:39 PM

केंद्र सरकार की तरफ से लागू कानूनों को वापस न लेने के विरोध में गांव जैमल सिंह वाला में एक नौजवान ने घर में फंदा लगाकर आत्महत्या का मामला सामने आया है।
तपा मंडी (शाम,गर्ग): केंद्र सरकार की तरफ से लागू कानूनों को वापस न लेने के विरोध में गांव जैमल सिंह वाला में एक नौजवान द्वारा घर में फंदा लगाकर आत्महत्या का मामला सामने आया है। मृतक के पिता गुरचरन सिंह ने बताया कि उसका नौजवान पुत्र सतवंत सिंह खेती कानूनों को लेकर किसान जत्थेबंदी के साथ किसान आंदोलन में अपना बनता योगदान देता आ रहा था और 24 फरवरी को दिल्ली के टिकरी बार्डर से वापस आया था। गांव की पंचायत में बैठकर कह रहा था कि मोदी सरकार खेती कानूनों को रद्द न कर के किसानों को बिना वजह तंग परेशान कर रही है और महिलाएं सड़कों पर आकर धरने दे रही हैं। इससे तो मरना ही अच्छा है।
लकड़ी का मिस्त्री होने के कारण कोई काम नहीं चल रहा था और न ही कोई जमीन-जायदाद थी, परन्तु खेती कानून रद्द न होने के कारण उसने रात को घर के पंखे से फंदा लगाकर खुदकशी कर ली। इस बात का परिवारिक सदस्यों को उस समय पता लगा जब सुबह कमरे का दरवाजा खटखटाया तो आवाज न आई जिस पर उन्होंने तोड़ कर देखा तो सतवंत सिंह की लाश पंखे से लटक रही थी।
गांव के सरपंच सुखदीप सिंह, किसान जत्थेबंदी के गांधी सिंह ने पंजाब सरकार से मांग की है कि जब तक नौजवान के परिवार को 10 लाख रुपए का मुआवजा और सरकारी नौकरी नहीं मिलती तब तक उसका संस्कार नहीं किया जाएगा। इस मौके पर पहुंचे सहायक थानेदार गुरदीप सिंह का कहना है कि पारिवारिक सदस्यों के बयानों पर मामला दर्ज करके लाश को 174 की कार्यवाही के लिए बरनाला भेज दिया गया है। मृतक अपने पीछे माता-पिता और फौजी भाई जो अहमदाबाद (गुजरात) में नौकरी करता है, को छोड़ गया है।
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