Edited By swetha,Updated: 09 Dec, 2019 01:14 PM
प्रोगैसिव डेयरी फार्मस एसोसिएशन (पी.डी.एफ.ए.) के 3 दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय डेयरी और एग्रो एक्सपो में पंजाब-हरियाणा के पशुपालकों ने अपने दुधारू व अन्य पशुओं को प्रदर्शित किया।
जगराओं:प्रोगैसिव डेयरी फार्मस एसोसिएशन (पी.डी.एफ.ए.) के 3 दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय डेयरी और एग्रो एक्सपो में पंजाब-हरियाणा के पशुपालकों ने अपने दुधारू व अन्य पशुओं को प्रदर्शित किया। इस प्रदर्शकी खास बात यह है कि हट्टे-कट्टे पशुओं को देश-विदेश के प्रसिद्ध राजनेताओं का नाम दिया गया है। आपको बता दें कि इन पशुओं की सुंदरता को बरकरार रखने के लिए उन पर सालाना लाखों खर्च किए जाते हैं।
भैंसे को प्रसिद्ध करने के लिए नाम दिया मोदी
फाजिल्का के जलालाबाद स्थित बैरोकी गांव के पशु पालक बौड़ सिंह के पास 50 से अधिक पशु हैं, जिसमें 22 भैंसे व 28 भैंसें हैं। इनमें से मोदी भैंसा सबसे लोकप्रिय है। बौड़ सिंह ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नाम दुनिया भर में मशहूर है, इसलिए उन्होंने 4 वर्षीय भैंसे को मशहूर करने के लिए उसका नाम मोदी रखा,जो मुर्रा नस्ल का है। 15 क्विंटल के भैंसे को खूबसूरत व आकर्षित बनाए रखने के लिए दस हजार रुपए प्रतिमाह खर्च होते हैं। इसके एक एक व्यक्ति रखा गया है, जो उसके चेहरे का पूरा मेकअप, सींगों पर काला पेंट व रेगुलर बॉडी मसाज करता है। मोदी भैंसा पहली बार डेयरी व एग्रो में लाया गया है। भविष्य में इसको प्रतियोगिताओं में भागीदार बनाया जाएगा। इस भैंसे की मां का नाम लक्ष्मी है।
13 क्विंटल बुश के रखरखाव पर रोजाना खर्च होता है 1 हजार
फरीदकोट के गांव घनिया के पशुपालक जय भगवान सिंह ने अपने भैंसे का नाम अमरीका के पूर्व राष्ट्रपति बुश के नाम पर रखा है। इसका वजन 13 क्विंटल है और इसकी सुंदरता व रखरखाव व खुराक पर प्रतिदिन एक हजार रुपए खर्च होते हैं। भगवान सिंह के पास आठ और पशु भी हैं। बुश का पिता बलि चैंपियन है।