Edited By Urmila,Updated: 25 May, 2024 02:19 PM
राज्य में लोकसभा चुनाव होने में एक हफ्ते से भी कम समय बचा है और सभी की निगाहें राज्य की संगरूर लोकसभा सीट पर हैं।
शेरपुर (अनीश) : राज्य में लोकसभा चुनाव होने में एक हफ्ते से भी कम समय बचा है और सभी की निगाहें राज्य की संगरूर लोकसभा सीट पर हैं क्योंकि यह सीट पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के लिए प्रतिष्ठा का सवाल बन गई है, जहां सी.एम. भगवंत मान इस सीट से 2 बार प्रतिनिधित्व कर चुके हैं, वहीं अब इसी सीट अधीन आते हलका धूरी से विधायक का चुनाव जीतकर मुख्यमंत्री बन गए हैं।
दूसरी ओर, कांग्रेस ने मुख्यमंत्री मान के कट्टर विरोधी सुखपाल खैहरा को मैदान में उतारा है और 2022 के जिमनी चुनाव में जीत हासिल करने वाले शिरोमणि अकाली दल (अ) के अध्यक्ष सिमरनजीत सिंह मान, भाजपा से अरविंद खन्ना, शिरोमणि अकाली से इकबाल सिंह झूंदां और बसपा से डा. मक्खन सिंह चुनाव मैदान में हैं, लेकिन पर सभी पार्टियों के उम्मीदवारों की नजरें इस सीट पर अहम स्थान रखने वाले सुखदेव सिंह ढींडसा और परमिंदर सिंह ढींडसा के समर्थकों की वोटों पर टिकी हुई हैं, क्योंकि शिरोमणि अकाली दल ने परमिंदर सिंह ढींडसा को टिकट नहीं दी, जिसके कारण ढींडसा परिवार और उनके समर्थक चुनाव में कोई दिलचस्पी नहीं दिखा रहे हैं।
चाहे ढींडसा पिता-पुत्र कह रहे हैं कि वह अकाली हैं और अकाली ही रहेंगे, लेकिन उनके समर्थक पार्टी उम्मीदवार झूंदां की राह में अड़चनें बनने के लिए तैयार बैठे हैं और ढींडसा परिवार के इशारे का इंतजार कर रहे हैं कि किस उम्मीदवार को वोट देने है। गौरतलब है कि ढींडसा गुट के पास हर प्रत्येक हलके में काफी वोट हैं, जो किसी भी उम्मीदवार को जिताने और हराने की क्षमता रखते हैं, जिसके चलते हर राजनीतिक दल का उम्मीदवार ढींडसा परिवार से संपर्क कर रहा है। अब देखने वाली बात यह होगी कि ढींडसा परिवार किस उम्मीदवार को पसंद करता है, यह चुनाव से एक दिन पहले पता चलने की उम्मीद है।
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