Edited By Vatika,Updated: 30 Mar, 2020 09:56 AM
कोरोना वायरस की दहशत के बीच पंजाब में भी कफ्र्यू लागू है। हर तरह के यातायात के साधन और सभी कारोबार बंद पड़े हैं व लोग अपने घरों में
जालंधर (खुराना) : कोरोना वायरस की दहशत के बीच पंजाब में भी कफ्र्यू लागू है। हर तरह के यातायात के साधन और सभी कारोबार बंद पड़े हैं व लोग अपने घरों में कैद हैं। ऐसे में पंजाब सरकार ने कुछ संगठनों के दबाव में आकर राज्य की इंडस्ट्री को कफ्र्यू दौरान खोलने बारे एक विचित्र फैसला लिया है। पंजाब के उद्योग मंत्री सुंदर शाम अरोड़ा ने आदेश जारी किए हैं कि जो फैक्टरी अपने परिसर में अपने वर्करों को रहने, खाने-पीने और स्वास्थ्य से संबंधित सुविधाएं उपलब्ध करवा सकती हैं, वे अपना कारोबार शुरू कर सकती हैं। राज्य सरकार के इस फैसले का जहां फोकल प्वाइंट एक्सटैंशन एसो. ने स्वागत किया है और अपनी फैक्टरियों को खोलने की तैयारी कर ली है, वहीं शहर के ज्यादातर औद्योगिक व व्यापारिक संगठन राज्य सरकार के इस फैसले का डटकर विरोध कर रहे हैं। उनका कहना है कि इससे 10 प्रतिशत व्यापारियों को भी फायदा नहीं होगा।
कच्चा माल आएगा नहीं, तैयार जाएगा नहीं तो फैक्टरी कैसे खुलेगी : गुरशरण सिंह
शहर के प्रमुख व्यापारिक संगठन ज्वाइंट एक्शन कमेटी के कन्वीनर गुरशरण सिंह ने पंजाब सरकार के इस फैसले का डटकर विरोध करते हुए कहा कि कफ्र्यू तथा पूरे देश में लॉक डाऊन के कारण किसी भी फैक्टरी को क‘चा माल प्राप्त नहीं हो रहा और न ही तैयार माल बाहर जा पा रहा है। ऐसे में फैक्टरियां कितने दिन चल पाएंगी। ट्रांसपोर्ट के सभी साधन बंद पड़े हुए हैं। किसी भी फैक्टरी के पास अपनी लेबर को अपने परिसर में रखने, उनके खाने-पीने का इंतजाम करने तथा स्वास्थ्य सुविधाएं देने के इंतजाम नहीं हैं, ऐसे में सरकार का यह फैसला बचकाना है। पंजाब सरकार के ऐसे फैसले महामारी को और
बढ़ावा दे सकते हैं जिससे हालात बिगड़ भी सकते हैं।
बन जाएगा अराजकता का माहौल : रविंद्र धीर
पंजाब सरकार के इस फैसले पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए व्यापार सेना के प्रधान तथा स्पोटर््स कारोबारी रविंद्र धीर ने कहा है कि सरकार यह फैसला जल्दबाजी में लागू न करे क्योंकि इससे अराजकता का माहौल पनपेगा। महामारी को फैलने से रोकने के लिए केंद्र सरकार और पंजाब सरकार ने जो प्रयास किए हुए हैं, उन्हें ऐसे आदेशों से धक्का लगेगा। उन्होंने मुख्यमंत्री से मांग की है कि रा’य के मजदूर तथा लेबर वर्ग के लिए सस्ते राशन और अन्य सुविधाओं की घोषणा की जाए और कफ्र्यू का सख्ती से पालन करवाया जाए।