पंजाबी यूनिवर्सिटी में बवाल जारी, अध्यापक संघ और वाइस चांसलर आमने-सामने

Edited By Urmila,Updated: 20 Dec, 2023 01:43 PM

ruckus continues in punjabi university

पंजाबी यूनिवर्सिटी में आज भी बवाल जारी रहा। पी.यू. में अध्यापक संघ (पुटा) और वाइस चांसलर एक तरह आमने सामने हो गए हैं।

पटियाला (जोसन): पंजाबी यूनिवर्सिटी में बवाल जारी रहा। इस समय पर चाहे नान-टीचिंग और स्कूल के अध्यापकों को लगा कर वी.सी. ने विद्यार्थियों के पेपर तो शुरू करवा दिए परन्तु पी.यू. में अध्यापक संघ (पुटा) और वाइस चांसलर एक तरह आमने सामने हो गए हैं। अध्यापक संघ (पुटा) ने आज वाइस चांसलर प्रो. अरविन्द को पत्र लिखकर अध्यापकों की परमोशन में हुए फैवरीटिज्म और पीक एंड चूज संबंधी अपना रोष जताया है। पुटा के नेताओं ने कहा कि सितम्बर 2023 महीने में अध्यापकों की परमोशन संबंधित करवाई गई इंटरव्यूज के नतीजे के तौर पर 2 सप्ताह पहले जारी किए गए पत्रों अनुसार वीसी की चुनाव कमेटियों की तरफ से पहले 4 अध्यापकों को रिजैक्ट किया गया और बाद में उनकी तरफ से दोबारा परमोशन के लिए अप्लाई करने के लिए कहा गया और आपके द्वारा 20 दिसम्बर 2023 को उनकी परमोशन के लिए दोबारा इंटरव्यू भी निश्चित की गई है।

नेताओं ने कहा कि पुटा महसूस करती है कि इस किस्म का फैवरीटीज्म और पीक एंड चूज करना यूनिवर्सिटी के वीसी को शोभा नहीं देता क्योंकि बहुत सारे अध्यापकों को अपनी परमोशन सम्बन्धित फाइलों को अमला शाखा में जमा करवाए को एक से दो साल तक का समय हो चुका है परन्तु उनके परमोशन सम्बन्धित मामलों को आपके तरफ से अभी तक भी विचारा नहीं गया। आपके ऐसे दृश्य के साथ अकादमिक समाज में यूनिवर्सिटी और वीसी की शाखा को नुकसान पहुंचेगा।

बताने योग्य है कि जो अध्यापकों को सितम्बर 2023 में रिजैक्ट किया गया, उनके केस 1 दिसम्बर 2023 को हुई सिंडीकेट की मीटिंग में टेबल एजैंडे के अंतर्गत लिया जाए। इससे बिल्कुल साफ हो जाता है कि यूनिवर्सिटी व्यवस्था में वी.सी. साहिब की तरफ से पारदर्शिता खत्म करके भ्रष्ट और तानाशाही रवैया अपना लिया है

पी.यू. में पक्के मोर्चे के दौरान जशनदीप कौर इंसाफ मोर्चा ने की तीखी नारेबाजी

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पंजाबी यूनिवर्सिटी की छात्रा जशनदीप कौर की हुई मौत और अन्य छात्राएं और विद्यार्थियों को अश्लील शब्दावली का प्रयोग के मामले के इंसाफ के लिए आज पंजाबी यूनिवर्सिटी के मुख्य गेट पर लगाए पक्के मोर्चे दौरान जशनदीप कौर इंसाफ मोर्चा की तरफ से तीखी नारेबाजी की गई। इस मोर्चे में जशनदीप कौर के पिता और पारिवारिक मैंबर भी लगातार हाजिरी भर रहे हैं।

जशनदीप कौर के पिता हरचरण सिंह ने कहा कि 3 महीने बीतने के उपरांत भी उनकी बेटी जशनदीप कौर की मौत के लिए जिम्मेदार प्रो. सुरजीत समेत बाकी व्यक्तियों पर कोई कानूनी कार्रवाई नहीं की गई। पंजाब सरकार की तरफ से भी आरोपियों पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही।

मोर्चा के नेताओं ने पंजाब सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि छात्राएं और विद्यार्थियों के बयानों पर बनी दो मैंबरी कमेटी में सिद्ध हुए अध्यापक के स्तर से गिरे हुए और अश्लील व्यवहार वाले प्रोफैसर पर कानूनी कार्यवाही क्यों नहीं की जा रही बल्कि उल्टा यूनिवर्सिटी प्रशासन आरोपी प्रोफैसर को लगातार बचाने में लगा हुआ है। विद्यार्थियों की बुलंद आवाज को बंद और हक मांगने के अधिकार को कुचलने के लिए वी.सी. की तरफ से 11 विद्यार्थियों को सस्पैंड कर यूनिवर्सिटी में एंट्री बैन करने का नादिरशाही फरमान जारी करके उनके भविष्य को अंधेरे की तरफ धकेलने का काम है।

संसद में विरोध कर रहे नौजवानों पर यू.ए.पी.ए. लगाने खिलाफ पी.एस.यू. और पी.आर.एस.यू. ने किया प्रदर्शन

पंजाबी यूनिवर्सिटी पटियाला में पंजाब स्टूडैंट्स यूनियन और पंजाब रेडिकल स्टूडैंट्स यूनियन की तरफ से संसद में रोष प्रदर्शन कर रहे नौजवानों पर यू.ए.पी.ए. लगाने खिलाफ और उनकी रिहाई की मांग को लेकर प्रदर्शन किया गया। विद्यार्थी नेता अमनदीप सिंह खिओवाली और रुसपिन्द्र सिंह जिमी ने विद्यार्थियों को कहा कि शांतिपूर्वक विरोध प्रदर्शन करना हर व्यक्ति का लोकतांत्रिक हक है। 13 दिसम्बर को जो 6 नौजवानों की तरफ से रंग केन फैंक कर प्रदर्शन किया गया उस दौरान किसी भी व्यक्ति को कोई नुकसान नहीं पहुंचा। नौजवानों की तरफ से नारे लगाते हुए देश की बेरोजगारी, तानाशाही और मनीपुर हुई हिंसा खिलाफ आवाज बुलंद की है। विद्यार्थी नेताओं ने कहा कि सरकार की तरफ से इन नौजवानों पर आतंकवादी गतिविधियों का कानून यूए- पीए लगाया गया है जो कि बिल्कुल गलत है।

कठिन परिस्थितियों में विश्वविद्यालय ने समैस्टर परीक्षा आयोजित की

पंजाबी यूनिवर्सिटी में 18 दिसम्बर को विभिन्न विभागों के छात्रों की परीक्षाएं बिना किसी व्यवधान के सफलतापूर्वक आयोजित की गईं। उल्लेखनीय है कि पंजाबी विश्वविद्यालय परिसर में 57 परीक्षा केंद्र हैं और 18 दिसम्बर को 38 केंद्र सक्रिय थे, जिनकी देखरेख विश्वविद्यालय के शिक्षकों द्वारा की गई थी। इनमें से केवल 4 केंद्रों पर यूनिवर्सिटी मॉडल स्कूल के शिक्षक तैनात थे। इसी तरह, पंजाबी विश्वविद्यालय के पड़ोस के परिसरों और क्षेत्रीय केंद्रों में 11 केंद्र थे जहां तैनात पूरा स्टाफ विश्वविद्यालय के शिक्षक थे।

प्रो. गोयल का कहना है कि लंबे समय बाद विश्वविद्यालय की समैस्टर परीक्षा समय पर हो रही है। उन्होंने उम्मीद जताई कि ये परीक्षाएं सफलतापूर्वक सम्पन्न होंगी और सभी शिक्षकों का सहयोग मिलता रहेगा। प्रो. अरविंद ने कहा कि विश्वविद्यालय में अध्ययन-अध्यापन का कार्य केंद्रीय होना चाहिए। उन्होंने कहा कि संपूर्ण शैक्षणिक एवं गैर-शिक्षण वर्ग को विश्वविद्यालय को उच्च स्तर के ज्ञान से जोड़ना होगा, तभी संस्थान की छवि बेहतर हो सकेगी और विश्वविद्यालय का उद्देश्य पूरा हो सकेगा।

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