Edited By Kalash,Updated: 24 Oct, 2024 05:09 PM
इन आदेशों के तहत किसी व्यक्ति द्वारा जेल में कानूनी तौर पर वैध, लागू और प्रवानित प्रक्रिया को छोड़ कर किसी भी वस्तु या पदार्थ को रखना वर्जित है।
फिरोजपुर : एडीशनल जिला मैजिस्ट्रेट डा. निधि कुमुद बांबा ने जिले में विभिन्न पाबंदियों के आदेश जारी किए हैं। इन आदेशों के तहत किसी व्यक्ति द्वारा जेल में कानूनी तौर पर वैध, लागू और प्रवानित प्रक्रिया को छोड़ कर किसी भी वस्तु या पदार्थ को रखना वर्जित है। वस्तू को प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से अंदर ले जाने या उसे कब्जे में रखने पर पाबंदी लगाई गई है। उन्होंने बताया कि जेल परिसर में प्रतिबंधित वस्तुओं का आयात और गैर-कानूनी तरीकों से जेल में कैदियों को इनकी उपलब्धता उक्त परिसर के अंदर और बाहर अपराधों की शुरुआत का संकेत देती है, जिससे कानून व्यवस्था बिगड़ने की संभावना होती है और यह अपराध गंभीर रूप धारण कर लेते हैं।
मानव जीवन के लिए खतरा, सार्वजनिक सुरक्षा, सुरक्षा और जेल के अंदर और बाहर सार्वजनिक संपत्ति को खतरा होने की संभावना बन सकती है। एडीशनल जिला मैजिस्ट्रेट ने किसी भी सरकारी जमीन, रास्ते, सड़क या चौंक पर बिना संबंधित नगर कौंसिल, नगर पंचायत, ग्राम पंचायत या संबंधित विभाग की अनुमति के बिना किसी भी तरह की होर्डिंग लगाने पर पूर्ण तौर पर पाबंदी लगाई है। इसमें सार्वजनिक स्थानों पर घातक हथियार लेकर चलने, मीटिंग करने, धरने देने, जुलूस/रैलियां, प्रदर्शन, हड़ताल, पुतले जलाकर यातायात बाधित करने और सार्वजनिक स्थानों पर बैठकें आयोजित करने आदि पर भी प्रतिबंध लगाया गया है। यह आदेश सरकारी ड्यूटी कर रहे पुलिसकर्मी, फौज के जवान, हर सरकारी कर्मचारी और शादी व चुनाव रिहर्सल और उन सभी स्थानों पर लागू नहीं होगा जिनके लिए जिला/उपमंडल मजिस्ट्रेट से स्पष्ट अनुमति प्राप्त की गई है।
अतिरिक्त डिप्टी कमिश्रर ने जिला फिरोजपुर में पतंग उड़ाने के लिए नायलॉन/सिंथेटिक/प्लास्टिक (कांच के पाउडर वाले धागे) की बनी डोर को बेचने, स्टोर करने और इसका प्रयोग करने पर पाबंदी लगाई गई है। उन्होंने कहा कि जिले के सभी गांवों के स्वस्थ व्यक्तियों को ग्रामीण व ग्रामीण बैंकों, डाकघरों व छोटे डाकघरों, रेलवे स्टेशनों, सरकारी कार्यालयों, संस्थानों, नहरों के किनारों, सतलुज नदी के पुलों और विशेष रूप से ग्रिडों, सब-स्टोशनों, ट्रांसमिशन लाइनों, ट्रांसफार्मरों और बिजली के खंभों को तोड़फोड़ से बचाने के लिए 24 घंटे गश्त/पहरा लगाया जाए। अगर कहीं पुल दरिया या नगर के टूट जाने की संभावना हो तो वह इस संबंध में नजदीकी पुलिस स्टेशन या संबंधित उपमंडल मजिस्ट्रेट को सूचना दें। उन्होंने आदेश दिया कि हर गांव की पंचायत एक्ट की धारा (4-1) का पूरी अनुपालन करते हुए अपने इलाकों में ड्यूटी करेगी। यह आदेश 30 नवंबर 2024 तक लागू रहेंगे।
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