वित्त आयोग ने पंजाब को संशोधित सुझाव मार्च तक भेजने के लिए कहा

Edited By Sunita sarangal,Updated: 31 Jan, 2020 09:35 AM

finance commission asks punjab to send revised suggestions

15वें वित्त आयोग जिसे अक्तूबर तक की एक्सटैंशन मिली हुई है, ने पंजाब को संशोधित सुझाव मार्च के अंत तक भेजने के लिए कहा है।

जालंधर(धवन): 15वें वित्त आयोग जिसे अक्तूबर तक की एक्सटैंशन मिली हुई है, ने पंजाब को संशोधित सुझाव मार्च के अंत तक भेजने के लिए कहा है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह को वित्त आयोग के चेयरपर्सन एन.के. सिंह ने कहा है कि पंजाब सरकार अपने संशोधित सुझाव या सिफारिशें 31 मार्च 2020 तक भेज सकती हैं। वित्त आयोग ने अपनी 2 रिपोर्टें भेजनी हैं। एक रिपोर्ट 2020-21 तथा दूसरी रिपोर्ट 2021-22 से 2025-26 तक भेजनी है। वित्त आयोग के चेयरपर्सन ने मुख्यमंत्री से कहा है कि पंजाब सरकार के अधिकारी संशोधित ज्ञापन या प्रस्तावों को लेकर उनसे कभी भी मुलाकात कर सकते हैं। 

सरकारी अधिकारियों ने बताया कि पंजाब के वित्त विभाग ने सभी विभागों के अधिकारियों से कहा है कि वे अपने सुझाव 15वें वित्त आयोग को भेजें। राज्य सरकार को अभी फिलहाल वित्त आयोग द्वारा वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए तैयार की गई पहली रिपोर्ट की कापी हासिल नहीं हुई है। वित्त आयोग द्वारा तैयार पहली रिपोर्ट को लेकर पंजाब सरकार यह देखना चाहती है कि उसमें खाद्यान्नों की खरीद को लेकर बकाया ऋण जोकि 31,000 करोड़ रुपए बनते हैं, को माफ करने की दिशा में क्या कदम उठाए गए हैं। सरकारी अधिकारियों ने बताया कि कमेटी के चेयरपर्सन रमेश चंद्र ने पिछले साल अगस्त महीने में 15वें वित्त आयोग को अपनी रिपोर्ट सौंपी थी जिसमें कमेटी ने पंजाब को 31,000 करोड़ के खाद्यान्न ऋण में लगभग 6100 करोड़ रुपए की राहत देने की सिफारिश की थी। 

31,000 करोड़ के खाद्यान्न ऋण को माफ किया जाए
अधिकारियों ने बताया कि 15वें वित्त आयोग की टीम ने पिछले साल जनवरी-फरवरी महीने में पंजाब का दौरा भी किया था और इस दौरान पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह ने उनके सामने 31,000 करोड़ के खाद्यान्न ऋण को माफ करने का मामला उठाया था। पंजाब सरकार ने वित्त आयोग के सामने राज्य के नौजवानों को वैकल्पिक नौकरी के अवसर उपलब्ध करवाने के लिए भी कहा था। अधिकारियों ने बताया कि पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह की कोशिश है कि पंजाब पर जो ऋण की तलवार लटकी हुई है, उसमें राज्य को वित्त आयोग से राहत दिलवाई जाए। राज्य सरकार ने वित्त आयोग से यह भी कहा है कि राज्य सरकार को अधिक वित्तीय अधिकार दिए जाने चाहिएं। पंजाब कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने भी बार-बार 31,000 करोड़़ के खाद्यान्न ऋण के मुद्दे का निपटारा करने का मामला केंद्र व राज्य सरकार के सामने उठाया है।

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