ऊंचाइयों पर AAP सरकार! एक Click में जानें भगवंत मान के अब तक के बड़े फैसलें..

Edited By Vatika,Updated: 16 Apr, 2022 01:00 PM

aap bhagwant mann

पंजाब में सरकार बदलने के साथ-साथ राज्य में प्रशासन की तस्वीर भी बदलने लगी है।

जालंधर(अनिल पाहवा) : पंजाब में सरकार बदलने के साथ-साथ राज्य में प्रशासन की तस्वीर भी बदलने लगी है। करीब एक महीने में आम आदमी पार्टी सरकार ने मुख्यमंत्री की शपथ ग्रहण से लेकर नए मंत्रिमंडल और लोगों से किए वायदों को पूरा करने का क्रम शुरू किया है। इस एक महीने के कार्यकाल में पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान सबसे ज्यादा चर्चा में रहे। भगवंत मान के तौर पर राज्य को जिस तरह के मुख्यमंत्री की जरूरत थी, वह पूरी होती दिख रही है। 

राजनीतिक क्षेत्रों में भगवंत मान को सुलझे हुए युवा नेता के तौर पर पहचान मिल रही है, जैसा कि पंजाब में पहले किसी मुख्यमंत्री के साथ शायद ही हुआ हो। पंजाब में मुख्यमंत्रियों के तौर पर अगर नाम लिए जाएं तो प्रकाश सिंह बादल, सुखबीर बादल, कैप्टन अमरेंद्र सिंह तथा चरणजीत सिंह चन्नी ही अभी तक मुख्य चर्चा का विषय रहे हैं, लेकिन भगवंत मान इन सभी नेताओं से अलग छवि बनाने में सफल हो रहे हैं। कैप्टन अमरेंद्र सिंह जिस तरह से सत्ता चला कर गए हैं, उसका खमियाजा कांग्रेस को उन्हें मुख्यमंत्री पद से रुख्सत करने के बाद तक भुगतना पड़ा। कैप्टन अमरेंद्र सिंह जितनी देर मुख्यमंत्री रहे, वह केवल अपने कुछ चहेते लोगों के पास ही जाते और वापस मोती महल लौट आते। लेकिन वीरवार को भगवंत मान जालंधऱ में आए तो एक अलग ही तस्वीर देखने को मिली। न तो ज्यादा वी.आई.पी. बैरीकेटिंग दिखी तथा न ही लोगों से दूरी बनाकर रखने का ट्रैंड नजर आया। मान डा. अंबेदकर से संबंधित कार्यक्रम में भाग लेकर आम लोगों के बीच घूमते रहे। दलित वर्ग के नेताओं के साथ फोटो खिंचवाने में भी कोई कमी नहीं छोड़ी, जबकि कैप्टन अमरेंद्र सिंह के दौर में ऐसा नहीं होता था। भगवंत के इस स्टाइल से पंजाब में उनकी एक नई अमिट छाप देखने को मिली है। 

भगवंत मान ने सत्ता संभालते ही जो वायदे किए हैं, उनकी ओर प्रमुखता से ध्यान केंद्रित करना शुरू कर दिया है। खासकर बिजली के मुफ्त यूनिट, निजी स्कूलों पर अंकुश, दलित वर्ग के लिए घोषणाएं और नई भर्ती को लेकर जो योजनाएं बनाई गई हैं, वह भगवंत मान के राजनीतिक करियर पर गहरी छाप छोड़ रही हैं। भगवंत मान के काम करने के तौर-तरीकों से भी पुलिस प्रशासन तथा प्रशासनिक अधिकारी खासे संतुष्ट हैं। उनका कहना है कि भगवंत मान जैसे सी.एम. के साथ उनका इससे पहले काम करने का कोई अनुभव नहीं है। बेहतर तरीके से वह बात सुनते हैं तथा अपनी तरफ से सुझाव भी देते हैं। उनके पास सांसद होने के दौरान जमीनी स्तर पर जाकर लोगों के काम करवाने का जो अऩुभव है, वह उनके काफी काम आ रहा है। भगवंत मान के भाषणों को लेकर भी युवा वर्ग में काफी उत्साह है तथा उनके भाषण की शैली लोगों को उनका मुरीद बना रही है। भगवंत मान ने अब तक जितने भी मंचों से भाषण दिया है, उनकी हर बार तारीफ हुई है। 16 अप्रैल को भगवंत मान की सरकार बने पंजाब में एक महीना हो जाएगा और इस एक महीने के दौर में पंजाब में लोगों पर अपनी अमिट छाप बनाने में भगवंत मान सफल रहे हैं। 


मान सरकार के फैसले
पंजाब की सत्ता संभालने के बाद राज्य के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने घोषणाओं की झड़ी लगा दी। रोजाना कोई न कोई नई घोषणा पंजाब में होती रही, जिसके कारण भगवंत मान रोजाना राज्य में चर्चा का विषय बने रहे। इन  घोषणाओं को लेकर कभी विपक्ष ने मान पर तंज कसे तो कभी मान समर्थकों ने उनके कसीदे पढ़े। 

एंटी करप्शन हैल्पलाइन
पंजाब में भ्रष्टाचार को लेकर अक्सर चर्चाएं गरम रहती हैं। राज्य में भ्रष्टाचार को खत्म करने का दावा करने के साथ भगवंत मान की सरकार ने एक नम्बर जारी किया, जिस पर आडियो या वीडियो भेजकर कोई भी सरकारी विभागों में भ्रष्टाचार की सूचना भगवंत मान को दे सकता है। 95012-00200 इस नम्बर पर सूचनाओं का अंबार लग गया, जिसके बाद कुछ क्रप्ट अधिकारियों पर गाज भी गिरी। इस पूरे मामले में एक स्पैशल टीम बनाई गई है, जो इन आने वाली शिकायतों पर नजर रखती है। 

एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स 
पंजाब में मान सरकार के सत्ता संभालते ही कुछ ही दिनों में हत्याओं की कई घटनाएं हो गई, जिसके पीछे कई गैंगस्टर और गैंगवार कारण बनी। गैंगस्टर्स को खत्म करने के लिए राज्य की मान सरकार ने एक टास्क फोर्स का गठन किया। ए.डी.जी.पी. प्रमोद बान को एंटी गैंगस्टर्स टास्क फोर्स का प्रमुख बनाया गया। उनके साथ दो अन्य अधिकारियों की भी तैनाती की गई। इस टास्क फोर्स के गठन के साथ ही सभी जिलों के कमिश्रनरों और एस.एस.पीज को यह पत्र भेजा गया कि कानून व्यवस्था के मुद्दे पर वे लोग सीधे तौर पर जिम्मेदार होंगे। 

राशन डिलीवरी
पंजाब में राशन वितरण को लेकर समय-समय पर सरकारों के ऊपर सवाल उठते रहे हैं, इसी को देखते हुए भगवंत मान सरकार ने घर-घर राशन वितरण योजना का ऐलान किया। इस योजना के तहत अगर कोई लाभार्थी घर पर राशन लेना चाहता है तो खाद्य आपूर्ति विभाग के कर्मचारी राशन घर पहुंचाएंगे। मान ने यह भी तर्क दिया था कि कई मजदूर वर्ग के लोगों को राशन के लिए दिहाड़ी खराब करनी पड़ती है, जिसके कारण यह व्यवस्था शुरू की गई है। 

सरकारी नौकरियां
भगवंत मान ने 19 मार्च को अपनी पहली कैबिनेट बैठक में बड़ा ऐलान किया था, जिसमें उन्होंने पंजाब में 25000 सरकारी नौकरियों पर भर्ती करने का ऐलान किया था। मान के अनुसार इनमें से 10000 पुलिस विभाग में भर्तियां की जाएंगी, बाकी 15000 भर्तियां अन्य विभागों में होंगी। उनका दावा था कि एक महीने के अंदर इसके ऊपर प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। उन्होंने यह भी दावा किया था कि इस भर्ती मामले में न तो कोई भेदभाव होगा और न ही रिश्वत चलेगी। 

कच्चे मुलाजिम पक्के
सी.एम. बनने के बाद भगवंत मान ने बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि राज्य में 35000 कच्चे कर्मचारी पक्के किए जाएंगे। इनमें सभी कर्मचारी ग्रुप सी और ग्रुप डी से संबंधित होंगे। उन्होंने अगले विधानसभा सत्र में इस बिल का ड्राफ्ट पेश करने के लिए अधिकारियों को निर्देश भी जारी किए थे। 

हर जिले में सी.एम. दफ्तर
16 मार्च को पद ग्रहण करने के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए भगवंत मान ने ऐलान किया था कि पंजाब के हर जिले में मुख्यमंत्री दफ्तर खोला जाएगा। लोग काम करवाने के लिए चंडीगढ़ आने की बजाय इन दफ्तरों से ही अपने काम करवा सकेंगे। उन्होंने कहा था कि इन कार्यों को डिजीटल रूप से चंडीगढ़ सी.एम. कार्यालय में भेजा जाएगा, जहां पर बकायदा नोडल अधिकारी तैनात होंगे, जो इन समस्याओं का हल करेंगे। 

निजी स्कूलों पर लगाम
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने निजी स्कूलों में फीसों आदि को लेकर अभिभावकों की शिकायतों पर काफी सख्ती दिखाई। मान सरकार ने 30 मार्च को एक आदेश जारी किया जिसके तहत सभी निजी स्कूलों को फीस बढ़ाने पर पाबंदी लगा दी। इस सत्र में एडमिशन फीस बढ़ाने की कोई अनुमति नहीं दी गई, साथ ही ये निर्देश भी जारी किए गए हैं कि कोई भी स्कूल किसी खास दुकान से किताबें या स्कूल यूनिफार्म लेने के लिए बाध्य नहीं करेगा। इस संबंध में भी शिकायत आने पर पंजाब के शिक्षा मंत्री गुरमीत सिंह हेयर ने बकायदा हैल्पलाइन नंबर भी जारी किए थे, जिन पर अभिभावक अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं। 

गुरबाणी प्रसारण पर फैसला
राज्य के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बड़ा ऐलान करते हुए कहा था कि पूरी दुनिया में गुरु ग्रंथ साहिब की बाणी का प्रसारण सुनिश्चित करने के लिए श्री दरबार साहिब में नवीनतम इलैक्ट्रानिक व्यवस्था उपलब्ध करवाई जाएगी, जिसका सारा खर्च पंजाब सरकार वहन करेगी। उन्होंने कहा कि था कि श्री दरबार साहिब से प्रसारित होने वाली गुरबाणी सभी माध्यमों से प्रसारित होगी। गौरतलब है कि अभी तक केवल पी.टी.सी. के पास ही गुरबाणी के प्रसारण के अधिकार थे। 

सेवाकेंद्रों पर निर्देश
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने एक निर्देश जारी कर राज्य के सभी 320 सेवा केंद्र और 506 सांझ केंद्र रविवार को भी खुले रखने के निर्देश जारी किए थे। आदेशों के तहत कहा गया था कि यह केंद्र अब सुबह 8 से शाम 6 बजे तक काम करेंगे, जबकि इससे पहले इन केंद्रों का समय पहले सुबह 9 से शाम 5 बजे तक का था। इन सेवा तथा सांझ केंद्रों को हर शनिवार व रविवार को भी सुबह 8 से शाम 4 बजे तक सेवाएं देने के निर्देश जारी किए गए थे। 

महानायकों के खास दिनों पर छुट्टी
महान क्रांतिकारी सरदार भगत सिंह तथा बाबा साहेब अंबेदकर को लेकर मुख्यमंत्री मान ने कुछ बड़ी घोषणाएं की, जिसके तहत भगत सिंह की बरसी पर 23 मार्च को पंजाब में छुट्टी का ऐलान किया। इसके साथ ही भगवंत मान ने सभी सरकारी दफ्तरों तथा विधानसभा में शहीद भगत सिंह और बाबा साहेब अंबेदकर की प्रतिमाएं व फोटो लगाने के भी निर्देश जारी किए। 

चंडीगढ़ पर प्रस्ताव
केंद्र सरकार की तरफ से चंडीगढ़ में केंद्रीय सेवा कानून लागू करने के विरोध में पंजाब विधानसभा में भगवंत मान ने विरोध प्रस्ताव पेश किया है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा चंडीगढ़ में केंद्रीय सेवा नियमों को लागू करना पंजाब के पुनर्गठन एक्ट की अवहेलना है। उन्होंने केंद्र से इस आदेश को वापिस लेने की मांग की। इस सत्र में बी.बी.एम.बी. में पहले वाली स्थिति बहाल करने की मांग का भी प्रस्ताव भी पारित किया गया। 

एक विधायक एक पैंशन
पंजाब में पिछले कई सालों से विधायकों की पैंशन को लेकर सोशल मीडिया पर बड़ा अभियान चलता रहा है। पंजाब में मुख्यमंत्री पदभार संभालने के बाद भगवंत मान ने पूर्व विधायकों को लेकर बड़ा ऐलान किया। उन्होंने ऐलान किया कि अब सभी पूर्व विधायकों को सिर्फ एक टर्म की ही पैंशन मिलेगी। पूर्व विधायकों को मिलने वाले फैमिली भत्ते में भी कटौती की बात कही गई। 

माइनिंग को लेकर एक्शन
पंजाब में माइनिंग का कारोबार कई नेताओं तथा अफसरों के लिए ईजी मनी का बड़ा साधन है। राज्य में सत्ता संभालने के बाद भगवंत मान ने मौजूदा माइनिंग पालिसी की दोबारा समीक्षा करने तथा नए सिरे से लागू करने का ऐलान किया है। माइनिंग वाले क्षेत्रों में सी.सी.टी.वी. तथा ड्रोन के साथ नजर रखने की भी योजना बनाई गई है। उन्होंने 6 महीने के भीतर माइनिंग पालिसी लाने का ऐलान किया है। गौरतलब है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पंजाब में रेत और बजरी का 1 साल में 20000 करोड़ का कारोबार बताया था। 

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