Edited By Urmila,Updated: 11 Apr, 2025 12:46 PM

विदेश में नौकरी की चाहत आखिरकार पंजाबियों के लिए मौत का फरमान बनती जा रही है। परिणामस्वरूप, टूरिस्ट वीजा पर गए अजनाला के गांव जगदेव खुर्द के एक युवक को जबरन रूसी सेना में भर्ती कर लिया गया।
अमृतसर : विदेश में नौकरी की चाहत आखिरकार पंजाबियों के लिए मौत का फरमान बनती जा रही है। परिणामस्वरूप, टूरिस्ट वीजा पर गए अजनाला के गांव जगदेव खुर्द के एक युवक को जबरन रूसी सेना में भर्ती कर लिया गया और उसको मौत के मुंह में फैंक दिया। युवक भाग्यशाली था कि उसने पांच महीने तक रूसी सेना में सेवा करने और दो महीने जेल में बिताने के बाद, वह घर लौट आया। इस संबंध में जानकारी देते हुए पीड़ित सरबजीत सिंह ने बताया कि वह अपने ही गांव के एक युवक की तरफ से टूरिस्ट वीजा पर रूस गया था, लेकिन उसे सीधे सेना के बेस कैंप में धकेल दिया गया, जहां उसे 20 से 21 दिन की ट्रेनिंग दी गई और फिर यूक्रेन की फ्रंट लाइन में भेज दिया गया।
इस संबंध में जानकारी देते हुए सरबजीत सिंह ने बताया कि उसे वीजा देने वाले व्यक्ति ने कहा था कि उसे वहां जाकर केवल कुरियर का काम करना है, जिसके लिए उसे 80 से 85 हजार रुपये मासिक वेतन मिलेगा, लेकिन जब वह वहां पहुंचा तो उसे सीधे सेना में भर्ती कर लिया गया। युवक ने बताया कि उसे 30-35 घंटे बाद ही थोड़ा सा चावल खाने को दिया जाता है और पानी भी कभी-कभार ही मिलता था।
सरबजीत ने कहा कि उन्होंने यूक्रेन के खिलाफ पांच महीने तक लड़ाई लड़ी, जिसमें कई पंजाबी व अन्य युवा घायल हुए और कईयों की तो मौत हो गई। उन्होंने कहा कि यह गुरु रामदास पातशाह की कृपा थी कि वह जीवित और सुरक्षित घर लौट आया है। उन्होंने कहा कि हाल ही में जब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रूस गए थे तो उन्होंने देश के युवाओं को वापस देश भेजने का मुद्दा उठाया था, जिस पर रूसी सरकार ने उन्हें वापस भेज दिया। सरबजीत ने कहा कि उन्हें बिल्कुल उम्मीद नहीं थी कि वह जिंदा घर लौट पाएंगे।
इस संबंध में सरबजीत सिंह की मां ने बताया कि उनके घर के हालात दिन-प्रतिदिन खराब होते जा रहे थे और उसकी तबीयत भी खराब होती जा रही थी। यहां तक कि जब उसके पोते-पोतियों ने उससे पूछा कि उसके पिता कब आएंगे तो उसके पास कोई जवाब नहीं था। लेकिन आज वह भगवान का शुक्रिया अदा करती हैं कि उसका बेटा सकुशल घर लौट आया, जिसकी उन्हें कोई उम्मीद नहीं थी। उन्होंने पंजाब सरकार व केंद्र सरकार से मांग की कि ऐसे बदमाश ट्रैवल एजेंटों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए। ट्रैवल एजेंटों जो लोगों के बच्चों को विदेशी धरती पर मरने के लिए फेंक देते हैं उनके विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाए तांकि भविष्य में कोई भी ट्रैवल एजेंट इस तरह का जघन्य कृत्य न कर सके।
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