Edited By Kamini,Updated: 18 Feb, 2025 04:21 PM
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पंजाब के एक गांव की पंचायत का एक बड़ा फैसला सामने आया है।
पंजाब डेस्क : पंजाब के एक गांव की पंचायत का एक बड़ा फैसला सामने आया है। जिले के एक गांव की पंचायत ने नया मत पास किया गया है। गांव कीड़ी अफगवाना की पंचायत ने एक महत्वपूर्ण मत पारित किया है कि, वह किसी भी अपराधी का साथ नहीं देंगे। जानकारी के मुताबिक, गांव की ही एक महिला सतिंदर कौर अपने पति संदीप सिंह की जमानत के लिए पंचायत के पास पहुंची थी। महिला का पति जेल में बंद है और कोर्ट ने एक मामले में उसे 10 साल की सजा सुनाई है।
जब महिला अपने पति की जमान के पेपरों पर हस्ताक्षर करवाने के लिए पंचायत के पास पहुंची तो उसे मना कर दिया गया। इस दौरान पंचायत ने कहा कि वह गांव के किसी भी अपराधी का साथ नहीं देंगे। गांव की पंचायत का ये कदम पंजाब सरकार की नशे विरोधी चलाई गई मुहिम में बड़ा योगदान है। क्योंकि सरकार ने सभी गांवों को निर्देश जारी किए हैं किसी भी नशा तस्कर का सहयोग न दे और गांव में नशा विरोधी कमेटियां भी गठित की गई है।
पंजाब सरकार के इन्ही निर्देशों के चलते गांव कीड़ी अफगानाल ने उक्त फरमान जारी किया है कि वह किसी भी अपराधी का साथ नहीं देंगे। सरपंच ने कहा कि किसी भी अपराधी की जमानत के कागजों पर साइन नहीं करेंगे, क्योंकि गांव में नया मत पास किया गया है, नशा तस्कर और अपराधी का साथ नहीं दिया जाएगा। महिला का पति नशा बेचते है और लोगों से लड़ाई झगड़ा करता है जिसके चलते वह जेल में बंद है। उसके बाहर आने से गांव का माहौल खराब होगा। वहीं दूसरी तरफ महिला सतिंदर कौर ने बताया कि उसका पति संदीप उर्फ साबी जेल में बंद है, जिसे 10 साल की सजा सुनाई गई है। वह घर में अकेली रहती है और उसकी सास काफी बीमार है, जिसका आपरेशन होना है। जब वह सरपंच व नंबरदार के पास जमानत के पेपरों पर साइन करवाने गई तो उन्होंने मना कर दिया। ऐसा सिर्फ राजनीति के चलते किया जा रहा है, क्योंकि उसने सरपंच को वोट नहीं दिया था।
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