बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में सामान्य होने लगे हालात

Edited By swetha,Updated: 02 Sep, 2019 10:34 AM

things started becoming normal in flood affected areas

गांव गिद्दड़पिंडी के बांध का काम हुआ पूरा

चंडीगढ़/जालंधर(अश्वनी): पंजाब में बारिश के बाद बाढ़ के शिकार हुए क्षेत्रों में राहत, पुनर्वास और बुनियादी ढांचे की बहाली का काम तकरीबन मुकम्मल हो गया है। मुख्यमंत्री कै. अमरेंद्र सिंह ने बाढ़ के हालात पैदा होने के बाद समूह विभागों को खास हिदायतें दीं और तत्काल तौर पर राहत कार्य शुरू कर दिए गए थे। मुख्यमंत्री द्वारा 24 घंटे राहत कार्यों पर नजर रखी जा रही है। 

पंजाब सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री ने विभागों के लिए बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पुनर्वास और राहत कार्यों को पूरा करने के लिए समय-सीमा निश्चित की थी। उन्होंने बताया कि प्रभावित क्षेत्रों में बिजली सप्लाई पूरी तरह बहाल कर दी गई है जबकि टूटी हुई सड़कों की मुरम्मत का काम युद्ध स्तर पर चल रहा है। इसके साथ ही जमीनी स्तर पर बाढ़ के कारण हुए कुल नुक्सान का जायजा लिया जा रहा है। साथ ही निवासियों को संभावी बीमारियों से बचाव को जागरूक करने के लिए स्वास्थ्य विभाग की टीमें दिन-रात काम कर रही हैं और टीकाकरण मुहिम भी शुरू की गई है।

उन्होंने बताया कि अलग-अलग विभागों के करीब 25 हजार कामगार राहत कार्यों को पूरा कर रहे हैं। नदियों में अलग-अलग स्थानों पर पड़ी दरारों को मुकम्मल तौर पर भर दिया गया है। कामगार प्रभावित क्षेत्रों में बीमारी के कीटाणुओं को मारने के लिए फॉङ्क्षगग कर रहे हैं। पीने वाले पानी के सैंपल लिए गए हैं और पानी में क्लोरीन मिलाकर उसे कीटाणु मुक्त किया गया है। प्रवक्ता ने बताया कि मलेरिया व डेंगू के फैलाव को रोकने के लिए टैस्ट किए जा रहे हैं और सैनेटरी नैपकिन तथा मच्छरदानियां भी मुहैया करवाई जा रही हैं।

प्रवक्ता ने कहा कि बाढ़ के कारण जान और माल को हुए शुरूआती नुक्सान का पता लगाया जा चुका है। प्रभावित किसानों को बीजों का मुफ्त वितरण शुरू हो गया है और मुआवजा वितरण भी जारी है। फसलों के  नुक्सान का पता लगाने के लिए गिरदावरी जारी है और इसे शीघ्र पूरा कर लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि जब तक जलापूर्ति योजनाओं के माध्यम से पानी की सप्लाई पूरी तरह बहाल नहीं हो जाती, जल आपूर्ति एवं स्वच्छता विभाग ने गांवों में स्वच्छ और पीने योग्य पानी उपलब्ध करवाने के लिए पानी के टैंकरों को काम में लगाया है।इसके साथ ही बाढ़ प्रभावित गांवों में लोगों को पानी, सूखे राशन की किट, चीनी, चावल, गेहूं का आटा, घी, दूध पाऊडर मुहैया करवाए जा रहे हैं। भारतीय सेना के 7 हैलीकॉप्टरों और भारतीय वायुसेना के दो एम.आई.-17 हैलीकॉप्टरों को भोजन के पैकेट/परांठे के एयरड्रॉप के लिए लगाया गया है।

गांव गिद्दड़पिंडी के बांध का काम हुआ पूरा 
इसके अलावा युद्ध स्तर पर जारी पंपिंग ऑप्रेशन से बाढग़्रस्त गांवों में से पानी बाहर निकाला जा रहा है, जबकि सुल्तानपुर लोधी उपमंडल में शुरूआती बाढ़ के कारण कटे 20 गांवों में से 14 गांवों का संपर्क बहाल कर दिया गया है। मंड इंद्रपुर, मंड अंद्रीसा, शाहवाला अंद्रीसा, कुतुबवाल, शाहवाला नक्की और रामगढ़ दलेली नामक 6 गांवों का संपर्क अभी कटा हुआ है क्योंकि पंजाब मंडी बोर्ड की गांव देरावाल (जालंधर)-मंड इंद्रपुर-गांव मानू (फिरोजपुर) सड़क पर 3 स्थानों पर (एक 900 फुट लंबी और दो 200 फुट लंबी) दरारें पड़ी हुई हैं। लोहियां खास के पास स्थित गांव गिद्दड़पिंडी पर बांध में पड़ी दरार को भरकर बांध का काम मुकम्मल कर लिया गया है। कै. अमरेंद्र सिंह ने पंजाब मंडी बोर्ड को युद्धस्तर पर सड़क संपर्क बहाल करने के लिए निर्देश दिए हैं।

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