Edited By Subhash Kapoor,Updated: 22 Aug, 2025 11:06 PM

पंजाब सरकार की ओर से आईपीएस कैडर के पदों पर पीपीएस अधिकारियों की नियुक्तियों को लेकर कई तरह के सवाल उठ रहे हैं। बताया जा रहा है कि आईपीएस कैडर के पदों पर पीपीएस अधिकारियों की नियुक्ति पर पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने केंद्र और पंजाब सरकार को नोटिस जारी...
पंजाब डैस्क : पंजाब सरकार की ओर से आईपीएस कैडर के पदों पर पीपीएस अधिकारियों की नियुक्तियों को लेकर कई तरह के सवाल उठ रहे हैं। बताया जा रहा है कि आईपीएस कैडर के पदों पर पीपीएस अधिकारियों की नियुक्ति पर पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने केंद्र और पंजाब सरकार को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।
दरअसल जालंधर निवासी सिमरनजीत सिंह ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की है, जिसमें कहा गया कि पंजाब में आईपीएस कैडर नियमों का उल्लंघन हो रहा है। पंजाब सरकार की ओर से आईपीएस कैडर के पदों पर पीपीएस अधिकारियों को तैनात किया जा रहा है। याचिका में एसएसपी जैसे महत्वपूर्ण पदों पर पीपीएस अधिकारियों की नियुक्ति के कई उदाहरण दिए गए हैं, जिनमें दलजिंदर सिंह ढिल्लों (एसएसपी पठानकोट), भूपिंदर सिंह (एसएसपी फिरोजपुर), हरविंदर सिंह विर्क (एसएसपी ग्रामीण जालंधर), गुरमीत सिंह (एसएसपी फाजिल्का), जसदीप सिंह (एसएसपी मोगा) और गगनदीप सिंह (एसएसपी मालेरकोटला) शामिल हैंयाची ने बताया कि जिन अधिकारियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं या जिनकी सुनवाई लंबित है उन्हें महत्वपूर्ण पदों पर तैनात किया गया है।
याचिका में बताया गया कि एसपी परमपाल सिंह जिनके खिलाफ एक फर्जी स्नातक डिग्री के आधार पर धोखाधड़ी का मामला दर्ज है, उनको महत्वपूर्ण पद पर तैनात किया गया है। इसी तरह राजिंदर सिंह सोहल को आपराधिक मामले में दोषी ठहराए जाने के बावजूद एसएसपी गुरदासपुर के रूप में तैनात किया गया था। याचिका में आरोप लगाया गया कि जिन अधिकारियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं या जिनकी सुनवाई लंबित है, उन्हें महत्वपूर्ण पदों पर तैनात किया गया है, जहां उनका सीधा जनता से संपर्क होता है। इन अधिकारियों को जांच अधिकारी या पर्यवेक्षक के रूप में भी नियुक्त किया गया है।