Edited By Vatika,Updated: 21 Jun, 2023 01:03 PM

वहीं सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंच गई, जिनके द्वारा जांच शुरू कर दी गई है।
लुधियाना (गौतम): अमृतसर से भोपाल जा रही दादर एक्सप्रैस ट्रेन नंबर 11058 में सवार छात्राओं की खाना खाने से हालत बिगड़ गई। छात्राओं को अस्पताल में भर्ती करवाया गया। ट्रेन में सवार छात्राएं मध्य प्रदेश सरकार की स्कीम ‘मां तुझे सलाम’ के तहत अटारी बॉर्डर व हुसैनीवाला बॉर्डर घूमने के बाद वापस भोपाल जा रही थीं। जिनके लिए ट्रेन के साथ अमृतसर से 2 स्पैशल स्लीपर कोच लगाए गए थे जिसमें 122 छात्राएं सवार थीं। इनके साथ सरकार के यूथ कोआर्डिनेटरों की टीम भी थी।
अस्पताल में भर्ती छात्राओं की पहचान पूजा (20), सोनू (18), माही (16), प्रियांशी (20), तान्या (16), रानी (20), अंजलि (20), सपना (16), पूजा (18) के रूप में की गई है जबकि 3 अन्य छात्राओं की पहचान सुनीता, श्रेया राठौर, नीतू के रूप में की गई है। छात्राओं की हालत बिगडऩे के कारण ट्रेन रेलवे स्टेशन पर पौने 2 घंटे तक रुकी रही और अन्य छात्राओं को मैडीकल सहायता देने के बाद ट्रेन को रवाना किया गया। पता चलते ही ट्रैफिक एरिया मैनेजर अशोक सलारिया, स्टेशन सुपरिंटैंडैंट अमरीक सिंह, स्टेशन डायरैक्टर, जी.आर.पी. व आर.पी.एफ. के अधिकारी मौके पर पहुंच गए और उन्होंने बचाव कार्य शुरू किया।
चावलों में से आ रही थी दुर्गंध
यूथ कोआर्डिनेटर नीतू ने बताया कि सरकार की तरफ से लाटरी सिस्टम से प्रतिभाशाली छात्राओं के लिए ‘मां तुझे सलाम’ स्कीम के तहत 5 दिन का टूर दिया गया था। बुधवार को वह वापस भोपाल जा रहे थे। उन्होंने अमृतसर के एक होटल से बच्चों के लिए खाना पैक करवाया था। बच्चों को जालंधर स्टेशन के बाद खाना वितरित किया गया। जैसे ही कुछ बच्चों ने खाना खाया तो उनके गले में दर्द होना शुरू हो गया और उन्हें उल्टियां आनी शुरू हो गईं। जिस पर अन्य बच्चों को खाना न खाने के लिए कहा गया। लुधियाना रेलवे स्टेशन पर पहुंच कर उन्होंने आसपास के लोगों को सहायता के लिए बुलाया। एक छात्रा ने बताया कि खाने में पूरी, चावल, आलू की सब्जी व दही था। जैसे ही उन्होंने चावल खाए तो उसमें से दुर्गंध आ रही थी जिसे खाकर कइयों की हालत बिगड़ गई।
1 घंटे के बाद पहुंची एम्बुलैंस
ट्रेन में सफर कर रही सुनीता ने बताया कि जैसे ही छात्राओं की हालत बिगडऩी शुरू हुई तो लुधियाना रेलवे स्टेशन पर उतरने के बाद वह सहायता के लिए चिल्लाती रही मगर कोई नहीं आया। लोगों ने बताया कि सहायता के लिए एम्बुलैंस 108 पर कॉल की थी, लेकिन करीब 1 घंटे के बाद ही एम्बुलैंस पहुंची।उससे पहले स्टेशन अधीक्षक अमरीक सिंह व लीज होल्डर मुरारी लाल ने अपनी कार से बच्चों को सिविल अस्पताल पहुंचाया।