Edited By Kalash,Updated: 15 Jul, 2025 12:05 PM
त दिवस बरनाला शहर में हुई मूसलाधार बारिश ने शहर के मुख्य सदर बाजार की सड़कों की दयनीय हालत को फिर से उजागर कर दिया है
बरनाला (विवेक सिंधवानी, रवि): गत दिवस बरनाला शहर में हुई मूसलाधार बारिश ने शहर के मुख्य सदर बाजार की सड़कों की दयनीय हालत को फिर से उजागर कर दिया है, जिससे सीवरेज बोर्ड द्वारा किए गए निर्माण कार्यों की गुणवत्ता पर गंभीर सवाल उठ खड़े हुए हैं। शहर निवासियों की सुविधा के लिए बिछाई गई सीवरेज पाइपलाइन के बाद सड़क का सही तरीके से निर्माण न होने के कारण आज पूरा सदर बाजार गहरे और खतरनाक गड्ढों में तब्दील हो गया। आलम यह रहा कि दोपहिया और चारपहिया वाहन इन गड्ढों में फंसते नजर आए, जिन्हें स्थानीय दुकानदारों की मदद से धक्का लगाकर मुश्किल से बाहर निकालना पड़ा। यह स्थिति न केवल शहर के सबसे व्यस्त व्यावसायिक केंद्र की यातायात व्यवस्था को चरमरा रही है, बल्कि आम जनता की सुरक्षा के लिए भी बड़ा खतरा बन गई है।
सदर बाजार, बरनाला का दिल माना जाता है, जहां हर दिन हजारों की संख्या में लोग खरीदारी और व्यापार के लिए आते हैं। इस मुख्य मार्ग की ऐसी बदहाली ने स्थानीय लोगों और व्यापारियों को खासा परेशान कर दिया है। आज सुबह से ही बारिश का पानी भरने के कारण गड्ढे अदृश्य हो गए थे, जिससे वाहन चालकों के लिए स्थिति और भी विकट हो गई। स्कूटर और मोटरसाइकिल सवारों के लिए तो यह बाजार किसी बाधा दौड़ से कम नहीं था, जहां जरा सी भी चूक उन्हें गंभीर चोट पहुंचा सकती थी। कई वाहन चालकों को अनियंत्रित होकर गिरते देखा गया, जिससे हल्की चोटें भी आईं।
यह ध्यान देने योग्य है कि यह समस्या कोई नई नहीं है, बल्कि यह प्रशासनिक लापरवाही और घटिया निर्माण का जीता-जागता उदाहरण है जो बार-बार सामने आ रहा है। लगभग एक महीने पहले भी जब शहर में बारिश हुई थी, तब सीवरेज पाइपलाइन बिछाने के बाद उस जगह पर केवल मिट्टी डालकर खानापूर्ति कर दी गई थी। वह मिट्टी बारिश के पानी में बह गई थी, और तब भी सदर बाजार में ऐसे ही गहरे गड्ढे बन गए थे। इस मुद्दे को उस समय भी प्रमुख पंजाबी दैनिक 'पंजाब केसरी' ने अपनी रिपोर्टों में प्रमुखता से उठाया था, जिससे स्थानीय प्रशासन पर कुछ हद तक दबाव पड़ा। उस समय, प्रशासन ने आनन-फानन में मिट्टी की जगह पर तारकोल से पैच वर्क करवा दिया था। इस अस्थायी समाधान से शहर निवासियों को लगा था कि उनकी समस्या अब खत्म हो गई है और उन्हें दोबारा ऐसी मुश्किल का सामना नहीं करना पड़ेगा।

लेकिन, गत दिवस पड़ी तेज बारिश ने इस 'पैच वर्क' की गुणवत्ता पर लगे सवालिया निशान को और गहरा कर दिया है। बारिश का पानी भरते ही यह पैच वर्क पूरी तरह से उखड़ गया और सड़क की वास्तविक, जर्जर हालत फिर से सामने आ गई। अब तो स्थिति पहले से भी बदतर हो गई है, जिससे सड़क की निर्माण सामग्री और कार्य की देखरेख करने वाले अधिकारियों की ईमानदारी पर भी संदेह पैदा हो गया है।
स्थानीय दुकानदारों का कहना है कि इन गड्ढों के कारण उनके व्यवसाय पर सीधा असर पड़ रहा है। ग्राहकों को बाजार तक आने में दिक्कत होती है, जिससे वे अन्य जगहों पर जाना पसंद करते हैं। एक दुकानदार, जो दशकों से सदर बाजार में अपनी दुकान चला रहा है, ने बताया, "हमारी रोजी-रोटी इसी बाजार पर निर्भर करती है। अगर सड़कें ऐसी रहेंगी, तो ग्राहक आएंगे ही नहीं। पिछले एक महीने में हमारा व्यापार काफी गिर गया है। प्रशासन को सिर्फ पैच वर्क नहीं, स्थायी समाधान करना चाहिए।"
श्री अरोड़वंश सभा के अध्यक्ष हरीश सिंधवानी और सुमित जोधपुरिया ने इस गंभीर स्थिति पर गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने बरनाला प्रशासन से सदर बाजार में हुए निर्माण कार्य की उच्च स्तरीय जांच करवाने की मांग की है। हरीश सिंधवानी ने कहा, "यह सिर्फ सड़कों का मामला नहीं है, यह सार्वजनिक धन के दुरुपयोग और नागरिकों की जान से खिलवाड़ का मामला है। प्रशासन ने पिछली बार सिर्फ खानापूर्ति की थी। अब जब हालात फिर बदतर हुए हैं, तो इसकी गहनता से जांच होनी चाहिए कि सड़क निर्माण में किस प्रकार की सामग्री का उपयोग किया गया, क्या निर्धारित मानकों का पालन किया गया और इस लापरवाही के लिए कौन जिम्मेदार है।"
सुमित जोधपुरिया ने आगे कहा, "दोषी अधिकारियों और ठेकेदारों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए ताकि भविष्य में कोई भी जनहित के कार्यों में ऐसी लापरवाही बरतने की हिम्मत न करे। शहर के सबसे महत्वपूर्ण बाजार की ऐसी हालत बर्दाश्त से बाहर है।" उन्होंने यह भी मांग की कि जांच रिपोर्ट सार्वजनिक की जाए और जिम्मेदार लोगों को जवाबदेह ठहराया जाए।
शहर के विभिन्न सामाजिक संगठनों और आम नागरिकों ने भी प्रशासन से जल्द से जल्द सदर बाजार की सड़क का स्थायी और गुणवत्तापूर्ण निर्माण करवाने की मांग की है। उनका कहना है कि बरनाला जैसे बढ़ते शहर के मुख्य बाजार की ऐसी सड़कें शहर की छवि को धूमिल करती हैं। एक युवा नागरिक ने सोशल मीडिया पर अपनी भड़ास निकालते हुए लिखा, "हम टैक्स देते हैं, अच्छी सुविधाओं की उम्मीद करते हैं। अगर एक सीवरेज पाइप डालने के बाद सड़क भी ठीक से नहीं बन सकती, तो फिर किस विकास की बात हो रही है?"
बरनाला के निवासियों को उम्मीद है कि इस बार प्रशासन इस समस्या को गंभीरता से लेगा और केवल अस्थायी मरम्मत करने की बजाय एक ठोस और स्थायी हल निकालेगा। उन्हें विश्वास है कि आने वाले दिनों में सदर बाजार की सड़कें फिर से सुरक्षित और सुगम बनेंगी, ताकि लोग बिना किसी डर या परेशानी के खरीदारी कर सकें और व्यापारी भी अपने व्यवसाय को सुचारू रूप से चला सकें। इस मामले में प्रशासन की त्वरित और प्रभावी कार्रवाई ही जनता के विश्वास को बहाल कर सकती है और यह सुनिश्चित कर सकती है कि 'विकास' के नाम पर जनता को परेशानी का सामना न करना पड़े।
अपने शहर की खबरें Whatsapp पर पढ़ने के लिए Click Here