Edited By Urmila,Updated: 13 Jan, 2023 11:04 AM

कुछ महीने पहले ही पंजाब हिमाचल को जोड़ने वाला चक्की दरिया पर बना नैरोगेज रेलवे पुल बरसात के समय क्षतिग्रस्त हो चुका है।
पठानकोट: कुछ महीने पहले ही पंजाब हिमाचल को जोड़ने वाला चक्की दरिया पर बना नैरोगेज रेलवे पुल बरसात के समय क्षतिग्रस्त हो चुका है और अब पंजाब और जम्मू कश्मीर को जोड़ने वाले रावी दरिया पर बने पुल का अस्तित्व खतरे में जाता दिखाई दे रहा है। उल्लेखनीय है कि पठानकोट एयरबेस पर हुए आतंकी हमले को कोई भी भूल नहीं सकता जिसके कारण पूरा देश हिल गया था। लेकिन शायद पठानकोट प्रशासन ने उस हमले से कोई सबक नहीं लिया है क्योंकि पाकिस्तान से आए आतंकियों ने कई गुप्त रास्तों का इस्तेमाल किया था। लेकिन उस सबके बाबजूद अभी भी पठानकोट जिले में कई ऐसे रास्ते हैं जो कि अवैध तरीके से चल रहे हैं। ऐसे ही कुछ रास्ते रावी दरिया का दौरा करने पर देखने को मिले। जहां पंजाब के माधोपुर के साथ रावी नदी बहती है। जिसके साथ जम्मू कश्मीर और पंजाब की सीमा लगती है और रावी दरिया के किनारे सैंकड़ों क्रेशर लगे हैं। जहां पर क्रेशर मालिकों द्वारा अवैध रास्ते रावी दरिया पार करवा पंजाब और जम्मू कश्मीर सरकार और प्रशासन की आंखों में धूल झोक रहे हैं। इसके अलावा व्यापारी भी टैक्स बचाने के चक्कर में अपना सामान इसी अवैध रास्ते से आर पार करते हैं। और यह सारा झोलमाल प्रशासन की नाक के तले सरेआम चल रहा है। जिसके चलते जहां राज्य सरकार को करोड़ों के टैक्स का नुक्सान तो हो रहा है वहीं देश की सुरक्षा को भी भारी खतरा बना हुआ है।
माइनिंग से जुड़े लोगों व रवि नदी से सटे क्रेशरों से रेत बजरी को ले जाने वालों ने कई जगह कानून को ठेंगा दिखा अवैध रूप में डालने ही रास्ते बना रखे हैं जिस से कोई बड़ा हादसा भी हो सकता है। ऐसा ही एक नजायज रास्ता है पंजाब और जम्मू कश्मीर को जोड़ने वाला रावी दरिया पर बनाया गया है। रावी नदी पर बने पठानकोट-जम्मू रेलवे पुल जिसके नीचे से इस पुल के नीचे से अवैध रूप में रास्ता बना कर रेत बजरी से भरे भारी भरकम ट्रकों को निकाला जाता है। रोज़ाना यहां से सैकड़ों की संख्या में भारी भरकम ट्रकों, ट्रालों के चलने के कारण इस रेलवे पुल को कभी भी बड़ा खतरा पैदा हो सकता है। यह बात रेलवे विभाग के अधिकारी भी मानते हैं मगर इसके बावजूद आज तक इस अवैध बने रास्ते को बंद करने के लिए विभाग द्वारा कोई कार्रवाई न करना भी खुद में कई सवाल खड़े करता है। रेलवे पुल को इतना बड़ा सम्भावित खतरा भांपते हुए भी रेलवे प्रशासन ने अभी तक इसकी और कोई ध्यान नहीं दिया।
क्या कहते हैं अधिकारी
पठानकोट पहुंची ए.डी.जी.पी. रेलवे शशि प्रभा द्विवेदी ने कहा कि पंजाब -जम्मू रेलवे के रवि नदी पर बने इस पुल के नीचे से गाड़िया नहीं निकल सकती है और न ही कोई रास्ता बनाने की अनुमति मिल सकती है। उन्होंने कहा कि रेलवे पुल के नीचे से अवैध रूप से रास्ता बनाकर रेत बजरी भरे ट्रकों में निकलने का मामला उनके ध्यान में है ओर इस मामले को लेकर रेलवे विभाग के साथ तालमेल कर इस रास्ते को बंद जल्द कराया जाएगा।
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