Edited By Subhash Kapoor,Updated: 18 May, 2023 10:45 PM

पटियाला के गुरुद्वारा दुख निवारण साहिब में कथित तौर पर शराब पीने के आरोप में महिला की हत्या करने वाले निर्मलजीत सिंह सैणी को शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एस.जी.पी.सी.) द्वारा कानूनी सहायता मुहैया करवाने के फैसले का सोशल मीडिया पर विरोध होना...
पटियाला के गुरुद्वारा दुख निवारण साहिब में की थी बेअदबी की आरोपी महिला की हत्या
जालंधर : पटियाला के गुरुद्वारा दुख निवारण साहिब में कथित तौर पर शराब पीने के आरोप में महिला की हत्या करने वाले निर्मलजीत सिंह सैणी को शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एस.जी.पी.सी.) द्वारा कानूनी सहायता मुहैया करवाने के फैसले का सोशल मीडिया पर विरोध होना शुरू हो गया है। इंडियन फोरन सर्विसिज के रिटायर अधिकारी अमरजीत सिंह ने टिवटर पर एक पोस्ट करके इस फैसले पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने लिखा है कि यह हत्या इससे पहले हुई बेअदबी की घटनाओं को हलके में लेने और बेअदबी के आरोपियों को समय पर सजा न मिलने के कारण तो नहीं की गई। एक तरफ एस.जी.पी.सी. उस अमृतपाल को कानूनी सहायता मुहैया करवा रही है, जिसने अजनाला थाने में हमला करने के लिए श्री गुरु ग्रंथ साहिब की बीड़ का सहारा लिया और उसकी बेअदबी की और दूसरी तरफ गुरुद्वारा साहिब में महिला की हत्या करने के आरोपी को भी कानूनी सहायता मुहैया करवाई जा रही है। एस.जी.पी.सी. यह तय नहीं कर पा रही कि वो श्री गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबी करने वालों के साथ है या बेअदबी करने वालों को मारने वालों के साथ।
उनके इस टवीट के जवाब में अर्शप्रीत सिंह ने टवीट करते हुए लिखा कि एस.जी.पी.सी. के अधीन आने वाले गुरुद्वारों में श्रद्धालु जो चढ़ावा चढ़ाते हैं, उसका इस्तेमाल एस.जी.पी.सी. अपने राजनीतिक एजैंडे के लिए कर रही है। एक अन्य टिवटर यूजर बलबीर सिंह ने इस पर टिप्पणी करते हुए लिखा कि क्या एस.जी.पी.सी. दिन-दिहाड़े की गई हत्या को सही ठहराने की कोशिश कर रही है। यदि इस तरीके से हत्या के आरोपी को शह दी जाती है तो इस तरह की और भी वारदातें देखने को मिल सकती हैं, क्या भगवंत मान सरकार इसे मंजूरी दे रही है।
अमरजीत सिंह ने एक अन्य टवीट में लिखा कि एक तरफ एस.जी.पी.सी. की टास्क फोर्स अमृतसर में श्री दरबार साहिब के गलियारे में किए गए धमाकों के आरोपियों को गिरफ्तार करवाने में मदद करती है और जांच में यह बात सामने आती है कि ब्लास्ट करने वालों का अमृतपाल के साथ कनैक्शन है, लेकिन उसी अमृतपाल को कानूनी सहायता भी मुहैया करवाती है।
उन्होंने लिखा कि वह उस धर्म के अनुयायी हैं, जिसके पहले गुरु श्री गुरु नानक देव जी ने मक्का में एक काजी को कहा था कि वह अपने पैर उस दिशा में करके दिखाए, जिस दिशा में भगवान नहीं है। दरअसल श्री गुरु नानक देव जी के पैर काबा की तरफ थे, जिस पर काजी ने उन्हें उस तरफ पैर करने के लिए मना किया था। अमरजीत सिंह ने लिखा कि सिख धर्म ने कहां से शुरूआत की थी और हम कहां आ गए हैं। मैं गुरुद्वारा साहिब में बैठकर शराब पीने वाली महिला का किसी हाल में समर्थन नहीं कर सकता, लेकिन उसकी हत्या को भी जायज नहीं ठहराया जा सकता।