लुटेरों ने कहा, नोटबंदी के कारण धंधा हुआ था मंदा

Edited By Punjab Kesari,Updated: 28 Jul, 2017 03:28 PM

the robbers said  there was business due to the ban on slaughterhouse

सुल्तानपुर लोधी के ओरिएंटल बैंक आफ कामर्स (ओ.बी.सी.) के ए.टी.एम. में हुई लूट को कपूरथला पुलिस द्वारा एस.एस.पी. संदीप शर्मा की अध्यक्षता में जहां 5 दिनों में सुलझा कर एक अंतर्राज्यीय ए.टी.एम. गिरोह का पर्दाफाश........

सुल्तानपुर लोधी (धीर):सुल्तानपुर लोधी के ओरिएंटल बैंक आफ कामर्स (ओ.बी.सी.) के ए.टी.एम. में हुई लूट को कपूरथला पुलिस द्वारा एस.एस.पी. संदीप शर्मा की अध्यक्षता में जहां 5 दिनों में सुलझा कर एक अंतर्राज्यीय ए.टी.एम. गिरोह का पर्दाफाश करने में बड़ी कामयाबी हासिल हुई है, वहीं थाना सुल्तानपुर लोधी के डी.एस.पी. वरियाम सिंह, एस.एच.ओ. सर्बजीत सिंह, एस.एच.ओ. नरिन्द्र सिंह औजला की बहुत बड़ी महत्वपूर्ण भूमिका रही है। जिन्होंने न सिर्फ इस लूट को कुछ समय में हल करने में सफलता हासिल की बल्कि थाना सुल्तानपुर लोधी के रिकार्ड में एक सबसे बड़ी उपलब्धि भी दर्ज करवाई है।

पुलिस ने हासिल किया 7 दिन का रिमांड :लुटेरों से और पूछताछ करने के लिए पुलिस ने उक्त लुटेरों इन्द्रजीत सिंह, अमरीक सिंह व पिं्रस को स्थानीय अदालत में पेश किया जहां माननीय जज साहिब ने पुलिस को 7 दिनों का पुलिस रिमांड दे दिया ताकि पुलिस इन लुटेरों से और पूछताछ द्वारा विभिन्न स्थानों पर की अन्य चोरियों व लूट के मामलों को हल कर सके। पुलिस द्वारा रिमांड दौरान लुटेरों से हुई पूछताछ में प्रमुख आरोपी इन्द्रजीत सिंह ने खुलासा किया कि जब पूरे देश में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नोटबंदी की घोषणा की थी तो जहां लोगों को बहुत मुश्किलों का सामना करना पड़ा वहीं हमारा भी धंधा चौपट हो गया था क्योंकि नोटबंदी के बाद बैंकों के ए.टी.एम्ज में पैसा नहीं था।

अगर बैंक वाले ए.टी.एम. में पैसे डालते थे तो ग्राहकों की लंबी कतारें होने से हमें भी नोटबंदी की मार सहनी पड़ी। अब जब नोटबंदी खत्म होने उपरांत बैंकों ने 1000 के बदले नए 2000 व 500 रुपए के नोटों को ए.टी.एम. डालने शुरू किए तो हमारा काम और भी आसान हो गया व लूट वाली राशि एकत्रित करके लेने-जाने में भी आसानी हुई। 

लूटे गए ए.टी.एम्ज की संख्या पहुंची 55 तक
गत दिनों लुटेरों द्वारा आई.जी. अॢपत शुक्ला की प्रैस कांफ्रैंस में जो 34 ए.टी.एम. को लूटना माना था वह अब पूछताछ दौरान 55 तक पहुंच गई है। एस.एच.ओ. सर्बजीत सिंह मुताबिक अभी पुलिस द्वारा और पूछताछ की जा रही है व इन लुटेरों को विभिन्न प्रदेशों में की लूट संबंधी भी साथ लेकर जाना पड़ेगा। 

मोबाइल का प्रयोग न करने कारण ही अभी तक पकड़ में नहीं आ सके थे आरोपी: लुटेरों द्वारा लूट की वारदात में मोबाइल का प्रयोग न करना भी अभी तक किसी भी राज्य की पुलिस की पहुंच से दूर रहना एक प्रमुख कारण था क्योंकि मोबाइल की लोकेशन से पुलिस को किसी भी केस को हल करने में आसानी होती थी जिस कारण लूट की वारदात समय लुटेरों ने हमेशा वॉकी-टॉकी का प्रयोग किया। 

होशियारपुर जिले को बनाया था मुख्य हथियार: पूछताछ दौरान इन्द्रजीत सिंह ने बताया कि ए.टी.एम. लूटने की सबसे अधिक वारदातें होशियारपुर जिले में की थी जहां लूट के बाद वह अपने हरियाणा स्थित ससुराल चला जाता था। इसके अतिरिक्त अन्य भी कई जिलों में लूट की वारदातें की थीं। 

पी.एन.बी. बैंक के ए.टी.एम. लूटना था सबसे आसान
पंजाब नैशनल बैंक (पी.एन.बी.) के ए.टी.एम. लूटना सबसे आसान लगता था क्योंकि पी.एन.बी. के ए.टी.एम. में कोई सिक्योरिटी गार्ड नहीं होता था। इसलिए हम सबसे पहले पंजाब नैशनल बैंक के ए.टी.एम. को ही निशाना बनाते थे क्योंकि उक्त बैंक के ए.टी.एम. में नकदी भी अधिक होती थी। 

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