Edited By Neetu Bala,Updated: 11 Feb, 2024 03:56 PM
पंजाब के अलग-अलग राज्यों से किसान मजदूर पूरी तैयारी के साथ दिल्ली की और रवाना हो रहे हैं
पंजाब डेस्कः संयुक्त किसान मोर्चा और उत्तर भारत की 18 किसान मजदूर जत्थेबंदियों द्वारा दिल्ली में फिर से आंदोलन शुरू करने के लिए की गई घोषणा के अनुसार पंजाब के अलग-अलग राज्यों से किसान मजदूर पूरी तैयारी के साथ दिल्ली की और रवाना हो रहे हैं और किसानों ने कहा है कि हरियाणा सरकार उन्हें रोकने के लिए चाहे कितने मर्जी इंतजाम कर ले इसके बावजूद भी किसान दिल्ली में अपना आंदोलन करेंगे और उनका आंदोलन पहले की तरह पूरी तरह से सफल होगा।
उन्होंने भारत के राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री से अपील करते कहा है कि किसानों के सबर का इम्तिहान ना लिया जाए। उन्होंने मांग करते हुए कहा कि सभी फसलों की खरीद पर एस.पी. का कानून बनाया जाए, किसान-मजदूरों के सभी कर्ज खत्म किया जाएं, लखीमपुर खीरी कत्ल कांड के सभी दोषियों को गिरफ्तार करते हुए इस आंदोलन में घायल हुए लोगों को 10/10 लाख रुपए का मुआवजा दिया जाए और शहीद हुए किसान मजदूर के परिवारों को सरकारी नौकरियां, आर्थिक सहायता और दिल्ली में शहीदी स्मारक बनाने के लिए जगह दी जाए। उन्होंने बिजली सेक्टर को निजी हाथों में देने वाले बिजली शोध बिल को रद्द करने और खेती-बाड़ी सेक्टर को प्रदूषण कानून से बाहर निकालने की मांग की और कहा के भारत विश्व व्यापार संस्था से बाहर आए।
उन्होंने 58 वर्ष से अधिक उम्र के किसानों और खेत मजदूरों के लिए पेंशन योजना लागू करने, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में सुधार करके बीमा प्रीमियम सरकारों द्वारा खुद अदा करने की मांग की गई और कहा गया की जमीन एक्वायर्स करने संबंधी 2013 के एक्ट को उसी रूप में लागू किया जाए तथा मनरेगा तहत प्रतिवर्ष 200 दिन रोजगार दिया जाए और मेहनताने की राशि बढ़ाकर 700 रुपए प्रतिदिन की जाए। उन्होंने सभी फसलों के बीजों की गुणवंता में सुधार करने की मांग की और कहा के संविधान की की पांचवी सूची लागू की जाए।
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