Edited By Vatika,Updated: 10 Sep, 2018 05:49 PM
पिछले कुछ दिनों से रुक-रुक कर पड़ रही तेज बारिश और आंधी के कारण बासमती-1509 किस्म धान की फसल जोकि पक कर काटने के लिए तैयार खड़ी थी और अचानक तेज बारिश और आंधी आने के कारण पकी फसल गिर कर बिछ गई। इस बार अच्छी फसल देख कर किसानों के चेहरे जोकि खिले हुए...
खन्ना(कमल): पिछले कुछ दिनों से रुक-रुक कर पड़ रही तेज बारिश और आंधी के कारण बासमती-1509 किस्म धान की फसल जोकि पक कर काटने के लिए तैयार खड़ी थी और अचानक तेज बारिश और आंधी आने के कारण पकी फसल गिर कर बिछ गई। इस बार अच्छी फसल देख कर किसानों के चेहरे जोकि खिले हुए थे, एक ही बारिश पडऩे से मुरझा गए।
कई किसानों ने तो तकरीबन 10-15 दिनों तक धान की किस्म 1509 की कटाई भी शुरू करने की तैयारी की हुई थी, परन्तु कुदरत के इस प्रकोप ने किसानों की उम्मीदों पर पानी फेर दिया। इस संबंधित किसान दलजीत सिंह सवैच ललौड़ी कलां ने बातचीत करते हुए कहा कि इस बारिश के कारण गिरी धान की फसल के झाड़ का भी काफी फर्क पड़ेगा। दूसरा फसल की क्वालिटी भी वह नहीं रहेगी, क्योंकि गिरकर पानी में डूबी फसल के दानों का रंग भी कुछ काला पड़ जाता है। इस करके फसल को बेचते समय व्यापारी भी आनाकानी करता है और रेट भी कम लगाता है। कई किसानों की फसलें तो बिल्कुल ही गिर कर खराब हो चुकी हैं, जोकि कम्बाइन मशीन के साथ काटने के योग्य नहीं रहीं। इन फसलों को मजदूरों के हाथों कटवाया जाएगा, जिससे किसान को मजदूरी का ’यादा खर्च बर्दाश्त करना पड़ेगा।
कई किसानों का पशुओं के लिए बीजा हरा चारा भी गिर गया है। गांव गगड़े के किसान हरजिन्दर सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि आने वाले कुछ दिनों में तो प्रवासी मजदूर भी नहीं मिलेंगे क्योंकि वे भी अभी तक पंजाब नहीं आए। यदि धान की कटाई लेट होती है तो आलू की अग्रिम फसल भी बीजने के लिए लेट हो सकती है। कई किसानों की बीजी मक्के की फसल भी गिर गई है। इस बारे में कृषि विभाग के ए.डी.ओ. डा. संदीप सिंह ने बताया गिर चुकी फसल का ’यादा नुक्सान नहीं हुआ। इस संबंधित बातचीत करते हुए किसान नेता नेत्र सिंह नागरा ने कहा कि पहले ही कर्जे की मार बर्दाश्त कर रहे किसानों को अब कुदरत की मार पडऩे से उनकी कमर और टूट जाएगी। इस करके पंजाब सरकार को इन किसानों को मुआवजा देना चाहिए।