ट्रूडो सरकार कैनेडियन इमीग्रेशन एजैंटों पर हुई सख्त!

Edited By Vatika,Updated: 23 Apr, 2019 10:06 AM

canada immigration agent

कैनेडियन फैडरल सरकार कनाडा में रहते लाइसैंस्ड इमीग्रेशन कंसल्टैंट्स पर नकेल कसने की तैयारी में है। इसका कारण आई.सी.सी.आर.सी. (इमीग्रेशन कंसल्टैंट्स ऑफ कनाडा रैगूलेटरी कौंसिल) के कई एजैंट्स द्वारा लोगों को ठगना है। अब तक सरकार ठगी करने वाले 45...

जालंधर (मृदुल): कैनेडियन फैडरल सरकार कनाडा में रहते लाइसैंस्ड इमीग्रेशन कंसल्टैंट्स पर नकेल कसने की तैयारी में है। इसका कारण आई.सी.सी.आर.सी. (इमीग्रेशन कंसल्टैंट्स ऑफ कनाडा रैगूलेटरी कौंसिल) के कई एजैंट्स द्वारा लोगों को ठगना है। अब तक सरकार ठगी करने वाले 45 एजैंटों के केसों की जांच कर रही है। ट्रूडो सरकार ने आई.सी.सी.आर.सी. की वर्किंग बॉडी पर निगरानी रखने के लिए एक नई बॉडी तैयार करने का फैसला किया है। 

हो सकता है कि आई.सी.सी. आर.सी. (लाइसैंस) को खत्म करके एजुकेशन और इमीग्रेशन कंसल्टैंट्स के लिए एक नई प्रोविजन तैयार करके नया लाइसैंस लाया जाए। इसके कारण कई इमीग्रेशन लाइसैंसधारकों के लिए खतरे की घंटी बजने वाली है, जो काफी देर से आई.सी.सी.आर.सी. के लाइसैंस की आड़ में कनाडा में रह रहे स्टूडैंट्स व अन्य लोगों को ठग चुके हैं या ठग रहे हैं। दरअसल, कनाडा के एक न्यूज पोर्टल में पिछले दिनों छपी एक खबर के मुताबिक वैंकूवर में रहते एक नामी एजैंट जोकि आई.सी.सी.आर.सी. का मैंबर है, ने पिछले करीब 3 सालों में हजारों लोगों के साथ ठगी की है। उसने लोगों से दावा किया था कि वह उन्हें कनाडा में पक्का करवा देगा। इस कारण इमीग्रेशन मिनिस्टर अहमद हुसैन ने आई.सी.सी.आर.सी. की निगरानी करने के लिए एक नई गवॄनग बॉडी बनाई है, जो कॉलेज ऑफ इमीग्रेशन एंड सिटीजनशिप कंसल्टैंट्स, आई.सी.सी.आर.सी. के अंतर्गत काम कर रहे एजैंट पर नजर रखेगी कि कहीं कोई एजैंट लाइसैंस का गलत इस्तेमाल तो नहीं कर रहा। 

ट्रूडो सरकार की ओर से यह फैसला लेना सही तरीके से काम करने वाले एजैंटों के लिए काफी दिक्कत खड़ी कर रहा है, क्योंकि कैनेडियन सरकार की ओर से उनके लाइसैंस को रिव्यू किया जा रहा है और उसके साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि एजैंट की ओर से लगाई गई फाइल के सक्सैस रेट कितना आया है। इमीग्रेशन मिनिस्टर हुसैन की ओर से पार्लियामैंट में भी इस मुद्दे को उठाया गया था, क्योंकि कनाडा में पढ़ रहे स्टूडैंट जो स्टडी परमिट या परमानैंट रैजीडैंसी चाहते हैं, वे आई.सी.सी. आर.सी. मैंबर के मार्फत ही सलाह लेकर अप्लाई कर सकते हैं, जिसके कारण ट्रेड की कुछ ब्लैकशिप्स स्टूडैंट या किसी और इमीग्रेंट से पैसे लेकर फाइल गलत तरीके से लगा रहे हैं। मिनिस्टर हुसैन अहमद ने पिछले दिनों यह भी कहा था कि इमीग्रेशन कंसल्टैंट्स कोई लाइसैंसधारक वकील नहीं है मगर वह इमीग्रैंट्स को लीगल एडवाइज दे सकते हैं और अपने लाइसैंस के बिनाह पर एप्लीकेशन एम्बैसी में अप्लाई कर सकते हैं। दरअसल, आई.सी.सी.आर.सी. की गवर्निंग  बॉडी अपने तौर पर ही अब तक काम कर रही थी, मगर सरकार की ओर से अब बाहरी तौर पर एक सेल्फ रैगुलेटरी बॉडी आई.सी.सी. आर.सी. का काम रिव्यू करने जा रही है। मिनिस्टर हुसैन की ओर से पार्लियामैंट में प्रपोज किया गया था कि यह बॉडी गलत तरीके से काम करने वाले एजैंटों पर इसलिए नकेल कसेगी, क्योंकि मौजूदा गवर्निंग बॉडी सही तरीके से काम नहीं कर रही, जिसके कारण सरकार के साथ-साथ एम्बैसी का भी नाम खराब हो रहा है। 

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