Edited By Punjab Kesari,Updated: 22 Jul, 2017 01:07 PM
ज्यूडिशियल मैजिस्ट्रेट राजबिन्द्र कौर की अदालत ने कोटकपूरा के 1 व्यक्ति को फर्जी दस्तावेज तैयार करके धोखाधड़ी करने के आरोप में शिकायतकर्ता के सबूतों को देखते हुए 3 साल की कैद व 5 हजार रुपए जुर्माना करने का हुक्म दिया है।
फरीदकोट (जगदीश): ज्यूडिशियल मैजिस्ट्रेट राजबिन्द्र कौर की अदालत ने कोटकपूरा के 1 व्यक्ति को फर्जी दस्तावेज तैयार करके धोखाधड़ी करने के आरोप में शिकायतकर्ता के सबूतों को देखते हुए 3 साल की कैद व 5 हजार रुपए जुर्माना करने का हुक्म दिया है।
जानकारी के अनुसार 3 मई, 2015 में थाना सिटी कोटकपूरा में महंत विसवा नंद उर्फ बूटा राम की शिकायत पर परमिन्द्र नंद पुत्र सरूपा नंद पर आई.पी.सी. की धारा 420, 465, 467, 468, 471 के तहत मुकद्दमा दर्ज किया गया था। इस पर माननीय अदालत ने शिकायतकर्ता के वकील अमित मित्तल की दलीलों से सहमत होते हुए परमिन्द्र नंद को आरोपी माना और उसे कैद व जुर्माने का हुक्म दिया।
वहीं स्थानीय ज्यूडीशियल मैजिस्ट्रेट फर्स्ट क्लास राजबिन्द्र कौर की अदालत ने सबूतों की कमी के कारण एक व्यक्ति को शराब रखने के कथित आरोपों से बरी करने का हुक्म दिया है। थाना सादिक की पुलिस ने 23 मई, 2014 को आरोप लगाया थी कि जब पुलिस पार्टी चैकिंग के दौरान गांव डोड के बस अड्डा पर मौजूद थी तो किसी खास मुखबिर ने सूचना दी कि दलमेर सिंह पुत्र आमा सिंह निवासी गुजर भट्ठी लगाकर अवैध शराब निकालकर बेचता है, जिस पर दलमेर सिंह के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। इस पर सफाईकर्ता के वकील अनूपइन्द्र सिंह सेखों ने इन पर लगे आरोपों से इंकार किया और कहा कि इस व्यक्ति के खिलाफ झूठा केस दर्ज किया गया है, जिस पर माननीय अदालत ने एडवोकेट अनूपइन्द्र सिंह सेखों की दलीलों से सहमत होते हुए, उसे निर्दोष मानते हुए बरी कर दिया।