हाईकोर्ट की कमेटी भी नहीं हटा पाई दुकानदारों के अवैध कब्जे

Edited By Punjab Kesari,Updated: 17 Sep, 2017 11:16 AM

high court judges can not be removed  illegal possession of shopkeepers

एक याचिका की सुनवाई के दौरान पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने कई माह पहले जालंधर नगर निगम की सीमा में आते क्षेत्र में हुए अवैध कब्जों का संज्ञान लेते हुए अपने .....

जालंधर (खुराना): एक याचिका की सुनवाई के दौरान पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने कई माह पहले जालंधर नगर निगम की सीमा में आते क्षेत्र में हुए अवैध कब्जों का संज्ञान लेते हुए अपने स्तर पर एक उच्च स्तरीय कमेटी गठित की थी, जिसमें जालंधर की स्थानीय अदालत के एक जज महोदय, जालंधर नगर निगम के ज्वाइंट कमिश्रर, जालंधर पुलिस के एक आला अधिकारी इत्यादि  को शामिल किया गया था।

हाईकोर्ट द्वारा ऐसी कमेटी के गठन से आशा जगी थी कि अब जालंधर शहर में अस्थायी रूप से हुए अवैध कब्जों में कमी आएगी परन्तु हैरानी की बात यह है कि हाईकोर्ट द्वारा गठित कमेटी भी शहर में दुकानदारों द्वारा किए गए अस्थायी कब्जों को नहीं हटा पाई। इस कमेटी की निगरानी में जालंधर नगर निगम ने अभी तक एक अभियान ही चलाया है, जिसके तहत कूल रोड और अग्रवाल ढाबा के निकट कुछ कब्जे तोड़े गए थे। हाईकोर्ट द्वारा गठित इस कमेटी ने शहर में तीन प्रमुख स्थानों पर ट्रैफिक की दिक्कतों को देखते हुए चेतावनी बोर्ड लगाए थे, जिनमें दुकानदारों से कहा गया था कि वे 15 दिन के भीतर अपने कब्जे हटा लें वर्ना उन पर कार्रवाई की जाएगी।

ऐसे चेतावनी बोर्ड ओल्ड जी.टी. रोड पर लगती शू मार्कीट, नाज सिनेमा के सामने स्थित सुदामा मार्कीट और नकोदर चौक के निकट स्थित फर्नीचर मार्कीट में लगाए गए थे। हैरानी की बात यह है कि शू मार्कीट वालों ने चेतावनी बोर्ड को अपनी छतरियों के बीच ढक दिया और अपने कब्जों को और बढ़ा लिया। इसी तरह सुदामा मार्कीट के दुकानदार भी अपनी दुकानों से 20-20 फुट आगे आ गए हैं, जिस कारण ओल्ड जी.टी. रोड काफी तंग हो गई है तथा कम्पनी बाग से लेकर जेल चौक तक हमेशा जाम लगा रहता है।

हाईकोर्ट की इस कमेटी ने नकोदर रोड पर स्थित फर्नीचर मार्कीट के बाहर रखे पत्थर इत्यादि हटा कर सड़क को चौड़ा कर दिया था परन्तु दुकानदारों ने अब अपनी दुकानों के कई-कई फुट आगे आकर सामान रखना शुरू कर दिया है। अगर आने वाले दिनों में हाईकोर्ट की इस कमेटी ने दुकानदारों द्वारा किए अवैध कब्जों का संज्ञान न लिया और इन कब्जों को न हटवाया तो स्थिति काफी गम्भीर हो सकती है।

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