Edited By Sonia Goswami,Updated: 15 May, 2018 09:11 AM
अपनी ही सरकार की पॉलिसी को शहरी विकास मंत्री तृप्त राजेंद्र सिंह बाजवा ने कटघरे में खड़ा कर दिया है।
चंडीगढ़ (अश्वनी): अपनी ही सरकार की पॉलिसी को शहरी विकास मंत्री तृप्त राजेंद्र सिंह बाजवा ने कटघरे में खड़ा कर दिया है। पंजाब सरकार ने अप्रैल में अवैध कालोनियों को नियमित करने बाबत नोटीफिकेशन जारी की थी। अब बाजवा का कहना है कि इस नोटीफिकेशन पर प्रदेशभर के कालोनाइजर और प्रापर्टी डीलर सवाल उठा रहे हैं। मतलब साफ है कि सरकारी नीति में खामियां हैं, जिस पर दोबारा से मंथन लाजिमी है।
पंजाब सरकार ने 20 अप्रैल, 2018 को द पंजाब लॉ (स्पैशल प्रोवीजन फॉर रैगुलराइजेशन ऑफ अनअथोराइज्ड कॉलोनीज) एक्ट, 2018 संबंधी नोटीफिकेशन जारी की थी। इस नोटीफिकेशन के जरिए 19 मार्च, 2018 से पहले प्रदेशभर में बनी अवैध कालोनियों व प्लॉट्स को निर्धारित फीस लेकर नियमित करने का प्रावधान रखा गया है। नोटीफिकेशन में अवैध कालोनियों को चार भागों में विभाजित किया गया है। पहले भाग के तहत किसी कालोनी में 25 फीसदी हिस्से में हुए निर्माण को नियमित करने का प्रावधान रखा गया है जबकि दूसरे हिस्से में 25 से 50 प्रतिशत हिस्से में निर्माण को नियमित करने की बात कही गई है।
विरोध के कारण बाजवा हुए खिन्न
इस पॉलिसी की घोषणा के बाद से ही प्रदेशभर के कालोनाइजर और प्रापर्टी डीलर विरोध में उतर आए हैं। बाकायदा, द पंजाब कालोनाइजर्स एंड प्रापर्टी डीलर्स एसोसिएशन के प्रतिनिधियों ने सोमवार को बाजवा से मुलाकात कर उन्हें ज्ञापन भी सौंपा। इस मसले पर बातचीत करते हुए बाजवा ने कहा कि जब से इस पॉलिसी की घोषणा हुई है, इसका चौतरफा विरोध हो रहा है। जाहिर है कहीं न कहीं तो कोई खामी है। इसलिए पालिसी को रिव्यू किया जा रहा है। अगर खामी सामने आती है तो पहली पालिसी को रद्द कर दोबारा से नई पालिसी घोषित की जाएगी।