Edited By Urmila,Updated: 10 Jun, 2025 11:53 AM

पंजाब सरकार बच्चों के कल्याण और संरक्षण के लिए हर संभव प्रयास कर रही है
चंडीगढ़ (अंकुर): पंजाब सरकार बच्चों के कल्याण और संरक्षण के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। इस संबंध में सामाजिक सुरक्षा, महिला एवं बाल विकास मंत्री डॉ. बलजीत कौर ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि अनाथ और बेसहारा बच्चों को गोद लेने की प्रक्रिया जुवेनाइल जस्टिस एक्ट-2015 के अनुसार कानूनी रूप से पूरी की जाए ताकि बच्चों को सुरक्षित, प्यार भरा और सम्मानजनक माहौल मिल सके। डॉ. बलजीत कौर ने कहा कि 18 वर्ष की आयु तक के हर बच्चे के जीवन की रक्षा करना और उन्हें उच्च गुणवत्ता वाली सेवाएं प्रदान करना हम सभी की जिम्मेदारी है। हर बच्चा सुरक्षित, प्यार भरा और सम्मानजनक माहौल पाने का हकदार है।
इसलिए यह जरूरी है कि गोद लेने की प्रक्रिया हमेशा कानूनी रूप से की जाए ताकि बच्चे का भविष्य, उसके अधिकार और कानूनी सुरक्षा पूरी तरह सुनिश्चित हो सके। अक्सर देखा जाता है कि अविवाहित माताएं या माता-पिता जो अपने बच्चों को अपने पास रखने में असमर्थ हैं और अपने बच्चों को सौंपना या गोद लेना चाहते हैं, वे पहले अस्पताल, नर्सिंग होम या डॉक्टर से संपर्क करते हैं। इसके अलावा, जो माता-पिता बच्चे गोद लेना चाहते हैं, वे भी उनसे संपर्क करते हैं।
इसलिए यह बहुत जरूरी हो जाता है कि सभी स्वास्थ्य संस्थाओं (सरकारी/निजी) और क्षेत्र में काम करने वाले डॉक्टरों को बच्चे को सुपुर्द करने या गोद लेने की प्रक्रिया के बारे में पता होना चाहिए ताकि किसी भी तरह के गैर-कानूनी अडॉप्शन को रोका जा सके और बच्चों के हितों को रक्षा करते हुए ट्रैफिकिंग या शोषण के जोखिम से बचाया जा सके। गोद लेने की प्रक्रिया को गंभीरता से लेते हुए डॉ. बलजीत कौर ने राज्य के सभी सरकारी और निजी स्वास्थ्य संस्थानों को निर्देश दिए कि अगर ऐसे माता-पिता/बच्चे उनके पास आते हैं, तो उनकी जानकारी 24 घंटे के भीतर चाइल्ड हेल्पलाइन 1098/निकटतम पुलिस स्टेशन/बाल कल्याण समिति/जिला बाल संरक्षण इकाई या पंजीकृत चाइल्ड केयर को दी जानी चाहिए।
अपने शहर की खबरें Whatsapp पर पढ़ने के लिए Click Here