Edited By Sunita sarangal,Updated: 16 Jan, 2020 10:38 AM
असंवेदनशील पशु पालकों द्वारा सम्पर्क नहर में छोड़े गए नकारा पशु व गौ धन की हकीकत को जानने संबंधी ‘पंजाब केसरी’ टीम द्वारा एकत्रित की गई जानकारी के महज 2 घंटे के भीतर ही जिला प्रशासन ने मामले पर संज्ञान लिया।
नवांशहर(त्रिपाठी): असंवेदनशील पशु पालकों द्वारा सम्पर्क नहर में छोड़े गए नकारा पशु व गौ धन की हकीकत को जानने संबंधी ‘पंजाब केसरी’ टीम द्वारा एकत्रित की गई जानकारी के महज 2 घंटे के भीतर ही जिला प्रशासन ने मामले पर संज्ञान लिया। जिला प्रशासन के आदेश पर चांदपुर रुढ़की की गौशाला के प्रबंधकों द्वारा गांव बेगमपुर के सरपंच व पंचायत सदस्यों की मदद से नहर में छोड़े गए करीब 10 पशुओं को बाहर निकाल कर गौशाला भेजा गया।
वर्णनीय है कि गांव के कुछ लोगों ने दलदल भरी नहर में छोड़े गए पशुओं व गऊओं के सर्दी में भूखे-प्यासे मरने की जानकारी ‘पंजाब केसरी’ टीम को दी थी। इस पर ‘पंजाब केसरी’ की टीम ने जानकारी जुटानी शुरू कर दी। इस संबंधी जब जिला प्रशासन से जिले में चल रही गौशालाओं और सरकार की ओर से गौ सैस से लावारिस छोड़े पशुओं व गौ धन संबंधी होने वाली कार्रवाई संबंधी जानकारी मांगी गई तो इस संवेदनशील विषय पर तत्परता से कार्रवाई करते हुए डिप्टी कमिश्रर विनय बुबलानी ने चांदपुर रुढ़की की गौशाला के प्रबंधकों को नहर से उक्त पशुओं को सहारा देने का संदेश दिया।
इसके बाद गौशाला के प्रबंधक मदन लाल रिटा. थानेदार और ठेकेदार सुभाष पंडोरी के नेतृत्व में नहर से करीब 10 पशुओं को बाहर निकाला गया। इस कार्य में गांव की सरपंच जसविन्द्र कौर, पंच कुलविन्द्र कुमार, मनजीत कौर और जगतार सिंह के अतिरिक्त समाज सेवक तथा गांव की को-ऑप्रेटिव सोसायटी के सचिव अमरीक सिंह बेगमपुरी ने योगदान दिया।