Edited By Punjab Kesari,Updated: 14 Sep, 2017 09:46 AM
सरकारी विभागों में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ छेड़ी अपनी मुहिम को आगे बढ़ाते हुए एमएलए एवं लोक इंसाफ पार्टी के विधायक सिमरजीत सिंह बैंस ने लुधियाना प्रशासन के अधीन आते दो अलग -अलग विभागों के अधिकारियों की रिश्वतखोरी का स्टिंग आपेशन करते हुए लाइव...
लुधियानाः (कंवलजीत): पंजाब सरकार ने गरीब वर्ग को अंतर्जातीय विवाह करवाने वालों के लिए 50 हजार रुपए देने की स्कीम लागू की हुई है। चंडीगढ़ से लुधियाना शिफ्ट हुए एक परिवार ने अंतर्जातीय विवाह के लिए सरकार द्वारा रखी 50 हजार रुपए की राशि लेने के लिए डिप्टी कमिश्नर दफ्तर स्थित तहसील भलाई अफसर जगमोहन सिंह को अपनी फाइल दी।
भलाई अधिकारी द्वारा काम न करने पर पिं्रस शर्मा (ब्राह्मण) व निशा (वाल्मीकि परिवार) ने लोक इंसाफ पार्टी के मुखी एवं हलका आत्म नगर के विधायक सिमरजीत सिंह बैंस के सामने सारा मामला रखा। इसके बाद विधायक सिमरजीत सिंह बैंस ने तहसील भलाई दफ्तर में सिं्टग आप्रेशन किया। इस दौरान पीड़ित परिवार से भलाई अफसर जगमोहन सिंह ने फाइल पास करने के बदले में 5 हजार रुपए की रकम की पेशकश की। विधायक बैंस ने रिश्वत लेते हुए पैसे समेत जगमोहन सिंह को पकड़ लिया।
पीड़ित परिवार ने बताया कि पहले वह चंडीगढ़ में रहते थे। 6 महीने पहले ही लुधियाना आए हैं। उन्होंने अंतर्जातीय विवाह संबंधी सरकार की स्कीम के 50 हजार रुपए की राशि लेने के लिए तहसीलभलाई ऑफिस में लगातार 5 महीने से चक्कर काट रहे हैं। तब अधिकारी जगमोहन सिंह ने कहा कि आप लुधियाना के रहने वाले नहीं हैं आप चंडीगढ़ जाकर जनरल सर्टीफिकेट बनवा कर ले आएं क्योंकि आपकी फाइल अधूरी है। जब हम चंडीगढ़ गए तो वहां बैठे अधिकारियों ने कहा कि फाइल तो बिल्कुल कम्प्लीट है। बाद में जगमोहन सिंह ने सारा काम करने के लिए 5 हजार रुपए की रिश्वत की मांग की। बैंस ने बताया कि तहसील भलाई अफसर जगमोहन सिंह को रंगे हाथों पकडऩे के लिए सिं्टग आप्रेशन किया गया। इसके चलते परिवार को 500 के 10 नोट देकर अधिकारी के पास भेजा। जब अधिकारी जगमोहन सिंह ने पीड़ित परिवार से रिश्वत के पैसे लिए तो बैंस ने मौके पर उसको पकड़ लिया।
दूसरी ओर विधायक सिमरजीत सिंह बैंस ने गिल गांव के पटवारखाने में पटवारी सुखविन्द्र सिंह द्वारा काम के बदले ली जा रही रिश्वत पर शिमलापुरी के मनजिन्द्र सिंह की शिकायत पर अचानक छापेमारी करके 10 हजार रुपए की रकम मौके पर वापस करवाई। बैंस ने बताया कि जब वह गिल पटवारखाने में गए तो पटवारी अपनी गाड़ी में बैठकर व उसका सहायक गली की ओर भाग गया। जिसको लोगों ने मौके पर पकड़ लिया। जब पटवारी ने मौके पर 10 हजार वापस किए तो उनकी जेब में और बहुत सारे लोगों से लिए गए रिश्वत के पैसे थे। इस अवसर पर परमिन्द्र सिंह सोमा, रणधीर सिंह उभी, रणजीत सिंह घटोड़े, स्वर्णदीप सिंह चहल पार्षद उपस्थित थे। बैंस ने कहा कि अगर तहसील भलाई अफसर व पटवारी के खिलाफ डी.सी. द्वारा सख्त स्टैंड नहीं लिया गया तो आने वाले विधान सभा सैशन में इस मुद्दे को जोर-शोर से उठाएंगे।
डी.सी. ने दिए जांच के आदेश
इस मामले में डिप्टी कमिश्नर प्रदीप अग्रवाल ने कहा कि रिश्वतखोरी के मामले में जो आरोपी पाए गए उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने दोनों मामलों संबंधी जांच के आदेश दिए हैं।