Edited By Punjab Kesari,Updated: 18 Sep, 2017 12:48 PM
उपमंडल मैजिस्ट्रेट कार्यालय व तहसील कॉम्पलैक्स में प्रशासन द्वारा आम लोगों की सुविधा हेतु बनाए गए शौचालय नारकीय रूप धारण कर चुके हैं जबकि कुम्भकर्णी नींद सो रहे प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा अपने कार्यालयों के शौचालय वी.आई.पी. होने कारण सार्वजनिक...
बटाला (मठारू): उपमंडल मैजिस्ट्रेट कार्यालय व तहसील कॉम्पलैक्स में प्रशासन द्वारा आम लोगों की सुविधा हेतु बनाए गए शौचालय नारकीय रूप धारण कर चुके हैं जबकि कुम्भकर्णी नींद सो रहे प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा अपने कार्यालयों के शौचालय वी.आई.पी. होने कारण सार्वजनिक समस्या व मुश्किलों की तरफ ध्यान नहीं दिया जा रहा।
एस.डी.एम. कार्यालय के समीप व तहसील कॉम्पलैक्स में निर्मित महिलाओं व पुरुषों हेतु सार्वजनिक शौचालयों में पानी का कोई निकासी प्रबंध नहीं है जबकि खराब टूटियों में से हर समय पानी बहता रहता है। शौचालयों के दरवाजे टूटे हुए हैं, जिस कारण लोगों को भारी परेशानी पेश आ रही है।
इसके अतिरिक्त बारिश में इनकी छतों से पानी टपकता है। सीवरेज बंद होने कारण गंदगी भयानक रूप धारण कर लेती है। शौचालयों की दुर्गंध से आम लोगों सहित तहसील कॉम्पलैक्स में कार्य करवाने पहुंचे लोगों को भारी मुश्किल होती है।
यहीं बस नहीं पानी का प्रबंध न होने कारण गंदगी फैंकने वाला ड्रम शौचालयों में अंदर से उठाकर हाथ धोने वाले वाश-बेसिन समीप रख दिया गया है, जिस कारण गंदे पानी से ही लोगों को हाथ धोने पड़ रहे हैं। जिले की सबसे ज्यादा रैवेन्यू वाली बटाला तहसील में हजारों लोग आते हैं जिन्हें शौचालय की मुश्किल से दो-चार होना पड़ता है। लोगों ने मांग की है कि नारकीय बने शौचालयों की हालत में सुधार कर लोगों की सेहत से हो रहा खिलवाड़ रोका जाए।