Edited By Punjab Kesari,Updated: 11 Sep, 2017 09:48 AM
हाल ही में सामने आए अमृतसर नगर सुधार ट्रस्ट के घोटाले की परतें स्थानीय निकाय विभाग मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू की तरफ से की गई पहलकदमी के साथ खुलनीं शुरू हो गई हैं। विभागीय जांच के बाद अब यह जांच अमृतसर पुलिस के हवाले कर दी गई है।
अमृतसर (महेन्द्र, कमल): स्थानीय इम्प्रूवमैंट ट्रस्ट कार्यालय में पिछले कुछ वर्षों में हुए करोड़ों के घोटाले का हाल ही में ‘पंजाब केसरी’ ने 29 अगस्त को पर्दाफाश किया था हालांकि उस समय 58 करोड़ के घोटाले की बात सामने आ रही थी, लेकिन जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है, घोटाले की राशि भी बढ़ती जा रही है।
अब तक की गई जांच में 80 करोड़ के घोटाले की बात सामने आ रही है। करोड़ों के इस घोटाले को लेकर स्थानीय निकाय विभाग पंजाब के प्रिं. सचिव सतीश चन्द्र द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के आधार पर स्थानीय थाना सिविल लाइन में स्थानीय ट्रस्ट कार्यालय में डिप्टी कंट्रोलर फाइनैंस एंड अकाऊंट अफसर (डी.सी.एफ.ए.) रह चुके प्रमुख आरोपी दमन भल्ला के साथ-साथ ट्रस्ट के ई.ओ. रह चुके अरविंद शर्मा, परमजीत सिंह, दयाल चंद गर्ग, महिला अकाऊंट अफसर टीना वोहरा, अकाऊंट क्लर्क सतनाम सिंह तथा विभाग का आडिट करने वाले सी.ए. संजय कपूर के खिलाफ भा.दं.सं. की धारा 420/467/468/471/409/120-बी तथा भ्रष्टाचार निरोधक कानून की धारा 7, 13(1), 13(1)ए,बी,सी,डी के तहत 9 सितम्बर को मुकद्दमा नंबर 450/2017 दर्ज कर मामले की अगली जांच शुरू कर दी है। मामले की जांच ए.सी.पी. नॉर्थ सुरिन्द्र बांसल को सौंपी गई है।
नोटबंदी के दौरान बैंक खाते में हुआ बड़ा गोल-माल
पिछले वर्ष केन्द्र सरकार द्वारा 8 नवम्बर को 500 तथा 1000 रुपए के नोट बंद कर नोटबंदी की गई थी। नोटबंदी से पहले 1 नवम्बर को इस विवादित बैंक खाते से 35 लाख रुपए की राशि निकलवाई गई थी और 10 नवम्बर को 85 लाख रुपए की राशि इसी बैंक खाते में जमा भी करवाई गई थी। इससे ऐसा प्रतीत होता है कि नोटबंदी के दौरान लाखों का काला-धन सफेद करने के लिए कोई बड़ा गोल-माल भी किया गया है।
कुछ भी हो, यह भी अभी जांच का विषय है कि आखिर बैंक से 35 लाख की राशि क्यों निकलवाई गई और बाद में 85 लाख रुपए की राशि कहां से ला कर इस विवादित बैंक खाते में जमा करवाई गई थी।
आरोपी अधिकारी सस्पैंड, आरोप-पत्र होंगे जारी
सिद्धू ने ट्रस्ट के आरोपी सभी 6 अधिकारियों/कर्मचारियों को सस्पैंड करने की घोषणा करते हुए कहा कि जल्द ही इनके खिलाफ आरोप-पत्र भी जारी किए जाएंगे। उन्होंने स्पष्ट किया कि घोटाले में संलिप्त पाए जाने वाले किसी भी शख्स को बख्शा नहीं जाएगा।
देश के सबसे ऊंचे तिरंगे में हुए घपले की भी हो रही है जांच
सिद्धू ने कहा कि अटारी सीमा पर लगाए गए देश के सबसे 360 फुट ऊंचे राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा में भी घपला होने की जानकारी मिली थी जिसकी भी जांच की जा रही है।
दिसम्बर में नगर निगम चुनाव की तारीख घोषित होने की संभावना
यह बताए जाने पर कि स्थानीय निगम मेयर का कार्यकाल समाप्त होने जा रहा है और अभी तक निगम चुनावों की कोई तारीख घोषित नहीं की गई है जिस पर अकाली दल (ब) हाई कोर्ट में जाने की तैयारी कर रहा है, सिद्धू ने कहा कि प्रदेश में हर महानगर में वार्ड बंदी की प्रक्रिया चल रही है जिसके पूरी होने पर ही नगर निगम चुनाव की तारीख घोषित होने की संभावना है। उन्होंने पलटवार करते हुए कहा कि क्या वे (अकाली नेता) जानते नहीं कि वार्ड बंदी प्रक्रिया पूरी हुए बिना चुनाव संभव नहीं है? जब उन्हें यह पूछा गया कि आखिर यह प्रक्रिया पूरी कब होगी और चुनाव की तारीख कब घोषित होगी? तो सिद्धू ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि वार्डबंदी की प्रक्रिया दिसम्बर महीने से पहले-पहले पूरी हो जाएगी और दिसम्बर महीने में निगम चुनाव की तारीख घोषित होने की पूरी संभावना है।