Edited By Punjab Kesari,Updated: 17 Sep, 2017 12:26 PM
हमेशा ही इलाज के प्रति लापरवाही के चलते सुर्खियों में रहने वाले गुरु गोबिन्द सिंह मैडीकल कालेज और अस्पताल फरीदकोट के डाक्टरों ने गरीब और बेसहारा मरीजों के प्रति एक बार फिर लापरवाही दिखाई है.....
फरीदकोट (हाली): हमेशा ही इलाज के प्रति लापरवाही के चलते सुर्खियों में रहने वाले गुरु गोबिन्द सिंह मैडीकल कालेज और अस्पताल फरीदकोट के डाक्टरों ने गरीब और बेसहारा मरीजों के प्रति एक बार फिर लापरवाही दिखाई है। 24 वर्षीय दुष्कर्म पीड़िता दलित परिवार की एक लड़की का यहां दाखिल होने के 4 दिन बाद भी डाक्टरों ने मैडीकल मुआयना नहीं किया और न ही जरूरी सैंपल एकत्रित किए हैं।
अस्पताल में उपचाराधीन पीड़ित लड़की जलालाबाद कस्बे से संबंधित है और दुष्कर्म की घटना के बाद सिविल अस्पताल जलालाबाद ने मैडीकल जांच और इलाज के लिए पीड़ित को गुरु गोबिन्द सिंह मैडीकल कालेज और अस्पताल फरीदकोट के एमरजैंसी विभाग के लिए रैफर कर दिया था। एमरजैंसी विभाग ने प्राथमिक सहायता देने के बाद इस पीड़ित लड़की को गायनी विभाग में शिफ्ट कर दिया है। पीड़िता ने बताया कि वह शादीशुदा है और उसके पड़ोसी एक नौजवान ने उसके साथ दुष्कर्म किया और सरेआम मारपीट भी की।
नियमों मुताबिक मैडीकल कालेज के डाक्टरों द्वारा पीड़ित लड़की के अस्पताल में दाखिल होने के तुरंत बाद इसकी जानकारी नजदीकी थाने को लिखित तौर पर देनी होती है और इसके अलावा डाक्टरी जांच के दौरान डी.एन.ए. के लिए नमूने भी हासिल करने होते हैं। डाक्टरों के लिए यह सारी कार्रवाई 24 घंटे के अंदर-अंदर करनी आवश्यक होती है परंतु अस्पताल के डाक्टरों ने ऐसा कुछ नहीं किया। पीड़ित लड़की ने कहा कि वे डाक्टरों की दर्जनों बार मिन्नतें कर चुके हैं परंतु आरोपियों के कथित राजनीतिक प्रभाव कारण पुलिस और डाक्टर कोई कार्रवाई नहीं कर रहे।
क्या कहते हैं डाक्टर और सुपरिंटैंडैंट
गुरु गोबिन्द सिंह मैडीकल कालेज और अस्पताल के सुपरिंटैंडैंट डा. राजीव जोशी ने कहा कि मामला उनके ध्यान में आने के बाद पीड़ित लड़की का मैडीकल मुआयना हो गया है और इसमें अपेक्षित सारी कार्रवाई भी डाक्टरों ने मुकम्मल कर ली है।
मैडीकल कालेज की सीनियर डाक्टर और गायनी विभाग की प्रमुख डा. लज्जा ने कहा कि पीड़ित लड़की को इलाज की पूरी सुविधा दी गई है और इसके अलावा डाक्टरों की एक टीम पूरे मामले को देख रही है। आम आदमी पार्टी के मालवा जोन के प्रधान गुरदित्त सिंह सेखों, जिला प्रधान सनकदीप सिंह, स्वर्ण सिंह, अमरजीत सिंह परमार और मास्टर मक्खण सिंह की तरफ से लड़की के हक में डटने के बाद डाक्टरों ने इस मामले में कुछ हरकत दिखाई।