Edited By Punjab Kesari,Updated: 02 Jan, 2018 05:09 PM
पंजाब कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष व सांसद सुनील जाखड़ ने आज लोकसभा में आलू उत्पादकों का मसला केंद्र सरकार के सामने उठाया।
जालन्धर (धवन): पंजाब कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष व सांसद सुनील जाखड़ ने आज लोकसभा में आलू उत्पादकों का मसला केंद्र सरकार के सामने उठाया। आलुओं की पिछले काफी समय से बेकद्री हो रही है। उन्होंने कहा कि पंजाब में पिछले समय में आलुओं की बंपर फसल होने के कारण उत्पादकों को भारी घाटा सहन करना पड़ा है क्योंकि कोई भी खरीददार आलू उत्पादों को फसल का उचित मूल्य देने के लिए तैयार नहीं है। किसानों को मुफ्त के भाव पर आलू सड़कों पर फैंकना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को किसानों के हितों के लिए ऐसी नीति बनाने की जरूरत है जिससे किसानों को उनकी फसल का उचित दाम मिल सके। अगर दाम नीचे गिरते हैं तो किसानों की आॢथक मदद के लिए केंद्र को पहलकदमी करनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि 2016 में जब उत्पादन कम हुआ था तो मोदी सरकार ने निर्यात पर टैक्स लगाया तथा आलू आयात किया जिससे किसानों को अच्छी कीमत न मिल सके। 2017 में बम्पर फसल होने के कारण केंद्र ने किसानों को कोई तय भाव देने के लिए कोई कदम नहीं उठाया।
जाखड़ ने कहा कि पंजाब में 90 हजार हैक्टेयर में आलू की काश्त की जाती है तथा पिछले साल से घबराए किसानों ने इस बार 5 प्रतिशत आलू कम लगाया। इसके पीछे किसानों की सोच यह थी कि उन्हें आलू का उचित भाव मिल जाए पर केंद्र सरकार को चाहिए था कि वह आलू के लिए न्यूनतम कीमत को तय करती। उन्होंने कहा कि केंद्र की भाजपा सरकार की नीतियां किसान विरोधी सिद्ध हुई हैं। लोकसभा में सरकार किसानों के मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार नहीं है। केंद्रीय कृषि मंत्री भी कोई तसल्ली योग्य जवाब नहीं दे रहे हैं। प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस ने पंजाब में कैप्टन अमरेन्द्र सिंह के नेतृत्व में किसानों का कर्जा माफ करने का निर्णय लिया है तथा जनवरी के पहले सप्ताह से ही कर्जा माफी मुहिम शुरू की जा रही है पर केंद्र ने अभी तक इसमें पंजाब सरकार को कोई सहयोग नहीं दिया।