Edited By Updated: 14 Nov, 2016 12:47 AM
मनप्रीत बादल अनुसार पंजाब प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कैप्टन अमरेन्द्र सिंह ने कभी भी चांदी की कस्सी एस.वाई.एल. नहर बन...
जालंधर(रमनदीप सिंह सोढी): मनप्रीत बादल अनुसार पंजाब प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कैप्टन अमरेन्द्र सिंह ने कभी भी चांदी की कस्सी एस.वाई.एल. नहर बनाने के लिए नहीं उठाई। कैप्टन साहब ने अपने पूरे जीवन में चांदी की कस्सी सिर्फ एक बार उठाई थी वह भी उस समय जब श्री हरिमंदिर साहिब के सरोवर की कारसेवा का काम शुरू हुआ था। पंजाब कांग्रेस के सीनियर नेता और उपप्रधान मनप्रीत बादल का एस.वाई.एल. मुद्दे पर कहना है कि पंजाब पहले ही पड़ोसी राज्यों को अधिक पानी दे चुका है और अब पंजाब इन राज्यों को पानी देने की सूरत में नहीं है।
मनप्रीत का कहना है कि अगर अभी भी पड़ोसी राज्यों को पानी दिया जाता है तो पंजाब की आने वाली नस्लों में भुखमरी फैल जाएगी और पंजाब की जमीन बंजर हो जाएगी। ‘पंजाब केसरी’ से विशेष बातचीत करते हुए मनप्रीत ने कहा कि हरियाणा पंजाब का ही अंग है जिसको एक छोटा भाई होने के नाते भी कहा जा सकता है कि अब पंजाब के पास हरियाणा को देने के लिए पानी नहीं है। मनप्रीत ने कहा कि भारतीय कानून और अन्तर्राष्ट्रीय कानून के मुताबिक पानी पर हक उन राज्यों का होता है जिसमें से वह गुजरते हैं।
रावी, ब्यास और सतलुज पंजाब की हद में से होकर गुजरते हैं इसलिए इन दरियाओं पर पंजाब की मलकीयत है और इनके पानी पर हरियाणा का कोई हक नहीं है। मनप्रीत ने कहा कि पिछले 65 सालों से पंजाब ने अपने बच्चों का पेट काट कर राजस्थान को पानी दिया है और पंजाब के पानी का तीन-चौथाई हिस्सा पड़ोसी राज्यों को दिया गया है। अगर अब भी पंजाब का पानी बाहर जाता है तो आने वाला समय पंजाब के लिए बहुत बुरा साबित होगा। उन्होंने कहा कि अगर विधानसभा में यह कानून पास होता है कि पंजाब में कोई नई नहर नहीं बनेगी तो पंजाब का पानी बाहर नहीं जा पाएगा।
उन्होंने आगे कहा कि अगर सभी राजनीतिक पाॢटयां एक मंच पर आकर पंजाब के इस गम्भीर मसले पर बातचीत करती हैं तो कांग्रेस भी इस मसले पर उनका साथ देगी। यह मसला सारे पंजाब के लिए है इसलिए इस पर सभी राजनीतिक पाॢटयों को एक मंच पर इक_ा होकर बातचीत करनी चाहिए। एस.वाई.एल. का मुद्दा बादल साहब के लिए असली मुद्दा है। बादल साहब की सांझेदार पार्टी सत्ता में है और सुखबीर बादल की धर्मपत्नी केन्द्र में मंत्री है इसलिए उनको चाहिए कि वह इस मुद्दे का हल निकालें।