चलो बुलावा आया है माता ने बुलाया है, 3 अगस्त से शुरू माता चिंतपूर्णी का मेला

Edited By Updated: 01 Aug, 2016 02:09 AM

Three of August Mata Chintpurni Fair

चलो बुलावा आया है माता ने बुलाया है, हर साल की तरह सावन माह में माता चिंतपूर्णी का मेला लगता है...

जालंधर: चलो बुलावा आया है माता ने बुलाया है, हर साल की तरह सावन माह में माता चिंतपूर्णी का मेला लगता है। जहां लाखों लोग नतमस्तक होते है। इस बार भी मां चिंतपूर्णी का मेला हिमाचल प्रदेश स्थित 3 अगस्त से शुरू हो रहा है। चिंतपूर्णी में हर वर्ष देश के विभिन्न स्थानों से और विदेशों से लाखों श्रद्धालु यहां आकर नतमस्तक होते हैं। आने वाले श्रद्धालुओं की सच्चे मन से की गई पुकार मां शीघ्र सुनती हैं व उनकी चिंताओं का संहार करके उन्हें सुख-समृद्धि व सम्पन्नता का वरदान देती हैं। मां छिन्नमस्तिका करुणा व वात्सल्य की देवी हैं, वह सदैव अपने भक्तों का हित करती हैं।
 
52 स्थानों पर गिरे थे मां सती के अंग 
भारतीय उपमहाद्वीप में अलग-अलग 52 स्थानों पर जहां-जहां सती के अंग गिरे थे वहां पर शक्तिपीठ स्थापित हुए। हिमाचल में मुख्यत: चामुंडा देवी नंदीकेश्वर में, माता ब्रजेश्वरी देवी कांगड़ा में, मां ज्वाला जी ज्वालामुखी में, मां नयना देवी आनंदपुर साहब में और मां छिन्नमस्तिका धाम चिंतपूर्णी में हैं जहां सावन में भारी मेला लगता है। 
 
9 दिन लगता है मेला
चिंतपूर्णीआने वाले भक्तजनों की संख्या हर वर्ष बढ़ रही है। सावन अष्टमी के अवसर पर यहां 9 दिन लगातार मेला लगता है। मेले के दिनों में जालंधर से चिंतपूर्णी तक मार्ग में जगह-जगह लंगर लगाने वाली संस्थाओं के स्वयंसेवक जिनमें अधिकतर नौजवान होते हैं, बड़ी श्रद्धा से यात्रियों को प्रसाद ग्रहण करने की प्रार्थना करते हैं। इस मेले में अनगिनत आने वाले श्रद्धालु माता चिंतपूर्णी की पिंडी रूप के दर्शन कर कृतार्थ होते हैं।
 
मेला क्षेत्र 9 भागों में बांटा
9 दिन चलने वाले मेले के दौरान श्रद्धालुओं के लिए हर तरह की सुविधा प्रदान करने हेतु मेला क्षेत्र को 9 सैक्टरों में बांटा गया है। हर सैक्टर में एक मैजिस्ट्रेट, एक उप-पुलिस अधीक्षक व अन्य कर्मचारी तैनात रहेंगे। 
 
कानून-व्यवस्था
मेले में कानून व्यवस्था को सही रखने के लिए मदन लाल एडीशनल सुपरिंटैंडैंट पुलिस (ऊना) के साथ 1350 पुलिस कर्मचारी व होमगार्ड कर्मचारी तैनात किए गए हैं। आपातकालीन स्थिति हेतु कमांडो दस्ते भी तैनात रहेंगे। 225 अस्थायी सेवादार रखे जाएंगे, जो मंदिर कार्य में रहेंगे। मेले में आग्नेयास्त्र लेकर चलने की आज्ञा नहीं। यात्रियों को मंदिर में नारियल, ढोलक, चिमटा, स्पीकर ले जाने की आज्ञा नहीं होगी।
 
स्वास्थ्य विभाग
जिला स्वास्थ्य अधिकारी अम्ब मेले के दौरान आने वाले श्रद्धालुओं हेतु स्वास्थ्य संबंधी निरीक्षण तथा विभिन्न स्थानों पर 10 मुफ्त डिस्पैंसरियों का संचालन करेंगे। इनमें मंदिर न्यास माता चिंतपूर्णी द्वारा 2.50 लाख रुपए की एलोपैथिक दवाइयां और 1.25 लाख रुपए की आयुर्वैदिक दवाइयों का प्रबंध किया जाएगा। ये दवाइयां यात्रियों को नि:शुल्क मिलेंगी। 3 डिस्पैंसरियां आयुर्वैदिक और 9 एलोपैथिक होंगी। इनमें 36 डाक्टरों की टीम नियुक्त की गई है। डा. सुभाष (एस.एम.ओ. ऊना) की निगरानी में 8-8 डाक्टर 12-12 घंटे ड्यूटी देंगे ताकि यात्रियों को 24 घंटे मैडीकल सुविधा प्राप्त हो सके। 
 
सफाई व सुलभ शौचालय
मेला क्षेत्र में सफाई की उचित व्यवस्था के लिए सफाई का कार्य ठेके पर दे दिया गया है। ठेकेदार 100 और अतिरिक्त सफाई कर्मचारी रखेंगे। किन्नू से लेकर शीतला मंदिर तक 120 सुलभ शौचालय बनाए जा रहे हैं, जहां 24 घंटे पानी की व्यवस्था व सफाई कर्मचारी रहेंगे। इस कार्य में खंड विकास अधिकारी अम्ब व गगरेट के साथ पंचायत सचिव छपरोह, चिंतपूर्णी उनको सहयोग करेंगे।
 
पॉलीथीन-प्लास्टिक पर प्रतिबंध
मेले में किसी भी लंगर में प्लास्टिक के लिफाफे, प्लेटें, गिलास आदि का प्रयोग नहीं करने दिया जाएगा। इस नियम का उल्लंघन करने वाली संस्था का लंगर बंद करवा दिया जाएगा। सभी से स्टील के  बर्तनों में ही लंगर बांटने का अनुरोध किया गया है। किसी को भी वाहन में लंगर वितरण करने की आज्ञा नहीं है। ऐसा करने वाले का वाहन जब्त कर लिया जाएगा।

दर्शन पर्ची
किसी भी यात्री को बिना पर्ची के दर्शन नहीं करने दिए जाएंगे। कुछ स्वार्थी लोग यात्रियों को गुमराह करते हैं कि हम दर्शन करवा देंगे पर ऐसा बिल्कुल नहीं होगा। यात्रियों के लिए पर्ची प्राप्त करने हेतु एक  ‘पुराने बस अड्डा’ के पास, दूसरा  ‘माधो दा टिल्ला’ (लुधियाना वालों की धर्मशाला के पास) काऊंटर होगा। बाजार में होटलों में भी लंगर लगाने की आज्ञा नहीं दी जाएगी। बुजुर्ग या बीमार यात्रियों के लिए एम्बुलैंस और लिफ्ट की सेवा का प्रबंध है। गाड़ी बैरियर के पास रहेगी।
 
पानी की सप्लाई
चिंतपूर्णीक्षेत्र में पानी की सप्लाई 24 घंटे चालू रखने का प्रयत्न किया जाएगा। संस्थाएं जो अपने टैंकरों द्वारा लंगरों हेतु जल सेवा करती हैं उन्हें भरवाईं से अंदर आने-जाने की अनुमति रात्रि 11 से लेकर सुबह 4 बजे तक ही होगी। 
 
 पार्किंग
चिंतपूर्णीमें आने वाले वाहनों की पार्किंग भरवाईं में होगी जिसका प्रबंध मंदिर न्यास माता चिंतपूर्णी करेगा। यह पार्किंग नि:शुल्क होगी। मंदिर अधिकारी श्री चौहान ने इस बात पर पूरा जोर दिया कि सभी यात्री प्रशासन को सहयोग दें। सड़कों पर डोने और पत्तलों से गंदगी न फैलाएं। उन्होंने बताया कि अग्निशमन वाहन लुधियाना धर्मशाला चिंतपूर्णीके पास 24 घंटे तैनात रहेंगे। मंदिर न्यास माता चिंतपूर्णी ने 24 घंटे की लंगर व्यवस्था की है।             
 

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