Edited By Updated: 03 Dec, 2016 12:03 PM
जब से नोटबंदी शुरू हुई है, तब से लोगों को बैंकों और ए.टी.एम. के जरिए पैसों का लेन-देन करने में जहां परेशानी का सामना करना पड़ रहा है वहीं,
जालंधर (विनीत): जब से नोटबंदी शुरू हुई है, तब से लोगों को बैंकों और ए.टी.एम. के जरिए पैसों का लेन-देन करने में जहां परेशानी का सामना करना पड़ रहा है वहीं, महानगर के स्कूल प्रबंधकों ने बच्चों की स्कूल फीस लेने के लिए ऑनलाइन बैंक ट्रांजैक्शन, बैंक ड्राफ्ट और चैक आदि लेने की व्यवस्था शुरू कर दी है ताकि न तो स्कूलों को परेशानी हो और न ही पेरैंट्स को। जिन स्कूलों में अभी तक ऑनलाइन ट्रांजैक्शन की सुविधा नहीं थी, उन्होंने भी चैक या ड्राफ्ट से फीस लेनी शुरू कर दी है। कई स्कूलों में प्रबंधन की ओर से स्वाइप मशीन लगाने के लिए अप्लाई कर दिया गया है। उन्हें उम्मीद है कि जल्द ही वे भी ऑनलाइन कैटेगरी में शामिल हो जाएंगे। इस संबंध में महानगर के विभिन्न स्कूल प्रिंसीपलों के विचार जाने गए, जो इस प्रकार रहे:-
क्रैडिट/डैबिट कार्ड से ले रहे हैं फीसें
पुलिस डी.ए.वी. पब्लिक स्कूल प्रिं. डा. रश्मि विज का कहना है कि स्कूल में पहले से ही ऑनलाइन फीसें ली जा रही हैं। इसके लिए कुछ पेरैंट्स क्रैडिट/ डैबिट कार्ड दे रहे हैं तो कुछ ऑनलाइन ट्रांजैक्शन का सहारा ले रहे हैं। केन्द्र सरकार के फैसले के पश्चात अब जो पेरैंट्स ऑनलाइन सुविधा का लाभ नहीं भी लेते थे, वे भी इस ओर रुख करने लगे हैं।
मोबाइल ऐप्प से घर बैठे फीस भरेंगे पेरैंट्स
कैम्ब्रिज इंटरनैशनल स्कूल फॉर गर्ल्स की प्रिं. दीपा डोगरा ने कहा कि मोदी सरकार की नोटबंदी का फैसला प्रशंसनीय है। डिजीटल इंडिया के क्षेत्र में पहल करते हुए हमने सभी कैम्ब्रिज स्कूलों में फीस लेने के लिए मोबाइल ऐप्प लांच की है, इसके तहत अब पेरैंट्स मात्र एक क्लिक से ही अपने बच्चों की फीस भर सकेंगे। ऐप्प का प्रयोग न करने वाले पेरैंट्स के लिए मल्टीपल बैंकिंग की च्वाइस भी रखी है, जिससे वे सीधा स्कूल के खाते में फीस ट्रांसफर कर सकेंगे’’
स्वाइप मशीनों से जमा होगी फीसें
लाला जगत नारायण डी.ए.वी. स्कूल की प्रिं. अनीता नंदा का कहना है कि नई करंसी और चैक से बच्चों की फीस ली जा रही है। कुछ पेरैंट्स, जोकि कार्ड का इस्तेमाल करना चाहते हैं, उनके लिए कार्ड स्वाइप मशीनों के लिए अप्लाई कर दिया गया है। इस संबंधी अभिभावकों को भी जानकारी दी जा चुकी है। इसके अलावा मोबाइल बैंकिंग, ऑनलाइन ट्रांजैक्शन के जरिए भी पेरैंट्स फीस दे रहे हैं।’’