जिला अस्पताल के एमरजैंसी विभाग में डाक्टरों के 5 पद खाली, मरीज हो रहे परेशान

Edited By Sunita sarangal,Updated: 05 Jan, 2024 03:35 PM

civil hospital rupnagar

जानकारी के अनुसार जिला अस्पताल में रोजाना 700 से अधिक रोगी ओ.पी.डी. विभाग में चैकअप के लिए आते हैं,

रूपनगर: पंजाब सरकार ने राज्य में आम आदमी क्लीनिक खोलकर लोगों को उनके घरों के नजदीक ही सुविधा दी है परंतु इसके साथ ही जिला मुख्यालय में चल रहा 120 बिस्तर वाले सिविल अस्पताल रूपनगर में डाक्टरों, स्टाफ नर्सों, सफाई सेवकों की भारी कमी बताई जा रही है।

जानकारी के अनुसार जिला अस्पताल में रोजाना 700 से अधिक रोगी ओ.पी.डी. विभाग में चैकअप के लिए आते हैं, लेकिन उन्हें विशेषज्ञ डाक्टरों की सुविधाएं न मिलने के कारण निराश लौटना पड़ता है। जानकारी के अनुसार जिला अस्पताल के एमरजैंसी विभाग में 24 घंटे सातों दिन रोगियों के लिए सेवाएं उपलब्ध रहती हैं परंतु उक्त विभाग में 10 डाक्टरों की पोस्ट होने के बावजूद 5 डाक्टर ही तैनात किए गए हैं और 5 पोस्टें लंबे समय से खाली पड़ी हैं।

यहां यह बताना जरूरी है कि जिला अस्पताल नैशनल हाईवे, स्टेट हाइवे तथा हिमाचल के शहर नालागढ़ के साथ लगने के कारण अधिकतर दुर्घटनाग्रस्त लोग एमरजैंसी में पहुंचते है परंतु एमरजैंसी के डाक्टरों की कमी के कारण जिला अस्पताल में विशेषज्ञ डाक्टरों को ड्यूटी पर लगाया जा रहा है। जिस कारण विशेषज्ञ डाक्टर का अपने कमरे में न होना रोगियों के लिए भारी परेशानियों का कारण बन रहा है।

इस संबंध में शहर के समाजसेवी संगठनों सिटीजन वैल्फेयर कौंसिल के अध्यक्ष मदन गुप्ता, महासचिव आरके भल्ला, गोपाल गौशाला के अध्यक्ष भारत भूषण शर्मा, महासचिव बलदेव अरोड़ा, शिवसेना बाला साहेब ठाकरे के पंजाब प्रवक्ता अश्विनी शर्मा, हरे कृष्ण संकीर्तन मंडल के संयोजक मूलराज शर्मा, डा. गोरख राम शर्मा, विजय कालड़ा, प्रिं. रवि शंकर बंसल व अन्य लोगों ने जिला प्रशासन एवं पंजाब सरकार से एमरजैंसी विभाग में डाक्टरों की चल रही कमी को तुरंत पूरी करने की मांग की है।

सरकार द्वारा गर्भवती महिलाओं को सरकारी अस्पतालों में ही प्रसूति करवाने की सलाह दी जाती है परंतु हैरानी की बात है पिछले एक वर्ष से अधिक समय से गायनी विभाग में 2 डाक्टरों के पद खाली पड़े हैं और एक डाक्टर पर रोगियों का ही बोझ रहता है।

इसी प्रकार बच्चा रोग विशेषज्ञ की 5 पोस्टें है जिनमें से 4 खाली पड़ी है। मेडिकल विशेषज्ञ डॉक्टर की भी 2 पोस्टें है परंतु एक ही डाक्टर तैनात होने के कारण रोगियों की भारी भीड़ लगी रहती है और रोगियों को अपनी बारी की प्रतिक्षा के लिए घंटों इंतजार करना पड़ता है। मनोरोग विशेषज्ञ के भी 2 पद हैं जिनमें से एक खाली पड़ा है और जो मनोरोग विशेषज्ञ तैनात है उसे कई बार जिला अस्पताल में चल रहे नशा छुड़ाओ केंद्र और ओट क्लीनिक में जाना पड़ता है। इसके अलावा उसे जेल की ड्यूटी पर भी जाना पड़ता है। अस्पताल में फोरेंसिक स्पैशलिस्ट का पद भी लंबे समय से खाली पड़ा है।

5 वर्षों से अल्ट्रासाउंड सैंटर पड़ा बंद

जिला अस्पताल में भले ही अल्ट्रासाउंड की मशीन स्थापित है परंतु इस संबंध में रेडियोलोजिस्ट की पोस्ट पिछले 5 वर्षों से अधिक समय से खाली पड़ी रहने के कारण उक्त मशीन भी धूल चाट रही है। जिन रोगियों को अल्ट्रासाउंड की जरूरत होती है उन्हें भारी खर्च कर निजी सैंटरों से जाना पड़ता है।

रेडियोलोजिस्ट का पद खाली होने के कारण एक्सरे विभाग की रिपोर्टिंग भी प्रभावित हो रही है और रिपोर्टिंग के लिए अन्य विशेषज्ञ डाक्टरों का सहारा लेना पड़ता है। यहां यह बता दें कि अल्ट्रासाउंड की फीस लोगों की सुविधा के लिए मात्र 150 रुपए रखी गई है परंतु निजी सैंटर अल्ट्रासाउंड के लिए भारी फीस वसूल रहे हैं।

स्टाफ नर्सों के 5 पद खाली

पता चला है कि जिला अस्पताल में स्टाफ नर्सों के लगभग 49 पद हैं। जिनमें से 5 पोस्टें लंबे समय से खाली पड़ी हैं जबकि अस्पताल में भर्ती होने वाले रोगियों की संख्या निर्धारित संख्या से कहीं अधिक रहती है। जिस कारण कई बार तो दो अलग-अलग वार्डों में एक ही स्टाफ नर्स को देखरेख के लिए तैनात किया जाता है। किसी भी रोगी को एमरजैंसी होने पर स्टाफ नर्सों के भी हाथ पैर फूलने शुरू हो जाते है।

दर्जा-4 व सफाई सेवकों के 42 पद खाली

सूत्रों के अनुसार दर्जा-4 तथा सफाई सेवकों के जिला अस्पताल में 60 पद हैं परंतु उक्त पदों में से 42 पद खाली पड़े हैं। जिस कारण जिला अस्पतालों के वार्डों में दर्जा-4 कर्मचारी कम ही देखने को मिलते हैं। डाक्टरों के कमरों के आगे भारी भीड़ रहती है और भीड़ को कंट्रोल करने के लिए कोई भी दर्जा-4 कर्मचारी वहां तैनात नहीं होता है।

क्या कहते हैं सिविल सर्जन

इस संबंध में जिला सिविल सर्जन डा. मनू विज से बात की गई तो उन्होंने बताया कि उक्त डाक्टरों तथा अन्य मैडिकल व पैरा मैडिकल स्टाफ की कमी के लिए उच्च अधिकारियों को लिखकर भेजा जा चुका है। उन्होंने डाक्टरों के रिक्त पड़े पदों को भरने के लिए प्रक्रिया शीघ्र पूरी करने का भरोसा दिया था।

Related Story

Trending Topics

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!