Edited By swetha,Updated: 17 Sep, 2018 12:21 PM
भोआ विधानसभा क्षेत्र के अधीन आते सरना-भीमपुर लिंक मार्ग के आसपास स्थित दर्जनों गांव के लोगों को जंगल से भरे इस सुनसान मार्ग के कारण भारी समस्याओं से जूझना पड़ रहा है। उल्लेखनीय है कि यह लिंक मार्ग पूरी तरह से जंगलों से घिरा पड़ा है जिस कारण इस मार्ग...
पठानकोट/भोआ (शारदा, अरुण): भोआ विधानसभा क्षेत्र के अधीन आते सरना-भीमपुर लिंक मार्ग के आसपास स्थित दर्जनों गांव के लोगों को जंगल से भरे इस सुनसान मार्ग के कारण भारी समस्याओं से जूझना पड़ रहा है। उल्लेखनीय है कि यह लिंक मार्ग पूरी तरह से जंगलों से घिरा पड़ा है जिस कारण इस मार्ग पर अब तक अनेकों हादसे हो चुके हैं।
इस लिंक मार्ग पर पड़े असंख्य गहरे गड्ढे इसकी जर्जरता का प्रमाण देते हैं, वहीं बरसात के दिनों में इस मार्ग पर पड़े गहरे गड्ढे तालाब का रूप धारण कर लेते हैं, जिस कारण दोपहिया वाहन चालक अक्सर संतुलन खोकर इन गड्ढों में गिरकर घायल हो चुके हैं। वहीं इस ङ्क्षलक मार्ग के साथ-साथ चलने वाली यू.बी.डी.सी. नहर के कारण कई दोपहिया और चौपहिया वाहन चालक इस मार्ग पर देर रात आने-जाने से परहेज करते हैं। यह ङ्क्षलक मार्ग जंगल से अटा व वीरान होने के कारण शाम के बाद बिल्कुल सुनसान नजर आता है जिस कारण कई असामाजिक तत्वों व अपराधियों द्वारा इस मार्ग पर आने-जाने वाले राहगीरों पर नजर केन्द्रीत रहती है।
गैर-सामाजिक तत्वों के लिए यह वीरान मार्ग आम जनता का शिकार करने के लिए सॉफ्ट टारगेट है। अब तक दर्जनों राहगीरों को स्नैङ्क्षचग और लूट का शिकार बनाया जा चुका है। सुनसान मार्ग होने के कारण नशा करने और बेचने वाले असामाजिक तत्व इस मार्ग पर आम आते-जाते दिखाई देते हैं, जबकि घने जंगल में कई नशा करने वाले सिंथैटिक नशा करने के बाद इंजैक्शन लगाने वाली सिरिंज और फाइल पेपर वहीं छोड़ जाते हैं।
सरना से लेकर कोठी पंडिता और डेयरीवाल तक कोई नहीं है स्ट्रीट लाइट
इस मुख्य ङ्क्षलक मार्ग पर सरना से लेकर कोठी पंडिता और डेयरीवाल तक कोई स्ट्रीट लाइट नहीं है, जिस कारण शाम के बाद राहगीरों को अपने गंतव्य तक पहुंचने के लिए भारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। वहीं कुछ वर्ष पूर्व एक ऑटो चालक को इसी मार्ग पर कुछ लुटेरों ने मौत के घाट उतार दिया था, जिस कारण अंधेरा होते ही इस मार्ग पर कोई ऑटो चालक आने के लिए तैयार नहीं होता। इसके अतिरिक्त सरना से डेयरीवाल को जाते समय जंगल में सरकारी कैटल पाऊंड है। इसके आसपास का क्षेत्र पठानकोट नगर निगम में आता है, जिस कारण पूरे शहर पठानकोट का कूड़ा-कर्कट गांव डेयरीवाल के समीप फैंक दिया जाता है। इससे क्षेत्र के लोग भारी परेशानियों का सामना कर रहे हैं।
दुखी होकर क्षेत्र के लोगों ने कई बार पठानकोट नगर निगम के विरुद्ध रोष प्रदर्शन भी किए परंतु भोआ विधानसभा क्षेत्र में होने के बावजूद पूरे शहर पठानकोट का कूड़ा- कर्कट आज भी गांव डेयरीवाल में फैंका जाता है जिस कारण पूरे क्षेत्र में बदबू फैली रहती है। उल्लेखनीय है कि इसी सरना-भीमपुर मार्ग पर कुछ महीने पूर्व 2 अज्ञात मोटरसाइकिल सवारों ने सुंदरचक्कनिवासी रवि कुमार पुत्र मनोहर लाल की दिन-दिहाड़े सरेआम गोली मारकर हत्या कर दी गई थी, जिसे लेकर मृतक के परिजनों ने मृतक के शव को पठानकोट-जम्मू नैशनल हाईवे पर रखकर यातायात अवरुद्ध कर रोष प्रदर्शन किया था परंतु आज 3 माह बीत जाने के बाद भी दोषियों का कुछ पता नहीं चला।
कोई बस सॢवस उपलब्ध नहीं
वहीं इस मार्ग की चौड़ाई कम होने के कारण और मार्ग के साथ-साथ चलने वाली नहर के कारण अब तक इस क्षेत्र को कोई बस सॢवस उपलब्ध नहीं हुई, जिस कारण पठानकोट शहर में पढऩे वाले विद्याॢथयों को आने-जाने के लिए भारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है, जबकि सॢदयों में धुंध के दिनों इस मार्ग से गुजरना खतरे से खाली नहीं होता। इसी कारण इस क्षेत्र के कुछ लोग अपने बच्चों को पढ़ाने हेतु गांव की जमीन और घरों को बेचकर इस क्षेत्र को अलविदा कह कर शहरों में जा बसे हैं। क्षेत्र के लोगों ने जिला प्रशासन से मांग की इस मार्ग की चौड़ाई बढ़ाकर इसे नवनिर्मित किया जाए और साथ में चलने वाली नहर पर रेलिंग लगाकर इस मार्ग पर स्ट्रीट लाइटें लगवाई जाएं।