Edited By swetha,Updated: 12 Feb, 2019 12:22 PM
सुजानपुर-पठानकोट मार्ग के मध्य स्थित क्राइस्ट द किंग कॉन्वैंट स्कूल द्वारा प्रत्येक वर्ष स्कूल फीस व अन्य लिए जाने वाले फंड में 8 प्रतिशत बढ़ौतरी किए जाने के विरोध में बच्चों के अभिभावकों ने दूसरे दिन फिर से स्कूल के समक्ष सुजानपुर-पठानकोट मार्ग को...
सुजानपुर/पठानकोट (ज्योति, बख्शी, हीरा लाल, साहिल, आदित्य, शारदा): सुजानपुर-पठानकोट मार्ग के मध्य स्थित क्राइस्ट द किंग कॉन्वैंट स्कूल द्वारा प्रत्येक वर्ष स्कूल फीस व अन्य लिए जाने वाले फंड में 8 प्रतिशत बढ़ौतरी किए जाने के विरोध में बच्चों के अभिभावकों ने दूसरे दिन फिर से स्कूल के समक्ष सुजानपुर-पठानकोट मार्ग को लगभग 2 घंटे अवरुद्ध करके स्कूल के खिलाफ प्रदर्शन कर नारेबाजी की।
बच्चों के परिजन सतीश कुमार, आत्मा राम, विकास चोपड़ा, राजेश कुमार, वरिन्द्र कुमार, गीतू, शिल्पा, निपुण महाजन, आशीष, कुलविन्द्र कुमार, अश्विनी कुमार, रिशू महाजन, चमन लाल, तरसेम लाल, हेम राज, संतोष कुमार आदि ने संयुक्त रूप से बताया कि देश भर में चलने वाले आई.सी.एस.सी. बोर्ड के स्कूलों की फीस की अपेक्षा इस स्कूल की फीस बहुत ही अधिक है। अभिभावकों ने बताया कि स्कूल में 3 हजार के करीब बच्चे शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं और स्कूल मैनेजमैंट प्रत्येक बच्चे से 3 माह की कम से कम 6 हजार रुपए फीस के साथ-साथ बिजली बिल, बिल्डिंग मैंटीनैंस, जैनरेटर, स्मार्ट क्लास, लैब आदि के फंड के नाम पर हजारों रुपए लेकर उनके साथ कथित तौर पर लूट की जा रही है, जबकि एडमिशन फीस अलग से वसूल की जाती है जिसके चलते देखा जाए तो उक्त फीस के हिसाब से स्कूल मैनेजमैंट बच्चों से शिक्षा के नाम पर मात्र 3 माह में करोड़ों रुपए कमा रही है।
सरकार के आदेशानुसार यह सब जिम्मेदारी स्कूल प्रशासन की
अभिभावकों ने कहा कि यदि स्कूल की इमारत, जैनरेटर, स्मार्ट क्लास, लैब आदि सब बन चुके हैं तो स्कूल मैनेजमैंट बच्चों को शिक्षा देने की आड़ में इस प्रकार के फंड लेकर क्यों उन्हें लूट रही है।
अभिभावकों ने आरोप लगाया कि स्कूल मैनेजमैंट की ओर से अभिभावकों को कहा जा रहा है कि उनकी ओर से जिन बसों में वह अपने बच्चों को स्कूल में भेज रहे हैं, उनमें कैमरे लगे होने चाहिएं, जिस बस में छात्रा स्कूल में आ-जा रही है, उस बस में महिला कंडक्टर होना चाहिए, उसकी भी जिम्मेदारी बच्चों के अभिभावकों की है। जिसके चलते अभिभावकों ने कहा कि वे अपने एक-एक दो-दो बच्चों को स्कूल भेजने के लिए कहां से बसों में कैमरे, महिला कंडक्टर को हायर करें, जबकि सरकार के आदेशानुसार यह सब जिम्मेदारी स्कूल प्रशासन की बनती है। अभिभावकों ने आरोप लगाते हुए कहा कि उनकी ओर से अपनी इस समस्या को लेकर स्कूल मैनेजमैंट के साथ कई बार बैठकें की जा चुकी हैं और आज भी उनकी ओर से लगभग डेढ़ घंटे तक स्कूल के डायरैक्टर फादर जार्ज के साथ बैठक की, परंतु लगभग डेढ़ घंटा बैठक करने के बाद फादर जार्ज ने अभिभावकों के सभी सवालों का एक ही जवाब देते हुए कहा कि आपकी ओर से जो मुझे पूछा गया है, वह मुझे समझ नहीं आया, जिसके चलते अभिभावकों ने गुस्से में आते हुए सड़क पर आकर रोष प्रदर्शन शुरू कर दिया।
धरने की सूचना मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंची
धरने की सूचना मिलते ही सुजानपुर पुलिस के कर्मचारी भी मौके पर पहुंच गए, जोकि प्रदर्शनकारियों को शांत करने लगे, परंतु समस्या का समाधान न होने पर परिजन धरने पर डटे रहे। लगभग 2 घंटे धरना प्रदर्शन के बाद अभिभावकों ने निर्णय लिया कि उनकी ओर से अब एक बार जिला प्रशासन के साथ बैठक की जाएगी, यदि उनकी ओर से भी उनकी समस्या का समाधान नहीं किया गया तो उनके द्वारा संयुक्त रूप से स्कूल की ओर से बढ़ाई गई फीस को लेकर अदालत का दरवाजा खटखटाया जाएगा।