शिक्षा मंत्री के शहर में अध्यापकों ने मांगी भिक्षा, पिछले 4 माह से नहीं मिला वेतन

Edited By Vaneet,Updated: 21 Sep, 2018 06:00 PM

teachers city of education minister asked bhiksha

शिक्षा मंत्री ओम प्रकाश सोनी के गृह जिले में आज एस.एस.ए./रमसा अध्यापकों ने चार माह से वेतन न मिलने के रोष में जलियांवाला बाग...

अमृतसर(दलजीत): शिक्षा मंत्री ओम प्रकाश सोनी के गृह जिले में आज एस.एस.ए./रमसा अध्यापकों ने चार माह से वेतन न मिलने के रोष में जलियांवाला बाग के बाहर बैठ कर भिक्षा मांगी। अध्यापकों ने इस दौरान जहां सरकार खिलाफ नारेबाजी की। वहीं अध्यापकों ने ऐलान किया कि यदि उनकी मांगे जल्द न मानी गई तो संघर्ष और तेज किया जाएगा।

इस मौके भारी इकट्ठ को संबोधन करते एस.एस.ए/रमसा अध्यापक यूनियन नेता ओंकार सिंह ने कहा कि एस.एस.ए./रमसा अधीन लगभग 8500 अध्यापक पिछले लगभग 10 वर्षों से पंजाब भर के स्कूलों में सेवाएं निभा रहे हैं और पिछले लंबे समय से शिक्षा विभाग में रैगुलर करने की मांग कर रहे हैं परन्तु शिक्षा अधिकार कानून सहित केंद्र सरकार द्वारा भी जारी किए विभिन्न पत्रों में इन अध्यापकों को शिक्षा विभाग के कर्मचारी बता रहा है। केंद्र से आईं चि_ियों को पूरी तरह अनदेखा करती रही पंजाब सरकार द्वारा अब इन अध्यापकों को रैगुलर करने की बात तो कही जा रही है परन्तु रैगुलर करने के एवज में इन अध्यापकों के वेतन में 75 प्रतिशत तक की बड़ी कटौती की जा रही है जिसके साथ सिर्फ यह 8500 अध्यापक ही नहीं बल्कि इन अध्यापकों पर पूरी तरह निर्भर इन के परिवार भी बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं।

यूनियन नेताओं ने बताया कि पिछले दिनी शिक्षा विभाग और इनके आधिकारियों द्वारा पंजाब कैबिनेट को 94 प्रतिशत अध्यापकों के प्राथमिक वेतन के लिए सहमत होने की बात कह कर गुमराह किया जा रहा है। संगठन द्वारा इसका सत्य चौराहे पर्दाफाश करने के लिए समूह अध्यापकों से सरकार के पक्षपाती प्रोपोजलों के खिलाफ और पूरी वेतन और पुरी सुविधाओं सहित शिक्षा विभाग में रैगुलर की मांग की हामी भरते प्रोफार्मे भी भरवाए जा रहे हैं। जिस लड़ी के अंतर्गत अमृतसर जिले में काम कर रहे समूह अध्यापकों तक पहुंच करते संबंधित प्रोफार्में भरवाए जाएंगे।

इस समय नेताओं ने बताया कि सरकार द्वारा रैगुलर करने की नीति के टाल मटोल के चलते इन अध्यापकों को आर्थिक तौर पर भी परेशान किया जा रहा है। इसी के अंतर्गत पंजाब सरकार द्वारा इन अध्यापकों की जून माह से वेतन भी जारी नहीं की, जिस कारण इन अध्यापकों को आर्थिक परेशानी का भी सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने बताया कि लगातार चार महीनों से वेतन न मिलने कारण घर के रोजाना के खर्च करना भी संभव नहीं है यहां तक कि लंबी दूरी के स्कूलों में सेवाएं निभा रहे एस.एस.ए./रमसा अध्यापकों को रोजना स्कूल आने-जाने के लिए भी लोगों से पैसे उधारे लेने पड़ रहे हैं जिस कारण इन अध्यापकों की हालत बद से बदतर होती जा रही है।इस समय नेताओं ने पंजाब सरकार से मांग की कि एस.एस.ए./रमसा अध्यापकों की पिछली 10 वर्षों की सेवाओं को देखते इन अध्यापकों को पूरी वेतन और सुविधाओं सहित पिछली सेवाओं का लाभ देते शिक्षा विभाग में रैगुलर किया जाए और अध्यापकों की पिछले चार माह से पैंडिंग वेतन तुरंत जारी किया जाएं।

यह नेता थे मौजूद
इस मौके मैडम दीपिका, मैडम पूनम, मैडम नीतू,र ाजिन्दर कौर, मैडम निधी, मैडम हरप्रीत कौर, मैडम सुखविन्दर कौर, मैडम गीतिका, रामपाल, विजय कुमार, मैडम कुलदीप कौर, हरविन्दर सिंह लोपोके, गुरप्रीत सिंह, मनीष शर्मा, परविन्दर सिंह, हरसुखपाल, अमित शारदा, करनप्रीत सिंह, मैडम कुलविन्दर कौर, वरुण, मैडम मधु, मैडम लखविन्दर कौर, मैडम पूजा, मैडम गगनदीप कौर, मैडम बरखा बाली, हरप्रीत सिंह, मैडम कुलजीत कौर, प्रदीप वर्मा, सुभाष चंद्र गुरदासपुर, विवेक महाजन गुरदासपुर, सुखविन्दर सिंह गुरदासपुर, कंवरजिन्दर सिंह बटाला,ओंकार सिंह, हरजीत सिंह, मैडम अमनप्रीत कौर, मैडम दलविन्दर कौर, वरुण शर्मा, तिलक राज आदि उपस्थित थे।

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