Edited By swetha,Updated: 07 Nov, 2019 11:15 AM
पंजाब के किसानों पर मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह की अपील का कोई असर नहीं हो रहा है। मुख्यमंत्री के शाही शहर पटियाला के साथ सटे संगरूर जिले के खेतों में लगातार तीसरे दिन किसानों ने जमकर पराली को आग लगाई।
चंडीगढ़(अश्वनी): पंजाब के किसानों पर मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह की अपील का कोई असर नहीं हो रहा है। मुख्यमंत्री के शाही शहर पटियाला के साथ सटे संगरूर जिले के खेतों में लगातार तीसरे दिन किसानों ने जमकर पराली को आग लगाई।
पंजाब रिमोट सैंसिंग सैंटर की तरफ से जारी आंकड़ों के मुताबिक 6 नवम्बर को प्रदेशभर में करीब 4741 जगहों पर पराली को आग लगाने की घटनाएं रिकॉर्ड की गई हैं जिनमें अकेले संगरूर में 785 जगहों पर किसानों ने पराली को आग लगाई है। यह तीसरा दिन है जब संगरूर के खेतों में सबसे ज्यादा पराली जलाई गई है। 4 नवम्बर को 862 घटनाएं रिकॉर्ड की गई थीं जबकि 5 नवम्बर को आग लगाने की घटनाओं का ग्राफ उछलकर 1007 पर पहुंच गया था।
पठानकोट में सबसे कम घटनाएं
पठानकोट एकमात्र ऐसा जिला रहा है जहां 23 सितम्बर से अब तक सबसे कम किसानों ने खेतों में आग लगाई है। पिछले 3 दिन में 2 बार ऐसा हुआ है कि किसी भी जगह आग की घटना रिकॉर्ड नहीं की गई। 5 नवम्बर को महज 2 जगह आग लगने की घटनाएं रिकॉर्ड की गई हैं। कुछ ऐसी ही स्थिति उन जिलों की भी है जो इलाके कंडी बैल्ट से सटे हुए हैं। पर्यावरण विशेषज्ञों की मानें तो कंडी इलाका होने के कारण यहां धान का उत्पादन कम होता है इसलिए यहां आग की घटनाएं कम रिकॉर्ड हो रही हैं।
6 नवम्बर को प्रदेशभर में पराली को आग लगाने का ब्यौरा
संगरूर |
785 |
बठिंडा |
676 |
मोगा |
493 |
बरनाला |
369 |
मानसा |
460 |
फिरोजपुर |
433 |
पटियाला |
286 |
लुधियाना |
276 |
मुक्तसर |
200 |
फरीदकोट |
183 |
फाजिल्का |
82 |
जालंधर |
98 |
तरनतारन |
112 |
कपूरथला |
50 |
अमृतसर |
84 |
गुरदासपुर |
65 |
फतेहगढ़ साहिब |
30 |
होशियारपुर |
6 |
एस.बी.एस. नगर |
31 |
मोहाली |
1 |