Edited By swetha,Updated: 15 Dec, 2018 02:20 PM
धार्मिक ग्रंथों की बेअदबी के बाद यहां हर सिख इंसाफ के लिए अपने-अपने तरीके से रोष जता रहा है। वहीं गुरमिंदर सिंह ने इंसाफ न मिलने के रोष स्वरूप पटियाला से फरीदकोट तक पैदल पश्चताप यात्रा शुरू की है। यात्रा के 12 वें दिन बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि...
फरीदकोटःधार्मिक ग्रंथों की बेअदबी के बाद यहां हर सिख इंसाफ के लिए अपने-अपने तरीके से रोष जता रहा है। वहीं गुरमिंदर सिंह ने इंसाफ न मिलने के रोष स्वरूप पटियाला से फरीदकोट तक पैदल पश्चताप यात्रा शुरू की है। यात्रा के 12 वें दिन बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि बेअदबी की घटनाओं के लिए हम खुद जिम्मेदार है।
इसके पछतावे के तौर पर हर सिख को सहज पाठ करना चाहिए। गुरमिंदर सिंहने कहा कि 'बेअदबी घटनाओं' को रोकने के लिए आत्म चिंतन की जरूरत है। सरकार से आस न करके गुरु से ज्ञान और सुमति मांगनी चाहिए। उन्होंने कहा कि उन्होंने बरगाड़ी कांड में 2 से ज्यादा सिखों के शहीद होने की बात सुनी है। पर अभी तक उनके परिवार इंसाफ के लिए भटक रहे हैं। कई एस.टी.आई. बनीं लेकिन इंसाफ अभी कोसों दूर है।