Edited By Vaneet,Updated: 09 Oct, 2018 06:26 PM
आम आदमी पार्टी की पंजाब इकाई ने एसएमए, रमसा और आदर्श माडल स्कूल के अध्यापकों के वेतन से 65 से 70 प्रतिशत की कटौती करने के पंजाब सरकार के फैसले की निंदा करते ...
चंडीगढ़: आम आदमी पार्टी की पंजाब इकाई ने एसएमए, रमसा और आदर्श माडल स्कूल के अध्यापकों के वेतन से 65 से 70 प्रतिशत की कटौती करने के पंजाब सरकार के फैसले की निंदा करते हुए इसे तुरंत वापस लेने तथा अध्यापकों को बिना शर्त शिक्षा विभाग के अधीन लाने की मांग की है। प्रतिपक्ष के नेता हरपाल सिंह चीमा तथा उपनेता सरबजीत कौर माणूके ने आज यहां एक बयान में कहा कि पार्टी सरकारी स्कूलों को निजी कंपनियों और कारपोरेट घरानों को देने का विरोध करती है।
उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार कैबिनेट में पेश किये गए अध्यापकों के 94 प्रतिशत सहमति वाले कथित डाटा को सार्वजनिक करे। आप नेताओं ने अध्यापक संगठनों का हवाला देते हुये कहा कि यह डाटा फर्जी तौर पर तैयार किया गया है। ऐसा फर्जीवाड़ा करने वालों के विरुद्ध कार्यवाही की जाये।यदि सरकार ने फैसले को वापस न लिया तो आम आदमी पार्टी राज्यपाल से मिलकर फर्जी आंकड़ों के आधार पर लिए जाने वाले जनविरोधी फैसलों की उच्च स्तरीय पड़ताल की मांग करेगी।
उन्होंने शिक्षा मंत्री ओ.पी सोनी से अपील की कि वह लोकतांत्रिक ढंग से प्रदर्शन कर रहे अध्यापक संगठनों के साथ बातचीत कर उनकी जायज मांगों का हल करें क्योंकि अध्यापक संगठनों के रोष प्रदर्शन से बच्चों की पढ़ाई पर सीधा प्रभाव पड़ रहा है। आप नेताओं ने राज्य सरकार की ओर से सरकारी स्कूलों में बुनियादी ढांचे के सुधार की आड़ में सरकारी स्कूलों को प्राईवेट ट्रस्टों और कॉर्पोरेट घरानों को देने का विरोध किया है। सरकार अपनी हर जिम्मेदारी से भाग रही है।