Edited By Vatika,Updated: 03 May, 2021 11:45 AM
तीनों किसान विरोधी कानूनों को रद्द करवाने की मांग को लेकर दिल्ली में आंदोलन की अगुवाई करने वाले संयुक्त किसान मोर्चा के सदस्य गुरनाम सिंह चढूनी ने जनता को आह्वान किया
लुधियाना(सलूजा): तीनों किसान विरोधी कानूनों को रद्द करवाने की मांग को लेकर दिल्ली में आंदोलन की अगुवाई करने वाले संयुक्त किसान मोर्चा के सदस्य गुरनाम सिंह चढूनी ने जनता को आह्वान किया कि किसी की कोरोना से मौत हो जाती है तो परिवार वाले डैड बॉडी लेकर भाजपा नेता के घर में घुस जाएं ताकि उसे अहसास हो कि परिवार के सदस्यों के बिछडऩे की पीड़ा क्या होती है। चढूनी लुधियाना में स्व. जत्थेदार उजागर सिंह छापा की पत्नी माता नसीब कौर का हाल-चाल पूछने व किसान आंदोलन की सफलता के लिए आशीर्वाद लेने के दौरान पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे।
उन्होंने अपील की जब भी किसी व्यक्ति की कोरोना से मौत हो जाती है तो अस्पताल द्वारा हिदायतों मुताबिक डैड बॉडी को कवर कर दिया जाता है। अंतिम संस्कार से पहले शव को चैक किया जाए, क्योंकि उनके पास ऐसी रिपोर्टें आ रही हैं कि कोरोना की आड़ में मरीजों का मर्डर कर गुर्दे निकाले जा रहे हैं। कोई व्यक्ति अस्पताल में कोरोना पॉजिटिव होने पर दाखिल होता है लेकिन जब मौत होने बारे बताया जाता है तो शव खून से क्यों लथपथ होता है, यह सवाल कई शंकाएं पैदा करता है। देश में कोरोना जिस तेजी से बढ़ रहा है, उसके लिए मोदी सरकार जिम्मेदार है। ऑक्सीजन व टीकों की कमी से हाहाकार मची हुई है, जबकि सच्चाई यह है कि सरकार के पास सबकुछ है लेकिन बड़े मुनाफाखोरों से मिली हुई है। किसान आंदोलन दौरान किसी किसान को कोरोना होने संबंधी सवाल पर चढूनी ने बताया कि अभी तक वाहेगुरु की कृपा रही है कि एक भी आंदोलनकारी किसान कोरोना से पीड़ित नहीं हुआ। एम.एस.पी. पर मोदी सरकार सरेआम झूठ बोल कर किसानों व देश के लोगों को गुमराह कर रही है।
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