बाजवा द्वारा कोलतार व वजीफा घोटालों में अंतर करने पर अमरेंद्र ने कहा- 'भ्रष्टाचार तो भ्रष्टाचार ही है'

Edited By Vatika,Updated: 01 Sep, 2020 09:35 AM

captain bajwa dispute

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने राज्यसभा सांसद प्रताप सिंह बाजवा द्वारा कोलतार व वजीफा घोटाले में अंतर करने तथा उनमें कोई तुलना न करने संबंधी

जालंधर (धवन): पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने राज्यसभा सांसद प्रताप सिंह बाजवा द्वारा कोलतार व वजीफा घोटाले में अंतर करने तथा उनमें कोई तुलना न करने संबंधी दिए गए बयान पर कहा कि 15 वर्ष पूर्व बाजवा का नाम कोलतार घोटाले में कथित रूप से उभरा था। इसलिए भ्रष्टाचार तो भ्रष्टाचार ही है चाहे वह किसी भी रूप में क्यों न हो।

कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने कहा कि बाजवा के पी.डब्ल्यू.डी. मंत्री रहते हुए पूर्व सरकार में उन पर भी आरोप लगे थे जोकि वजीफा घोटाले की तरह ही गंभीर थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर उस समय उन्होंने गैर जिम्मेदाराना ढंग से कार्य किया होता जैसा कि बाजवा अब उनसे अपेक्षा रखते हैं तो वह पहले कार्यकाल में मंत्रियों को बिना निष्पक्ष जांच के झूठे आरोपों पर बर्खास्त कर चुके होते। कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने कहा कि उन्होंने कथित वजीफा घोटाले की विस्तार से जांच करवाने का निर्णय इसलिए लिया क्योंकि संबंधित मंत्री तथा समाज कल्याण विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव के बीच विवाद पैदा हो गया था जिसकी आंतरिक रिपोर्ट मंत्री के खिलाफ आरोपों का आधार बनी है।

पंजाब सरकार के 1992 के रूल्स आफ बिजनैस के अनुसार अगर मंत्री तथा विभाग के सचिव के बीच वैचारिक मतभेद होते हैं तो यह मामला मुख्यमंत्री को मुख्य सचिव से जांच करवाने के लिए सौंपा जाता है तथा उसके बाद ही कोई आदेश जारी होते हैं। बाजवा चूंकि स्वयं मंत्री रहे हैं इसलिए उन्हें इस बात का अच्छी तरह से ज्ञान होना चाहिए कि सरकार के काम करने का क्या ढंग है। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिना तथ्यों को जाने सांसद व मुख्य सचिव से जांच का विरोध करना उचित नहीं है। उन्होंने राज्यसभा सदस्य शमशेर सिंह दूलो की ङ्क्षनदा करते हुए कहा कि वह मुख्य सचिव की जांच का इंतजार किए बिना वजीफा घोटाले की सी.बी.आई. जांच की मांग कर रहे हैं। दोनों सांसदों द्वारा अपनी पार्टी की ही सरकार के प्रति रवैया द्वेष की भावना पर आधारित है तथा बाजवा व दूलो लगातार पार्टी विरोधी कार्रवाइयों में लगे हुए हैं। 

किसी भी चीज को स्वीकार या रिजैक्टकरने वाली ‘आप’ कौन होती है
कैप्टन अमरेंद्र सिंह ने आम आदमी पार्टी द्वारा मुख्य सचिव की जांच को रद्द करने पर उन्हें आड़े हाथों लेते हुए कहा कि वह किसी भी जांच को रद्द या स्वीकार करने वाले कौन होते हैं। उन्होंने कहा कि ‘आप’ को तो पंजाब की जनता ही रिजैक्ट कर चुकी है। उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी द्वारा यह दावा करना कि वह भ्रष्टाचार के खिलाफ जन आंदोलन के रूप में उभरी पार्टी है, बिल्कुल तर्कहीन बातें हैं क्योंकि अरविंद केजरीवाल पर लगातार आरोप लग रहे हैं कि वह भाजपा के पदचिन्हों पर चल रहे हैं। 

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