Edited By Punjab Kesari,Updated: 22 Oct, 2017 08:38 AM
पंजाब की कैप्टन अमरेंद्र सरकार ने 800 स्कूलों के विलय का फैसला फिलहाल टाल दिया है। देर रात शिक्षा विभाग के सूत्रों के अनुसार सरकार 30 नवंबर तक फैसला टाल सकती है। बताया जा रहा है कि चौतरफा विरोध के चलते कैप्टन सरकार ने यह फैसला लिया है।
चंडीगढ़(भुल्लर): पंजाब की कैप्टन अमरेंद्र सरकार ने 800 स्कूलों के विलय का फैसला फिलहाल टाल दिया है। देर रात शिक्षा विभाग के सूत्रों के अनुसार सरकार 30 नवंबर तक फैसला टाल सकती है। बताया जा रहा है कि चौतरफा विरोध के चलते कैप्टन सरकार ने यह फैसला लिया है। संगठनों ने फैसला वापस करवाने के लिए सड़कों पर उतरने की घोषणा करते हुए 23 अक्तूबर को जिला केन्द्रों पर सरकार के पुतले फूंकने का आह्वान भी किया। वहीं, शिअद, भाजपा और आम आदमी पार्टी ने भी फैसले का विरोध किया था।
बादल सरकार ने भी किया था प्रयास
उल्लेखनीय है कि बादल सरकार ने भी फैसला लागू करने का प्रयास किया था परंतु शिक्षकों व ग्राम पंचायतों के विरोध के कारण लागू नहीं किया जा सका था। अब कैप्टन सरकार भी उसी राह पर है। शिक्षा विभाग तर्क दे रहा है कि सरकारी स्कूलों में बेहतर शिक्षण माहौल का सृजन करने और मौजूदा स्टाफ की सेवाएं बेहतर करने के मकसद से यह फैसला किया गया है।
1 कि.मी. से ज्यादा दूरी वाले स्कूलों का नहीं होगा विलय
शिक्षा विभाग द्वारा यह भी स्पष्ट किया गया है कि जो स्कूल दूसरे स्कूल से 1 किलोमीटर से अधिक दूरी पर हैं, उन्हें विलय नहीं किया जाएगा, चाहे विद्यार्थियों की संख्या 20 से कम हो।
नादरशाही फरमान, नहीं होने देंगे लागू: अध्यापक यूनियन
ई.टी.टी. अध्यापक यूनियन पंजाब ने फैसले का विरोध जताते हुए कहा कि यह नादरशाही फरमान है जिसे किसी भी हालत में लागू नहीं होने दिया जाएगा। अध्यक्ष जसविंद्र सिंह सिद्धू ने कहा कि 800 स्कूल बंद करने के साथ 1,600 पोस्टों के खत्म होने का भी खतरा बना है। 22 अक्तूबर को जालंधर में अध्यापक संगठनों की संयुक्त बैठक बुलाई गई है। डैमोक्रेटिक टीचर्ज फ्रंट ने भी उक्त फैसला वापस लेने की मांग की है।
होशियारपुर में सबसे ज्यादा 140 स्कूल होंगे बंद
होशियारपुर में 140, गुरदासपुर में 133, रोपड़ में 71, जालंधर में 54, पठानकोट में 52, पटियाला में 50, फतेहगढ़ साहिब में 41, कपूरथला में 41, लुधियाना में 39, नवांशहर में 34, मोहाली में 30, अमृतसर में 30, संगरूर में 23, फिरोजपुर में 22, तरनतारन में 9, फाजिल्का में 8, मोगा में 7, फरीदकोट में 5, मानसा में 4, बङ्क्षठडा में 3, बरनाला में 3, मुक्तसर साहिब में 1 स्कूल बंद किए जा सकते हैं।