अमृतसर भाजपा शहरी में हुआ सियासी धमाका,4 प्रधानों ने दिया सांझा त्याग-पत्र

Edited By Anjna,Updated: 21 Jun, 2018 07:37 AM

4 president gave up resignation letter

भाजपा सांसद श्वेत मलिक के प्रदेशाध्यक्ष बनने के पश्चात उनके अपने ही गृह जिले में बुधवार देर रात्रि उस समय पहला जबरदस्त सियासी धमाका हुआ, जब स्थानीय हलका केन्द्रीय मंडल के 4 मंडल प्रधानों ने अपना सांझा त्याग-पत्र जिलाध्यक्ष राजेश हनी को भेज दिया।...

अमृतसर (महेन्द्र): भाजपा सांसद श्वेत मलिक के प्रदेशाध्यक्ष बनने के पश्चात उनके अपने ही गृह जिले में बुधवार देर रात्रि उस समय पहला जबरदस्त सियासी धमाका हुआ, जब स्थानीय हलका केन्द्रीय मंडल के 4 मंडल प्रधानों ने अपना सांझा त्याग-पत्र जिलाध्यक्ष राजेश हनी को भेज दिया। भेजा गया त्याग-पत्र देर रात से ही व्हाट्स एप गु्रपों में वायरल होना शुरू गया और देर रात्रि से ही पार्टी के बीच बढ़ा विवाद चर्चा का विषय बनना शुरू हो गया।

जानकारी के अनुसार कुछ दिनों पहले हलका केन्द्र के प्रभारी पूर्व मेयर बख्शी राम अरोड़ा ने हलका केन्द्र के मंडल प्रधानों तथा अन्य पदाधिकारियों की बैठक की थी जिसमें पार्टी के पार्षद जरनैल सिंह ढोट भी पहुंचे हुए थे। बैठक के दौरान पार्षद ढोट ने कु छ बातों को लेकर पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष के प्रति कुछ बातों को लेकर अपनी कुछ नाराजगी व्यक्त कर दी थी जिसके पश्चात एक मंडल प्रधान ने भी किसी बात को लेकर प्रदेशाध्यक्ष के प्रति कुछ नाराजगी व्यक्त कर दी। मंडल प्रभारी की ओर से सारी बातें प्रदेशाध्यक्ष की जानकारी में लाए जाने के पश्चात प्रदेशाध्यक्ष श्वेत मलिक इसे उचित न मानते हुए पार्टी के पार्षद ढोट के साथ कुछ सख्ती से पेश आए थे जिसके पश्चात ढोट की नाराजगी कुछ और बढ़ गई थी।

बढ़ी नाराजगी के चलते उसने हलका केन्द्र के मंडल प्रधानों की बैठक बुलाकर सारी व्यथा बताते हुए पार्टी में सक्रियता से काम करने में अपनी असमर्थता व्यक्त करनी शुरू कर दी थी। जिस पर मंडल प्रधानों ने प्रदेशाध्यक्ष से बुधवार को मुलाकात कर मामला सुलझाने का प्रयास किया तो वहां पर भी बात सुलझने की बजाय कुछ और उलझ गई। आखिर देर सायं मंडल प्रधानों ने महत्वपूर्ण बैठक करने के पश्चात सर्वसम्मति से फैसला लेते हुए अपना सांझा त्याग-पत्र जिलाध्यक्ष राजेश हनी को भेज दिया। साथ ही सोशल मीडिया पर उसे हर तरफ वायरल भी कर दिया। 

त्याग-पत्र मंजूर होंगे या नहीं, आज लगेगा पता
इस विवाद के चलते हालांकि सबसे ज्यादा नाराज पार्टी के पार्षद जरनैल सिंह ढोट ही दिखाई दे रहे हैं लेकिन उनके द्वारा फिलहाल त्याग-पत्र नहीं दिया गया है। उसका कारण यह भी है कि दलबदलू कानून के तहत अगर वह त्याग-पत्र खुद देते हैं, तो उनकी पार्षद की सदस्यता रद्द भी हो सकती है।

यही कारण है कि उन्होंने फिलहाल खुद तो त्याग-पत्र नहीं दिया, बल्कि उनके समर्थक मंडल प्रधानों द्वारा ही यह त्याग-पत्र दिया गया है। हालांकि उसमें पार्टी के 3 अन्य सक्रिय नेताओं के भी हस्ताक्षर मौजूद हैं लेकिन फिलहाल हलका केन्द्र के चारों मंडल प्रधानों का त्याग-पत्र चर्चा का विषय बना हुआ है जिस पर पार्टी के जिलाध्यक्ष वीरवार को कोई अगला फैसला लेंगे। यह मामला चाहे टल भी जाए लेकिन बगावत की जो चिंगारी छिड़ चुकी है, यह आने वाले समय में कोई न कोई रंग जरूर लाएगी। 

कौन-कौन हैं त्याग-पत्र पर हस्ताक्षर करने वाले?
जिलाध्यक्ष राजेश हनी के नाम पर जारी किए गए सांझा त्याग-पत्र में हस्ताक्षर करने वाले चारों मंडल प्रधानों में राजिन्द्र कुमार, हीरा लाल, तलविन्द्र बिल्ला तथा प्रदीप सरीन के नाम शामिल हैं। इनके अलावा जिला स्तर के एक पदाधिकारी के साथ साथ पार्टी के 2 अन्य नेताओं द्वारा भी हस्ताक्षर किए गए हैं जिनका पूरा खुलासा वीरवार को होगा। 

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