Edited By Punjab Kesari,Updated: 14 Jun, 2017 11:54 PM
भारत ने संयुक्त राष्ट मानवाधिकार परिषद (यूएनएचआरसी) से कहा है कि कश्मीर में प्रदर्शनों को....
नई दिल्ली: भारत ने संयुक्त राष्ट मानवाधिकार परिषद (यूएनएचआरसी) से कहा है कि कश्मीर में प्रदर्शनों को सीमा पार से प्रोत्साहन और समर्थन मिलने के बारे में पुख्ता सबूत पाकिस्तान को सौंपा गया है साथ ही आरोप लगाया कि इस्लामाबाद ध्यान भटकाने के लिए इस तरह के हथकंडे अपना रहा है। परिषद के 35 वें सत्र में एक आम बहस के दौरान जवाब देने के अधिकार का इस्तेमाल करते हुए भारत ने पाकिस्तान पर अपने राजनीतिक उद्देश्यों को आगे बढ़ाने के लिए संरा के
मंच का दुरूपयोग करने का आरोप लगाया।
भारत ने एक बयान में कहा कि भारत के राज्य जम्मू कश्मीर के बारे में पाकिस्तान की आेर से अनपेक्षित और अवांछित टिप्पणी तथ्यात्मक रूप से गलत है और इसका हकीकत से कोई ताल्लुक नहीं है। जम्मू कश्मीर भारत का अभिन्न हिस्सा है। इसने कहा कि पाकिस्तान कश्मीर को अस्थिर करने के लिए आतंक का सहारा ले रहा है। इसने कहा कि कश्मीर में स्थिरता के लिए सबसे बड़ी चुनौती आतंकवाद का अभिशाप है जिसे पाकिस्तान और पाक के कब्जे वाले क्षेत्रों से शह मिलती है। इसने कहा कि पाकिस्तानी दावे के उलट और संयुक्त राष्ट सुरक्षा परिषद के प्रस्ताव 1267 का घोर उल्लंघन करते हुए आतंकी संगठनों ने अपनी हरकतें मुक्त रूप से जारी रखी हैं जैसा कि स्थानीय पाकिस्तानी अखबारों, आडियो विजुअल और सोशल मीडिया से पता चलता है।
भारत ने कहा कि कश्मीर में प्रदर्शन को सीमा पार से प्रोत्साहन देने और समर्थन किए जाने के बारे में ठोस सबूत पाकिस्तान को सौंपे जा चुके हैं। मुद्दे के हल के लिए उद्देश्य की भावना के साथ काम करने की बजाय पाकिस्तान ने ध्यान भटकाने के लिए इस तरह के हथकंडे अपनाए हैं, जैसा कि हमने एक बार फिर से आज देखा। भारत ने कहा कि पाकिस्तान ने जम्मू कश्मीर पर संरा सुरक्षा परिषद प्रस्तावों का हवाला देना जारी रखा है लेकिन यह इन प्रस्तावों के तहत अपने दायित्वों को भूल गया है।
इन प्रस्तावों के तहत पहले पाक के कब्जे वाले कश्मीर को खाली करना होगा। भारत ने 1972 के शिमला समझौता, 2004 के संयुक्त घोषणा पत्र और उफा सहमति की खुलकर अवहेलना करने को लेकर पाक की आलोचना की। इसने कहा कि पाक के कब्जे वाला कश्मीर आतंकवाद का केंद्र बन गया है और वहां तथा बलूचिस्तान में पाक का मानवाधिकार का रिकार्ड निंदनीय है। यह उचित समय है कि पाकिस्तान गहरा आत्मावलोकन करे।