Edited By Mohit,Updated: 05 Dec, 2019 07:03 PM
आढ़ती जगजीत सिंह घुमाण खुदकुशी कांड का मामला उस समय और गर्मा गया, जब..............
बटाला/घुमाण (बेरी, सर्बजीत): आज पंजाब आढ़ती एसोसिऐशन के पंजाब प्रधान रविन्द्र सिंह चीमा की ओर से किए गए आहृवान के चलते आज पंजाब भर से आए आढ़तियों व अकाली दल के सीनियर नेताओं ने मृतक आढ़ती जगजीत सिंह घुमाण के परिवारिक सदस्यों के साथ ब्यास दरिया के मेन पुल पर स्थित टांडा-गुरदासपुर रोड लगातार तीन घंटे धरना दिया और सरकार व पुलिस विरुद्ध प्रदर्शन करते हुए चक्का जाम कर दिया। इस दौरान संबोधित करते हुए पंजाब प्रधान रविन्द्र सिंह चीमा ने कथित आरोप लगाते हुए कहा कि सरकारी अधिकारी व राजनीतिज्ञ मृतक आढ़ती जगजीत सिंह घुमाण आत्महत्या कांड में शामिल अधिकारियों से रिश्वत लेते थे, इसलिए वह संबंधित जिम्मेदार अधिकारियों की गिरफ्तारी नहीं होने दे रहे। उन्होंने कहा कि जगजीत सिंह की कुर्बानी व्यर्थ नहीं जाएगी और यदि संबंधित अधिकारी गिरफ्तार न किए गए तो माननीय पंजाब एंड हरियाणा हाइकार्ट का दरवाजा खटखटाया जाएगा।
चीमा ने आगे कहा कि पंजाब सरकार से अब न्याय की कोई भी उम्मीद नहीं रही, इसलिए वह राज्यपाल पंजाब को मिलकर गुरदासपुर जिले में होती किसानों व आढ़तियों की लूट की सी.बी.आई जांच करवाने की मांग करेंगे। उन्होंने इस दौरान विभिन्न समाज सेवी संस्थाओं एवं राजनीतिक पार्टियों की ओर से धरने में सहयोग देने हेतु धन्यवाद किया। इस दौरान धरनाकारियों को शांत करने हेतु मौके पर पहुंचे डी.एस.पी टांडा गुरप्रीत सिंह व नायब तहसीलदार प्रदीप कुमार ने आश्वासन दिया कि पुलिस निरंतर छापेमारी कर रही है और जल्द ही आरोपी पुलिस हिरासत में होंगे, जिसके बाद धरनाकारियों ने तीन घंटे से लगा हुआ धरना उठाते हुए जाम खोल दिया गया।
इस अवसर पर धरना देने वालों में मृतक का भाई सुखजिन्द्र सिंह लाली, बेटा अवनीतपाल सिंह, पूर्व कैबिनेट मंत्री पंजाब कैप्टन बलबीर सिंह बाठ, अमरिन्द्र सिंह अम्मू चीमा, मंगल सिंह बटाला, डा. जगबीर सिंह धर्मसौत, मलकीत सिंह मधरे, कश्मीर सिंह बरिया, सरदूल सिंह चीमा, तरसेम सिंह कुलार, सुखविन्द्र सिंह गिल लुधियाना, हरदेव सिंह बाजेचक्क, मनमिन्द्र वालिया नवांशहर, सुधीर सूध होशियारपुर, अवतार शर्मा तरनतारन, शाम लाल मानसा, गुरपाल सिंह बटाला, जितेन्द्र मेहता, हरबंस सिंह लखमीर वाला, अमरीक धालीवाल, लखबीर बैंस सरहिंद, अवतार सिंह रोपड़, दलजीत महिरोक संगरूर, सुखजिन्द्र सिंह संधवां, नवतेज सिंह पन्नुं, सुखदेव सिंह दकोहा, त्रिलोक सिंह बाइठ, परमिन्द्र सिंह पड्डा, राजनबीर सिंह घुमाण, हरबंस सिंह घुमाण, तरसेम लाल बावा प्रधान, संतोख सिंह बावा के अलावा बड़ी संख्या में समाज सेवी, राजनीतिक पार्टियों के नेता व घुमाण वासी धरनास्थल पर मौजूद थे।