Edited By swetha,Updated: 13 Jun, 2018 01:03 PM
जंडियालागुरु स्थित वीरुमल मुलखराज राइस मिल के करोड़ों के धान घोटाले में विजीलैंस विभाग के डायरैक्टर बी.के. उप्पल ने खुद जंडियालागुरु पहुंच कर राइस मिल का दौरा किया और खरीद एजैंसियों जिसमें पनग्रेन व पनसब के अलावा बैंक अधिकारियों से भी पूछताछ की है।
अमृतसर (नीरज): जंडियालागुरु स्थित वीरुमल मुलखराज राइस मिल के करोड़ों के धान घोटाले में विजीलैंस विभाग के डायरैक्टर बी.के. उप्पल ने खुद जंडियालागुरु पहुंच कर राइस मिल का दौरा किया और खरीद एजैंसियों जिसमें पनग्रेन व पनसब के अलावा बैंक अधिकारियों से भी पूछताछ की है।
जानकारी के अनुसार अकेले पी.एन.बी. बैंक का ही 203 करोड़ रुपया व खरीद एजैंसियों की 467 वैगन धानवीरुमल मुलखराज राइस मिल के मालिकों की तरफ से डकारी जा चुकी है। अन्य बैंकों, प्राइवेट एजैंसियों, आढ़तियों व लेबर के हड़प किए गए रुपए की बात करें तो यह केस 400 करोड़ रुपए से ज्यादा का आंकड़ा पार कर चुका है। डायरैक्टर उप्पल ने जहां खरीद एजैंसियों के अधिकारियों से पूछा कि कैसे एक डिफाल्टर फर्म को 467 वैगन धान मिङ्क्षलग के लिए अलॉट कर दिया गया और बैंकों ने भी किस आधार पर उक्त राइस मिल को 267 करोड़ रुपए की लिमिट बना दी।
पत्रकारों से बातचीत करते हुए उप्पल ने कहा कि वीरुमल मुलखराज राइस मिल धान घोटाले की गंभीरता के साथ जांच की जा रही है। इस घपलेबाजी में जो भी शामिल हुआ उसको बख्शा नहीं जाएगा। उल्लेखनीय है कि अभी तक विजीलैंस विभाग की तरफ से की गई जांच में डी.एफ.एस.सी. ए.पी. सिंह, डी.एफ.एस.ओ. आर.एस. बाठ, ए.एफ.एस.ओ. विपन शर्मा, इंस्पैक्टर फूड सप्लाई व फूड सप्लाई विभाग के क्लर्क परमिन्द्र सिंह भाटिया के खिलाफ पर्चा दर्ज किया जा चुका है।