Edited By Updated: 25 Feb, 2017 12:33 PM
गांव बिशनंदी की एक महिला मनप्रीत कौर (35) पत्नी भगवान सिंह जोकि 6 माह पहले गांव बिशनंदी की ही एक महिला इकबाल कौर पत्नी बाज सिंह के साथ मलेशिया गई थी। वहां 17 फरवरी को उसकी संदिग्ध हालत में मौत हो गई थी, जिसका शव गत रात बिशनंदी में उनके घर पहुंचा ।...
जैतो(जिंदल): घर और बच्चे छोड़ पैसे कमाने के लिए विदेश गई महिला की वहां मौत हो गई। शव के गांव बिशनंदी पहुंचने पर अंतिम संस्कार कर दिया गया। महिला के पारिवारिक सदस्यों ने बताया कि उनका परिवार आर्थिक तौर पर कमजोर था। बच्चों की पढ़ाई के खर्च व आर्थिक स्थिति में सुधार लाने के लिए मनप्रीत कौर को मलेशिया भेजा गया था।
मगर उसने 6 माह तक अपने घर कोई पैसा नहीं भेजा और 17 फरवरी को उसकी मौत की खबर गांव में पहुंच गई। लगातार एक सप्ताह की जद्दो-जहद उपरांत मलेशिया से शव भारत पहुंचा । उन्होंने बताया कि 16 फरवरी को मलेशिया से मनप्रीत कौर का फोन आया था। उस समय उसने घर के सभी मैंबरों के साथ बातचीत की थी। वह कह रही थी कि उसका मलेशिया में दिल नहीं लगता, वह अपने घर बिशनंदी वापस आना चाहती है। अगले दिन उसकी मौत की सूचना मिल गई।
वहीं जिस महिला के साथ मनप्रीत गई थी, उसने बताया कि मलेशिया में उसकी लड़की रहती है। उसने वहां जाना ही था तब इनके घर वालों ने मनप्रीत कौर को भी उसके साथ भेज दिया था। वह वहां कुछ समय रहकर वापस आ गई थी। उसका यह भी कहना है कि मनप्रीत को मलेशिया में किसी के घर काम करने के लिए भेजा गया था। उसे 700 डालर प्रति महीना देने का वायदा किया था मगर उसे कोई भी पैसा नहीं दिया। परमिट लगवाने का झांसा देकर उसके पैसे काटे जा रहे थे।
गांववासियों का कहना है कि करीब 4 वर्ष पहले भी इस गांव की एक लड़की बलजीत कौर पुत्री सुरजीत सिंह को मलेशिया भेजा गया था। वह भी वहां तंग थी, पढ़ी-लिखी होने के कारण वह किसी के साथ मिलकर, बिना किसी को बताए वापस अपने गांव आ गई थी। मनप्रीत के ससुर व घर वालों का कहना है कि हमने इसे मलेशिया भेजने के लिए डेढ़ लाख रुपए दिए थे मगर उन्हें इसके बदले लड़की का शव मिला